Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 2

Bihar Board 9th Hindi Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 2

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 2

प्रश्न 1.
शिवपूजन सहाय का जन्म कब हुआ था?
(a) 1893 ई.
(b) 1892 ई.
(c) 1891 ई.
(d) 1890 ई.
उत्तर-
(a) 1893 ई.

प्रश्न 2.
कहानी के प्लॉट शीर्षक के लेखक कौन हैं ?
(a) राजेश जोशी
(b) शिवपूजन सहाय
(c) सीतकांत महापात्र
(d) विजय कुमार
उत्तर-
(b) शिवपूजन सहाय

प्रश्न 3.
तिब्बत के लेखक लामा तारानाथ के अनुसार नालंदा……….की जन्मभूमि है।
(a) सारिपुत
(b) बालपुत्र
(c) राजगृह
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) राजगृह

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प्रश्न 4.
यवद्वीप के सम्राट………ने नालंदा में एक बड़े बिहार का निर्माण कराया था।
(a) सारिपुत
(b) बालपुत्र
(c) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) सारिपुत

प्रश्न 5.
जीवन का आरंभ जैसे शैशव हैं, वैसे ही कला-गीत का……… है।
(a) भ्रमरगीत
(b) ग्राम-गीत
(c) उदाहरण
(d) सभी
उत्तर-
(b) ग्राम-गीत

प्रश्न 6.
‘ग्राम-गीत का मर्म’ पाठ गद्य की कौन-सी विधा है ?
(a) रेखाचित्र
(b) निबंध
(c) रिपोर्ताज
(d) फीचर
उत्तर-
(b) निबंध

प्रश्न 7.
‘लालपान की बेगम’ कहानी का मुख्य पात्र……….है।
(a) राधा की माँ
(b) गीता की माँ
(c) मुन्नी की माँ
(d) बिरजू का बाप
उत्तर-
(d) बिरजू का बाप

प्रश्न 8.
फणीश्वरनाथ रेणु………जीवन के साहित्यकार हैं।
(a) शहरी
(b) विदेशी
(c) ग्रामीण
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) ग्रामीण

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प्रश्न 9.
भारत की पहली बॉक्स ऑफिस हिट फिल्म……..को कहा जाता है।
(a) सात हिन्दुस्तानी
(b) लंका दहन
(c) छवि
(d) शोले
उत्तर-
(b) लंका दहन

प्रश्न 10.
यह पाठ साहित्य की कौन-सी विधा है ?
(a) कहानी
(b) रेखाचित्र
(c) फीचर
(d) निबंध
उत्तर-
(d) निबंध

प्रश्न 11.
अष्टावक्र का नाम………..भाषा के शब्द का नाम था।
(a) हिन्दी
(b) तमिल
(c) तेलुगू
(d) संस्कृत
उत्तर-
(d) संस्कृत

प्रश्न 12.
अष्टावक्र के पिता कब चल बसे थे ?
(a) अष्टावक्र के जन्म के पहले
(b) जब अष्टावक्र जवान हुआ था
(c) अष्टावक्र के होश में आने के समय
(d) अष्टावक्र की माँ की मृत्यु के समय
उत्तर-
(c) अष्टावक्र के होश में आने के समय

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प्रश्न 13.
लेखक ने कहाँ पहुँचकर टॉल्सटाय को श्रद्धांजलि अर्पित की? .
(a) उनके शयनकक्ष में
(b) उनके अध्ययन कक्ष में
(c) उनकी समाधि के पास
(d) उनके चित्र के पास
उत्तर-
(c) उनकी समाधि के पास

प्रश्न 14.
रोमा-रोला का घर………….में है।
(a) पुर्तगाल
(b) फ्रांस
(c) नेपाल
(d) ब्रिटेन
उत्तर-
(b) फ्रांस

प्रश्न 15.
राजस्थान में पानी कम और………..अधिक है।
(a) गर्मी
(b) ठंडा
(c) बरसात
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) गर्मी

प्रश्न 16.
इनमें से कहाँ वर्षाजल की अधिकता है ?
(a) दिल्ली
(b) बीकानेर
(c) चेरापूँजी
(d) नागपुर
उत्तर-
(c) चेरापूँजी

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प्रश्न 17.
रेल-यात्रा’ पाठ गद्य की कौन-सी विधा है ?
(a) रेखाचित्र
(b) व्यंग्य
(c) कहानी
(d) फीचर
उत्तर-
(b) व्यंग्य

प्रश्न 18.
रेल-यात्रा के लिए निकलते समय हम यही कहते हैं……….. आपकी यात्रा सफल करें।
(a) मजदूर
(b) ईश्वर
(c) राजा
(d) प्रजा
उत्तर-
(b) ईश्वर

प्रश्न 19.
निबंध-लेखन में सर्वाधिक अनिवार्य क्या है ?
(a) शीर्घतापूर्वक लेखन
(b) निरंतर प्रवाह
(c) आकर्षक प्रारंभ
(d) सटीक उपसंहार
उत्तर-
(b) निरंतर प्रवाह

प्रश्न 20.
आचार्य देवेन्द्रनाथ शर्मा पटना विश्वविद्यालय के……….रह चुके
(a) कुलपति
(b) उप-कुलपति
(c) प्राचार्य
(d) उप-प्राचार्य
उत्तर-
(a) कुलपति

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प्रश्न 21.
स्टेशन पर लीलावती के अगवानी के लिए उसके……..और भतीजा स्टेशन गए थे।
(a) चाचा
(b) भईया
(c) पिता
(d) माँ
उत्तर-
(b) भईया

प्रश्न 22.
सहेलिया मांय के बेटे का नाम………..था।
(a) कलेसर
(b) धनेसर
(c) तपेसर
(d) मधेसर
उत्तर-
(a) कलेसर

प्रश्न 23.
बच्चों के मन की वृद्धि के लिए क्या आवश्यक है ?
(a) कठोर अनुशासन
(b) धर्म-ज्ञान
(c) परंपरा-पालन
(d) आवश्यक शिक्षा
उत्तर-
(d) आवश्यक शिक्षा

प्रश्न 24.
हमारी शिक्षा हमें केवल………पास करना ही सिखाती है।
(a) जीवन में
(b) परीक्षा
(c) रास्ता
(d) इनमें सभी
उत्तर-
(b) परीक्षा

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प्रश्न 25.
रैदास के आराध्यदेव…………है।
(a) श्रीकृष्ण
(b) श्रीराम
(c) विष्णु
(d) शिव
उत्तर-
(b) श्रीराम

प्रश्न 26.
रैदास की भक्ति सगुण नहीं……….है।
(a) सगुण
(b) निर्गुण
(c) दुर्गुण
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(b) निर्गुण

प्रश्न 27.
कवि के अनुसार सही अर्थ में राजा कौन है ?
(a) एक शक्तिशाली मनुष्य
(b) एक ज्ञानी मनुष्य
(c) एक उच्च कुलोत्पन्न व्यक्ति
(d) प्रेम-पंथ पर सिर देनेवाला
उत्तर-
(d) प्रेम-पंथ पर सिर देनेवाला

प्रश्न 28.
प्रेम पथ पर सिर कटा देनेवाला ही……….कहलाता है।
(a) राजा
(b) रानी
(c) दासी
(d) महामंत्री
उत्तर-
(a) राजा

प्रश्न 29.
गुरु गोविंद सिंह सिखों के कौनवें गुरु थे ?
(a) तीसरे
(b) दसवें
(c) पाँचवें
(d) आठवें
उत्तर-
(b) दसवें

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प्रश्न 30.
जाति और……….के आधार पर मनुष्य को खेमों में बाँटना उचित नहीं है।
(a) धर्म
(b) कर्म
(c) मर्म
(d) गर्म
उत्तर-
(a) धर्म

प्रश्न 31.
………आँखें राह देखते थक गई है।
(a) कवि की
(b) लेखक की
(c) मनुष्य की
(d) भगवान की
उत्तर-
(a) कवि की

प्रश्न 32.
‘किसलिए ठाट-बाट है ऐसा’ में किसके ठाट-बाट की चर्चा है ?
(a) देश की खुशहाली के
(b) प्रातः कालीन प्रकृति-स्वरूप के
(c) बड़े लोगों के शान-बान के
(d) वीरों के आन-बान के
उत्तर-
(b) प्रातः कालीन प्रकृति-स्वरूप के

प्रश्न 33.
इस कविता में प्रयुक्त अंकुर शब्द किसका पर्याय है ?
(a) नए पौधे का
(b) नवजीवन का
(c) नए सपने का
(d) सुनहले भविष्य का
उत्तर-
(b) नवजीवन का

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प्रश्न 34.
महादेवी वर्मा को………पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।
(a) ज्ञानपीठ
(b) विद्यापीठ
(c) नोबेल पुरस्कार
(d) साहित्य एकाडमी
उत्तर-
(a) ज्ञानपीठ

प्रश्न 35.
यहाँ दुश्मनों की फौज के रूप में किसकी चर्चा की गई है ?
(a) भागते अंधकार-समूह की
(b) डूबते तारों के समूह की
(c) उल्लुओं के झुंड की
(d) बहुसंख्यक कौओं के जमायत की
उत्तर-
(b) डूबते तारों के समूह की

प्रश्न 36.
रात के राजा के रूप में कवि ने………..की चर्चा की है।
(a) चन्द्रमा
(b) पृथ्वी
(c) तारा
(d) ग्रह
उत्तर-
(a) चन्द्रमा

प्रश्न 37.
देश के आजाद होने पर हम सब को क्या मिलेगा?
(a) ज्ञान का गौरव
(b) शान का गौरव
(c) धन का गौरव
(d) त्राण का सुख.
उत्तर-
(d) त्राण का सुख.

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प्रश्न 38.
जिन आँखों के……….बुझे हैं उनको ज्ञान का प्रकाश मिलेगा।
(a) ज्योति
(b) दीप
(c) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(b) दीप

प्रश्न 39.
‘मेरा ईश्वर’ कैसी कविता है ?
(a) धार्मिक
(b)शृंगारिक
(c) सांस्कृतिक
(d) व्यंग्यार्थक
उत्तर-
(d) व्यंग्यार्थक

प्रश्न 40.
कवि का………….उनसे नाराज है।
(a) ईश्वर
(b) मनुष्य
(c) जानवर
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) ईश्वर

प्रश्न 41.
‘रुको बच्चों’ श्रेष्ठ समकालीन कवि……….रचित कविता है।
(a) अयोध्या सिंह उपाध्याय
(b) विजय जोशी
(c) राजेश जोशी
(d) हरिवंश राय बच्चन
उत्तर-
(c) राजेश जोशी

प्रश्न 42.
रुको बच्चों कैसी कविता है ?
(a) व्यंग्यपरक
(b) रहस्यवादी
(c) छायावादी
(d) आध्यात्मिक
उत्तर-
(a) व्यंग्यपरक

प्रश्न 43.
निम्मा कौन थी?
(a) एक दलित औरत
(b) एक मालूम बच्ची
(c) एक घरेलू नौकरानी
(d) एक शिक्षिका
उत्तर-
(c) एक घरेलू नौकरानी

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प्रश्न 44.
निम्मो एक घरेलू……….का कार्य करती थी।
(a) रानी
(b) सेविका
(c) नौकरानी
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) नौकरानी

प्रश्न 45.
मनुष्य समुद्र को क्या दे पाता है ?
(a) श्रद्धा-भक्ति
(b) मान-सम्मान
(c) मूक प्रार्थना-निवेदन
(d) अस्थिर पद-चिह्न
उत्तर-
(d) अस्थिर पद-चिह्न

प्रश्न 46.
……………प्रकृति का शाश्वत नियम है।
(a) परिवर्तन
(b) अपरिवर्तन
(c) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(b) अपरिवर्तन

प्रश्न 47.
कवि के अनुसार……….का नियम शाश्वत नियम होता है।
(a) परिवर्तन
(b) अपरिवर्तन
(c) संयोग
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) परिवर्तन

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 2

प्रश्न 48.
‘कुछ सवाल’ कविता में कवि ने क्या बताया है ?
(a) प्रकृति के सौंदर्य को
(b) प्रकृति की परिवर्तनशील को
(c) प्रकृति-विज्ञान संबंध को
(d) मानव जीवन-दर्शन को
उत्तर-
(b) प्रकृति की परिवर्तनशील को

प्रश्न 49.
बिहार में प्रख्यात महिला लोकगायन कलाकार………का नाम काफी मशहूर है।
(a) विंध्यावासिनी देवी
(b) दुर्गा देवी
(c) काली देवी
(d) सरस्वती देवी
उत्तर-
(a) विंध्यावासिनी देवी

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 2

प्रश्न 50.
बिहार में……….नामक बाजा लोकगायन का अभिन्न अंग रहा है।
(a) डफली
(b) बाँसुरी
(c) तबला
(d) ढोल
उत्तर-
(d) ढोल

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 3 Market Assessment

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 3 Market Assessment

Question 1.
Market Demand is also known as:
(A) Demand Forecasting
(B) Real Demand
(C) Supply
(D) None of the above
Answer:
(A) Demand Forecasting

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 3 Market Assessment

Question 2.
“A company’s marketing environment consists of the factors and forces outside marketing that affect marketing management’s ability to develop and maintain successful transactions with its target customers.” Who said this ?
(A) Cravens
(B) Kotler and Armstrong
(C) Marshall
(D) Thomas
Answer:
(B) Kotler and Armstrong

Question 3.
Which of the following factors affect market assessment?
(A) Micro Environment
(B) Production Cost
(C) Demand
(D) None of the above
Answer:
(A) Micro Environment

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 3 Market Assessment

Question 4.
What is included in demand forecasting ?
(A) Customer
(B) Product planning
(C) Short Term forecasting
(D) Consumer forecasting
Answer:
(C) Short Term forecasting

Question 5.
What is included in nature of marketing ?
(A) Product planning
(B) Classification product
(C) Consumer
(D) Customer
Answer:
(A) Product planning

Question 6.
Short-term forecast involve a period of how many months ?
(A) 12 Months
(B) 24 Months
(C) 18 Months
(D) 36 Months
Answer:
(A) 12 Months

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 3 Market Assessment

Question 7.
Demand forecasting is term as what out of the folowing ?
(A) Markeing
(B) Marketing Demand
(C) Demand and Supply
(D) All of the above
Answer:
(B) Marketing Demand

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Question 1.
Incentives are not concerned with:
(A) Rebate
(B) Exemption from Tax
(C) Provision of seed capital
(D) Lump-sum
Answer:
(D) Lump-sum

Question 2.
Payment Social Structure is composed of:
(A) Functional division of society
(B) Functional division of caste
(C) Functional division of community
(D) None of the above
Answer:
(C) Functional division of community

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Question 3.
Learning Process involves:
(A) Drive
(B) Cue
(C) Response
(D) Drive, Cue and Response
Answer:
(D) Drive, Cue and Response

Question 4.
Subsidy is:
(A) Concession
(B) Discount
(C) Repayment
(D) None of these
Answer:
(C) Repayment

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Question 5.
Social behaviour is not concerned with:
(A) Production of public goods
(B) Avoidance of unethical hebaviour
(C) Fulfilment of social obligations
(D) Profit earning Process
Answer:
(D) Profit earning Process

Question 6.
Business Regulatory frame work is concerned with what:
(A) Direction of Business
(B) Volume of Business
(C) Regulation
(D) None of the above
Answer:
(C) Regulation

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 2 Environment Scanning

Question 7.
Economic policies determine what ?
(A) Direction of Business
(B) Volume of Business
(C) Direction and value of Business
(D) None of the above
Answer:
(C) Direction and value of Business

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 1 Sensing and Identification of Entrepreneurial Opportunities

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 1 Sensing and Identification of Entrepreneurial Opportunities

Question 1.
Is it necessary to give due consideration on internal resources before initiating a particular decision ?
(A) Yes, it is necessary
(B) No, not necessary
(C) Necessary for external resources
(D) None of the above
Answer:
(A) Yes, it is necessary

Question 2.
Which of the following is a element of sensing the opportunities ?
(A) Ability to perceive
(B) Insight into the change
(C) Innovative quality
(D) All of the these
Answer:
(D) All of the these

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 1 Sensing and Identification of Entrepreneurial Opportunities

Question 3.
Which of the following is a kind of opportunities ?
(A) First opportunity
(B) Created opporutnity
(C) Last opportunity
(D) None of the these
Answer:
(B) Created opporutnity

Question 4.
Which of the following factors affecting identification of bussiness opportunities ?
(A) Volume of internal demand
(B) Created opportunity
(C) Existing opportunities in the environment
(D) None of the above
Answer:
(A) Volume of internal demand

Question 5.
Business opportunity relates with
(A) Commercially feasible projects
(B) Personal feasible projects
(C) Niether (a) nor (b) above
(D) None of the above
Answer:
(A) Commercially feasible projects

Bihar Board 12th Entrepreneurship Objective Answers Chapter 1 Sensing and Identification of Entrepreneurial Opportunities

Question 6.
The products which are more in demand are more……..
(A) Profitable
(B) Lossable
(C) More profitable
(D) None of the above
Answer:
(A) Profitable

Question 7.
It is to give due consideration on internal resources before initi ating a particular decision.
(A) Necessary
(B) Unnecessary
(C) Lossable
(D) Profitable
Answer:
(A) Necessary

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

Bihar Board 9th Hindi Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 1.
मुंशीजी की पुत्री का क्या नाम था ?
(a) सीता
(b) राधा
(c) गीता
(d) भगजोगनी
उत्तर-
(d) भगजोगनी

प्रश्न 2.
तिलक-दहेज के जमाने में…………पैदा करना मूर्खता है:
(a) लड़का
(b) लड़की
(c) बूढ़े
(d) बच्चे
उत्तर-
(b) लड़की

प्रश्न 3.
मगध की प्राचीन राजधानी कहाँ थी?
(a) वैभार (गिरिब्रज)
(b) पाटलिपुत्र
(c) कुसुमपुर
(d) नालंदा
उत्तर-
(a) वैभार (गिरिब्रज)

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 4.
फाह्यान भारत में किस देश से आया यात्री था ?
(a) तिब्बत
(b) जापान
(c) हिंदेशिया
(d) चीन
उत्तर-
(d) चीन

प्रश्न 5.
मेघ, दूत बनकर किसका प्रेम-संदेश ले गया था ?
(a) विरही श्रीराम का
(b) वियोगिनी राधा का
(c) विरही यक्ष का
(d) राधा-प्रेमी श्रीकृष्ण का
उत्तर-
(c) विरही यक्ष का

प्रश्न 6.
बच्चे किनकी कहानियाँ सुनने को ज्यादा उत्सुक रहते हैं ?
(a) माता-पिता की
(b) पास-पड़ोस की .
(c) भाई-बहनों की
(d) भूत-प्रेत की
उत्तर-
(d) भूत-प्रेत की

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 7.
बिरजू का बप्पा किस सवारी से सपरिवार नाच देखने गया था ?
(a) माँगी हुई जीप से
(b) सरकारी बस से
(c) बैलगाड़ी से
(d) मुखियाजी के ट्रैक्टर से
उत्तर-
(c) बैलगाड़ी से

प्रश्न 8.
लालपान की बेगम एक……….कहानी है।
(a) आधुनिक
(b) पुरातन
(c) आंचलिक
(d) समकालीन
उत्तर-
(c) आंचलिक

प्रश्न 9.
कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय के प्रथम भारतीय छात्र……….थे।
(a) सर आर. पी. पराजय
(b) अमृतलाल नागर
(c)सावे दादा
(d) जौहर
उत्तर-
(a) सर आर. पी. पराजय

प्रश्न 10.
कलकत्ते में स्टार थियेटर की स्थापना किसने की?
(a) सावे दादा
(b) अमृतलाल नागर
(c) मास्टर विट्ठल
(d) मिस्टर स्टीवेंसन
उत्तर-
(d) मिस्टर स्टीवेंसन

प्रश्न 11.
बाल्यकाल से भाषा-शिक्षा के साथ और किस शिक्षा की आवश्यकता है?
(a) विज्ञान की शिक्षा
(b) भाव-शिक्षा
(c) संगीत-शिक्षा
(d) नैतिक शिक्षा
उत्तर-
(b) भाव-शिक्षा

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 12.
रामायण और महाभारत का मूल रूप से………भाषा में लिखे ग्रंथ है।
(a) हिन्दी
(b) उर्दू
(c) संस्कृत
(d) बांग्ला
उत्तर-
(c) संस्कृत

प्रश्न 13.
टॉल्सटाय ने अपनी……….द्वारा लगाए पेड़ों की सावधानी से रक्षा की हैं।
(a) माँ
(b) पिता
(c) भाई
(d) इनमें से कोई नहीं |
उत्तर-
(a) माँ

प्रश्न 14.
टॉल्सटाय के घर दिखलाने में टॉल्सटाय के…….रह चुके व्यक्ति ही गाइड थे।
(a) प्रबंधक
(b) प्रिंसिपल
(c) सचिव
(d) किरानी |
उत्तर-
(c) सचिव

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 15.
रेल की प्रगति देखने के लिए आपको कहाँ घुसना चाहिए?
(a) रेलगाड़ी के डिब्बे में
(b) रेल विभाग के कार्यालय में
(c) रेलमंत्री के कक्ष में
(d) स्टेशन मास्टर के कमरे में |
उत्तर-
(a) रेलगाड़ी के डिब्बे में

प्रश्न 16.
लेखक शरद जोशी ने रेल टिकट को क्या कहा है ?
(a) देशी पासपोर्ट
(b) मृत्यु-प्रमाणपत्र
(c) देह धरे को दंड
(d) परिचय-प्रमाणपत्र
उत्तर-
(c) देह धरे को दंड

प्रश्न 17.
विद्यार्थियों के सामने निबंध-लेखन के क्रम में सबसे बड़ी भ्रांत धारण किसको लेकर है ?
(a) विषय-चयन
(b) भाषा-शैली
(c) पृष्ठ-संख्या
(d) भूमिका, उपसंहार
उत्तर-
(c) पृष्ठ-संख्या

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 18.
जगदीश नारायण चौबे………प्रदेश के निवासी हैं।
(a) उत्तर प्रदेश
(b) मध्य प्रदेश
(c) महाराष्ट्र
(d) बिहार
उत्तर-
(d) बिहार

प्रश्न 19.
राजस्थान प्रदेश की राजधानी……………है।
(a) जयपुर
(b) पटना
(c) लखनऊ
(d) दिल्ली
उत्तर-
(a) जयपुर

प्रश्न 20.
राजस्थान में विशाल……….की अधिकता है।
(a) जल
(b) मरुभूमि
(c) जनसंख्या
(d) उर्वरा
उत्तर-
(b) मरुभूमि

प्रश्न 21.
‘रुको बच्चों’ कविता में कवि ने बच्चों को क्या शिक्षा दी है ?
(a) झूठ नहीं बोलने की
(b) चरित्रवान बनने की
(c) मन लगाकर पढ़ने की
(d) सोच-विचारकर आगे बढ़ने की
उत्तर-
(d) सोच-विचारकर आगे बढ़ने की

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प्रश्न 22.
न्यायाधीश के माध्यम से कवि ने हमारी……….व्यवस्था पर टिप्पणी की है।
(a) अन्याय
(b) न्याय
(c) कुव्यवस्था
(d) अराजकता
उत्तर-
(b) न्याय

प्रश्न 23.
“समुद्र’ शीर्षक कविता से हमें क्या संदेश मिलता है ?
(a) सांप्रदायिक सद्भावना का
(b) नैतिकता के आचरण का
(c) अपने कर्तव्यों के पालन का
(d) दूसरे के अभावों को पूर्ति करने का
उत्तर-
(d) दूसरे के अभावों को पूर्ति करने का

प्रश्न 24.
कवि के अनुसार……….की वस्तु का रफ्तार सुस्त होता है।
(a) जाड़े
(b) गर्मी
(c) सर्दी
(d) बरसात
उत्तर-
(a) जाड़े

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 25.
“निभ्मो की मौत पर’ कविता……….पुस्तक से ली गई है।
(a) रात पाली
(b) दोपहर
(c) चाहे जिस शक्ल से
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) रात पाली

प्रश्न 26.
कवि ने निम्मो की तुलना किससे की है ?
(a) सूखी पत्ती से
(b) भींगी हुई चिड़िया से
(c) सूखे पेड़ से
(d) महकती लाश से
उत्तर-
(b) भींगी हुई चिड़िया से

प्रश्न 27.
ईश्वरत्व की अवधारणा से कवि का……….ही आधारभूत कारण है। ।
(a) दुख
(b) सुख
(c) आराम
(d) तकलीफ
उत्तर-
(a) दुख

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 28.
कवि का ईश्वर उससे क्यों नाराज है ?
(a) क्योंकि वह ईश्वर को बराबर गाली देता है
(b) वह पापाचार में लिप्त रहता है
(c) उसने दुःखी न रहने की ठान ली है
(d) वह कट्टर नास्तिक है
उत्तर-
(c) उसने दुःखी न रहने की ठान ली है

प्रश्न 29.
हमारे देश के दक्षिण के समुद्र का नाम………..है।
(a) हिन्द महासागर
(b) प्रशांत महासागर
(c) अंटार्कटिका महासागर
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) हिन्द महासागर

प्रश्न 30.
‘कुछ सवाल’ शीर्षक कविता से हमें किसकी जानकारी मिलती है?
(a) जीवन के दर्शन की
(b) प्रकृति-प्रेम-सौंदर्य की
(c) आत्मबोधन की
(d) प्रकृति-परिवर्तन के रहस्य की
उत्तर-
(d) प्रकृति-परिवर्तन के रहस्य की

प्रश्न 31.
मान मिलने पर भी हम……….की खेती कर पाएंगे।
(a) गीतों
(b) कवितों
(c) संगीतों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) गीतों

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 32.
हम आजाद हिंदुस्तान में कैसा नर्तन कर पाएंगे?
(a) परियों-सा
(b) मोरों-सा
(c) फूलों-सा
(d) अप्सराओं-सा
उत्तर-
(b) मोरों-सा

प्रश्न 33.
बच्चनजी किस पुरस्कार से सम्मानित हुए थे?
(a) साहित्य-अकादमी पुरस्कार
(b) ज्ञानपीठ पुरस्कार
(c) साहित्य-शिखर पुरस्कार
(d) साहित्य-शिरोमणि पुरस्कार
उत्तर-
(a) साहित्य-अकादमी पुरस्कार

प्रश्न 34.
इस कविता में………..राजा की निकल रही सवारी का वर्णन है।
(a) कवि
(b) चन्द्रमा
(c) रवि
(d) तारा
उत्तर-
(c) रवि

प्रश्न 35.
महादेवी वर्मा ने अपने-आपको नीर-भरी दुःख की……कहा
(a) साफ
(b) धुंधला
(c) अदली
(d) बदली
उत्तर-
(d) बदली

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 36.
महादेवी वर्मा के जीवन-इतिहास का क्या परिचय है?
(a) आजीवन सुख में रहना
(b) कल.जन्म लेना और आज मरना
(c) दुख का जीवनसाथी बनना
(d) संपनों में मस्त रहना
उत्तर-
(b) कल.जन्म लेना और आज मरना

प्रश्न 37.
कविवर ‘हरिऔध’ जी किस युग के कवि हैं ?
(a) प्रयोगवादी युग
(b) छायावादी युग
(c) द्विवेदी युग
(d) प्रगतिवादी युग
उत्तर-
(c) द्विवेदी युग

प्रश्न 38.
………….की बेला में प्रकृति का सौंदर्य मोहक लगता है।
(a) संध्याकाल
(b) प्रात:काल
(c) गोधूलि काल
(d) मध्यांतर काल
उत्तर-
(b) प्रात:काल

प्रश्न 39.
एक ही नदी में क्या करोड़ों बनते हैं और मिटते हैं ?
(a) मछलियाँ
(b) तरंगें
(c) सर्प
(d) जलजंतु
उत्तर-
(b) तरंगें

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 40.
नदी की गोद में उत्पन्न लहरें फिर………में ही समाहित होता
(a) नदी
(b) समुद्र
(c) तालाब
(d) सागर
उत्तर-
(a) नदी

प्रश्न 41.
मंझन-रचित एकमात्र काव्य-पुस्तक का नाम…………है।
(a) मधु मालती
(b) मधुशाला
(c) मधुबाला
(d) सतरंगिनी
उत्तर-
(a) मधु मालती

प्रश्न 42.
मंझन की प्रसिद्धि एक……….कवि के रूप में है।
(a) भक्ति
(b) निर्गुणवादी
(c) सूफी
(d) सगुणवादी
उत्तर-
(c) सूफी

प्रश्न 43.
लीलावती……..की सवारी से स्टेशन से घर आई थी।
(a) जीप
(b) कार
(c) टमटम
(d) वायुयान
उत्तर-
(a) जीप

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 44.
लीलावती के दोनों भतीजे का नाम………..और सुरेश था।
(a) सुदेश
(b) नरेश
(c) कलेश
(d) मोहन
उत्तर-
(b) नरेश

प्रश्न 45.
बोलने में अष्टावक्र साधारण आदमी से……….समय लेता था।
(a) दोगुना
(b) तिगुना
(c) चौगुना
(d) पाँच गुना
उत्तर-
(d) पाँच गुना

प्रश्न 46.
गरमी के दिनों में अष्टावक्र माँ-बेटे कहाँ सोया करते थे?
(a) मंदिर की सीढ़ियों पर
(b) दुकान के भीतरी हिस्से में
(c) कुएँ की जगत पर
(d) घर के आँगन के बाहर
उत्तर-
(a) मंदिर की सीढ़ियों पर

प्रश्न 47.
शिव…………के गीत लोकगीतों के प्रसिद्ध भक्तिगीत माने जाते
(a) दुर्गा
(b) सरस्वती
(c) पार्वती
(d) काली
उत्तर-
(c) पार्वती

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 48.
बक्सर जिले के बराही गाँव के………..उर्फ गाँधीजी की ढोलवादन कला सर्वप्रशंसित है।
(a) रामकृतार्थ मिश्र
(b) रामचरित मिश्र
(c) रामदीन मिश्र
(d) रामकृपाल मिश्र
उत्तर-
(c) रामदीन मिश्र

प्रश्न 49.
“तुम चंदन हम पानी में ‘तुम’ शब्द का प्रयोग किसके लिए हुआ
(a) माता-पिता के लिए
(b) भगवान के लिए
(c) गुरुदेव के लिए
(d) आत्मा के लिए
उत्तर-
(b) भगवान के लिए

Bihar Board 9th Hindi VVI Objective Questions Model Set 1

प्रश्न 50.
रैदास की दृष्टि में भगवान………..है और कवि पानी है।
(a) अंतरयामी
(b) चन्दन
(c) सर्प
(d) सुगन्ध
उत्तर-
(b) चन्दन

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

Bihar Board Class 8 Sanskrit Book Solutions Amrita Bhag 3 Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद: Text Book Questions and Answers, Summary.

BSEB Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

Bihar Board Class 8 Sanskrit गुरु-शिष्य-संवाद: Text Book Questions and Answers

(अष्टमकक्षायाः दृश्यम्, आसनेषु स्थिता: बालकाः बालिकाश्च । पृष्ठभूमौ कृष्णपट्टः समक्षं फलकम्, तस्योपरि मार्जनी पट्टलेखी च । शिक्षकस्य प्रवेशः, सर्वे छात्राः उत्तिष्ठन्ति ।)
अर्थ – अष्टम वर्ग का दृश्य है, अपने-अपने आसन (बेंच) पर लड़के और लड़कियाँ बैठी हैं। पृष्ठभूमि (सामने की दीवार) में श्यामपट्ट (ब्लैकबोर्ड) सामने में टेबुल, उसपर डस्टर और खल्ली है। शिक्षक का प्रवेश होता है। सभी छात्र उठ जाते हैं।).

छात्राः (समवेतस्वरेण) प्रणमामो वयं सर्वे।
अर्थ – छात्रों – (एक स्वर में) हम सब आपको प्रणाम करते हैं।)

शिक्षक (दक्षिणं हस्तमुत्थाप्य) – तिष्ठन्तु सर्वे । ।
अर्थ – (दाहिना हाथ उठाकर) सभी बैठ जाएँ।

भावना – गुरुवर ! अद्य किं पाठयिष्यति ?
अर्थ – (गुरुवर ! आज क्या पढाएँगे?)

शिक्षकः – अद्य अनेकान् विषयान् कथयिष्यामि । आदौ विद्यायाः ‘महत्त्वम् ।
अर्थ- आज अनेक विषयों को कहूँगा । सबसे पहले विद्या के महत्त्व को बताता हूँ।

शीला – शोभनम् । विद्याविषये तु अस्माकमपि जिज्ञासा वर्तते।।
अर्थ – अच्छा है। विद्या के विषय में सुनने की जिज्ञासा हमलोगों की भी।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

अर्थ – आज अनेक विषयों को कहूँगा । सबसे पहले विद्या के महत्त्व को बताता हूँ। :

शीला – शोभनम् । विद्याविषये तु अस्माकमपि जिज्ञासा वर्तते ।
अर्थ – अच्छा है। विद्या के विषय में सुनने की जिज्ञासा हमलोगों की भी

शिक्षकः तर्हि एवं प्राचीनं श्लोकं स्मरतु :
अर्थ – तो इस प्राचीन श्लोक को याद करें।

न चौरहार्यं न च राजहार्य, न भ्रातृभाज्यं न च भारकारि।..
व्यये कृते वर्धत एव नित्यं, विद्याधनं सर्वधनप्रधानम ॥
अर्थ – विद्या चोर के चुराने योग्य नहीं है और न राजा के द्वारा हरने योग्य है, भाईयों के बीच बाँटने योग्य भी नहीं है और न यह भारी ही लगता है। खर्च करने पर सदैव बढ़ता है। इसीलिए तो कहां गया है विद्या धन सभी धनों में प्रधान है।

मोईन:-अयं तु अतीव प्रसिद्धः श्लोकः । धनानां सीमा वर्तते, विद्या तु असीमा । अपि किञ्चिदस्ति विद्याविषयकं सुभाषितम् ?
अर्थ – यह तो बहुत प्रसिद्ध श्लोक है। धन की सीमा होती है। विद्या – तो असीम (सीमा रहित) है। विद्या विषय पर कोई और भी सुभाषित है?

शिक्षकः-बहूनि सन्ति । यथा-विद्ययाऽमृतमश्नुते, विद्या ददाति विनयम, विद्याविहीनः पशुः इत्यादीनि । अपरमपि अद्य वदिष्यामि ।
अर्थ – बहुतों हैं। जैसे-विद्या से अमृत (अमरता) की प्राप्ति होती है, विद्या विनम्रता देती है। विद्या से विहीन लोग पशु के समान होते हैं इत्यादि । अन्य भी आज बताऊँगा।

पंकज – तत्रापि रोचकं किमपि कथयतु । वयं किशोराः स्मः । अस्माकं जीवनस्य लक्ष्यं वदतु भवान् ।
अर्थ – वहीं पर कुछ रोचक बातें भी कहें । हम सभी किशोर हैं। हमारे जीवन के लक्ष्य को आप बताएँ।

शिक्षक: यस्मिन् देशे समाजे च वयं निवसामः तं प्रति सर्वेषां किशोराणां कर्त्तव्यमस्ति । अस्याम् अवस्थायां स्वस्थम् आचरणं यदि भवेत् तदा सर्वत्र कल्याणं

शान्तिः सुखं च प्रसरेत् । कुत्रापि विषमताभावं न ध रियेत् । यदपि शारीरिक मानसिकं च परिवर्तनं किशोरावस्थायां भवति, तत् सर्व प्राकृतिकमेव । अतः आश्चर्यं नास्ति ।
अर्थ – जिस देश और समाज में हमलोग रहते हैं उसके प्रति सभी किशोरों (युवकों) का कर्तव्य है। इस अवस्था में स्वस्थ आचरण यदि हो , तो सब जगह कल्याण, शान्ति और सुख का प्रसार होगा । कहीं भी विलगाव

का भाव नहीं धारण करना चाहिए । जबकि शारीरिक और मानसिक परिवर्तन किशोर अवस्था में होता है। यह सब प्राकृतिक ही होता है। अतः इसमें आश्चर्य नहीं करना चाहिए।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

वसुन्धरा-गुरुवर ! किशोरान् प्रति भवतः कः उपदेशः ?
अर्थ – गुरुवर ! किशोरों के प्रति आपका क्या उपदेश है।
शिक्षकः – किशोराः अस्मिन् वयसि उद्विग्नाः भवन्ति, सर्वत्र शीघ्रतां कुर्वन्ति । तत् नास्ति उचितम् । सर्वं कार्य कालेन भवति । ईर्ष्या, द्वेषः, लोभः, क्रोधः, अपशब्दानां प्रयोगः, आलस्यम् इत्येते सर्वे दोषाः सन्ति । अतः तेषां परित्यागेन किशोराः किशोर्यश्च विद्यायाः पात्राणि भवन्ति । अन्यथा सर्वम् अध्ययनं व्यर्थम्

अपि च येन कार्येण वयं उद्विग्नाः भवामः तथा अपरान् प्रति न करणीयम् । उक्तञ्च
अर्थ – नवयुवक इस उम्र में उत्तेजित हो जाते हैं। सब जगह शीघ्रता करते. हैं। यह उचित नहीं है सभी कार्य समय से होता है। ईर्ष्या, द्वेष, लोभ, क्रोध, गाली-गलौज का प्रयोग करना और आलस्य ये सभी दोष हैं । अत: इन सबों का परित्याग करने से किशोर और किशोरी (लड़के-लड़कियाँ) विद्या के पात्र होते हैं। अन्यथा सभी पढ़ाई व्यर्थ हो जाता है। जिस कार्य को करने से हमलोग उत्तेजित हो जाते हैं वह कार्य दूसरों के प्रति नहीं करना चाहिए। कहा गया है-

पालनीयं तु सर्वत्र किशोरैरनुशासनम् ।
न क्रोधेन न लोभेन तेषामपि हितं भवेत् ॥
अर्थ – नवयवकों को अनुशासन का पालन सब जगह करना चाहिए। क्रोध और लोभ नहीं करने से उनका (छात्रों का) हित होता है।

त्याज्यं च मादकं द्रव्यं त्यजेदपि कुसंगतिम् ।
पितरौ प्रणमेत् नित्यम् आद्रियेत गुरुनपि ।
अर्थ – मादक पदार्थों का त्याग करना चाहिए। बुरी संगति का त्याग करना चाहिए। माता-पिता को प्रतिदिन प्रणाम करना चाहिए और गुरु का आदर करना चाहिए।

समाजस्योपकाराय कुर्याद् देशहिताय च ।
एवं कृते किशोराणां कल्याणं सार्वकालिकम् ॥
अर्थ – समाज के उपकार के लिए और देश के हित के लिए काम करना चाहिए। ऐसा करने से नवयुवकों का सदैव कल्याण रहेगा।

छात्रा: – अतीव कल्याणकरं वस्तुं दर्शितं भवता।
अर्थ – बहुत कल्याणप्रद बातों को बताया आपने ।

(छात्राः प्रमुदिताः प्रतीयन्ते । शिक्षकः वर्गात् निर्गच्छति ।)
अर्थ – (छात्र लोग खुश नजर आते हैं। शिक्षक वर्ग से निकलते हैं।)

शब्दार्थ

आसनेषु = आसनों पर । पृष्ठभूमौ = पृष्ठभूमि में । कृष्णपट्ट = श्यामपट्ट (Blackboard) । समक्षम् = सामने । फलकम् = टेबुल । तस्योपरि = उसके ऊपर । मार्जनी = डस्टर । पट्टलेखी = चॉक । उत्तिष्ठन्ति = उठते हैं। समवेतस्वरेण = एक स्वर में । दक्षिणम् = दायाँ । हस्तमुत्थाप्य (हस्तम् + उत्थाप्य) = हाथ उठाकर । पाठयिष्यति = पढ़ाएँगे। कथयिष्यामि = कहूँगा । आदौ = आरम्भ (शुरू) में । शोभनम् = अच्छा । विद्याविषये =

जिज्ञासा = जानने की इच्छा । तर्हि = तो । स्मरतु = याद रखें । चौरहार्यम् = चोर द्वारा चुराने योग्य । राजहार्यम् = राजा द्वारा छीनने योग्य । भ्रातृभाज्यम् = भाई द्वारा बाँटने योग्य । भारकारि = भार या बोझ देने वाला । व्यये कृते = खर्च करने पर । वर्धत एव = बढ़ता ही है। नित्यम् = हमेशा, सदा । विद्याधनम् = विद्यारूपी धन । सर्वधनप्रधानम् = सभी धनों में प्रधान । असीमा = असीमित । किञ्चित् = कुछ, कोई । विद्याविषयकम् = विद्या से सम्बन्धित । बहूनि = अनेक । विद्ययाऽमृतमश्नुते = विद्या से अमृत प्राप्त होता है ।

(विद्यया + अमृतम् + अश्नुते) । विद्याविहीनः = विद्या से रहित । अपरम् = दूसरा, अन्य । वदिष्यामि = बोलूँगा। रोचकम् = रोचक, मनोरञ्जक । अस्माकम् = हमलोगों का । वदतु = बोलो, बोलिए । भवान् = आप । यस्मिन् = जिसमें । निवसामः = रहते हैं । तम् प्रति = उसके प्रति । सर्वेषाम् = सबका । किशोराणाम् = किशोरों का । अस्याम् अवस्थायाम् = इस अवस्था में । प्रसरेत् = फैलना चाहिए । स्वपरिवारमेव = (स्वपरिवारम् + एव) = अपना परिवार ही । कुत्रापि (कुत्र + अपि) = कहीं । विषमताभावम् = भेदभावपूर्ण भाव । धारयेत् = धारण करना चाहिए । यदपि (यत् + अपि) = जो भी । किशोरावस्थायाम् = किशोरावस्था में । किशोरान् प्रति = किशोरों के प्रति । भवतः = आपका । अस्मिन् = इसमें । वयसि = आयु

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

छोड़ देने से । पात्राणि = योग्य । अपरान् प्रति = दूसरे के प्रति । करणीयम् = करना चाहिए । उक्तञ्च ( उक्तम् + च) = और कहा गया है। पालनीयम् = पालन करना चाहिए। किशोरैः = किशोरों द्वारा । अनुशासनम् = अनुशासन । तेषामपि (तेषाम् + अपि) = उनका भी। हितम् = हित, कल्याण । भवेत् = होना चाहिए । त्याज्यम् = छोड़ने योग्य । मादकम् = नशीला । द्रव्यम् = पदार्थ । त्यजेत् = छोड़ देना चाहिए । कुसंगतिम् = बुरी संगत (साथ) को । पितरौ = माता-पिता को । प्रणमेत् = प्रणाम करना चाहिए । आद्रियेत = आदर करना चाहिए। गुरुनपि = गुरुओं को भी। समाजस्योपकाराय (समाजस्य + उपकाराय) = समाज के उपकार के लिए । कुर्याद् (कुर्यात्)

(समाजस्य + उपकाराय) = समाज के उपकार के लिए । कुर्याद् (कुर्यात्) = करना चाहिए । देशहिताय = देश के हित के लिए । एवं कृते = ऐसा करने पर । किशोराणाम् = किशोरों का । कल्याणम् = हित । सार्वकालिकम् = हमेशा, सदा । कल्याणकरम् = कल्याण करने वाला । दर्शितम् = दिखाया गया । भवता = आपके द्वारा । प्रमुदिताः = प्रसन्न, खुश । प्रतीयन्ते = प्रतीत होते हैं, लगते हैं। वर्गात् = कक्षा से, वर्ग से । निर्गच्छति = निकलता है।

व्याकरणम्

सन्धि विच्छेद

बालिकाश्च = बालिकाः + च (विसर्ग सन्धि) । तस्योपरि = तस्य + उपरि (गुण सन्धि) । हस्तमुत्थाप्य = हस्तम् + उत्थाप्य । किञ्चिदस्ति = किञ्चित् + अस्ति (व्यञ्जन सन्धि) । विद्ययाऽमृतमश्नुते = विद्यया + अमृतम् + अश्नुते । अपरमपि = अपरम् + अपि । तत्रापि = तत्र + अपि (स्वर सन्धि) । किमपि = किम + अपि । कर्त्तव्यमस्ति = कर्त्तव्यम् + अस्ति । स्वपरिवारमेव । स्वपरिवारम् + एव । कुत्रापि = कुत्र + अपि (स्वर सन्धि) । यदपि = यत् + अपि (व्यञ्जन सन्धि)। किशोरावस्थायाम् = किशोर + अवस्थायाम् (स्वर सन्धि) । प्राकृतिकमेव = प्राकृतिकम् + एव । नास्ति = न + अस्ति (दीर्घ सन्धि) । उद्विग्नाः = उत् + विग्नाः (व्यञ्जन सन्धि) । इत्येते = इति + एते (स्वर सन्धि) । किशोर्यश्च = किशोर्यः + च (विसर्ग सन्धि) । किशोरैरनुशासनम् = किशोरैः + अनुशासनम् (विसर्ग सन्धि) । तेषामपि = तेषाम् + अपि । त्यजेदपि = त्यजेत् + अपि (व्यञ्जन सन्धि)। गरुनपि = गरुन् + अपि ।

प्रकृति-प्रत्यय-विभागः

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद 1

अभ्यासः

मौखिक 

प्रश्न 1.
अधोलिखितानां पदानाम् उच्चारणं कुरुत:
पृष्ठभूमौ, समक्षम्, पट्टलेखी, हस्तमुत्थाप्य, जिज्ञासा, चौरहार्यम्, राजहार्यम्, भ्रातृभाज्यम्, सर्वधनप्रधानम्, किञ्चिदस्ति विद्ययाऽमृतमश्नुते, विद्याविहीनः इत्यादीनि, उद्विग्नाः, अपशब्दानां, किशोर्यश्च, उक्तञ्च, किशोरैरनुशासनम्, त्याज्यम्, कुसंगतिम्, गुरुनपि, समाजस्योपकाराय, सार्वकालिकम्, प्रमुदिताः, निर्गच्छति।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

प्रश्न 2.
निम्नलिखितानां पदानाम् अर्थं वदत:
प्रश्नोत्तरं :
कृष्णपट्टः = ब्लैकबोर्ड । समक्षम् = सामने । मार्जनी = डस्टर । हस्तमुत्थाप्य = हाथ उठाकर । चौरहार्यम् = चोर के द्वारा चुराने योग्य । राजहार्यम् = राज के द्वारा हरने योग्य । भ्रातृभाज्यम् = भाई के द्वारा बाँटने योग्य । किञ्चित् = थोड़ा, कुछ। अपरम् = दूसरा । प्रसरेत् = फैलना. चाहिए। विषमता भावम् = भेदभावपूर्ण भाव । उद्विग्ना = उत्तेजित । अपशब्दानाम् = गाली-गलौज का । परित्यागेन = परित्याग से । तेषामपि = उनका भी । त्याज्यम् = त्यागने योग्य । मादकम् = नशीला । कुसंगतिम् :बुरी संगति । पितरौ = माता-पिता । सार्वकालिकम् = हमेशा, सब समय में रहने वाला । प्रमुदिताः = खुश, प्रसन्।

लिखित

प्रश्न 3.
निम्नलिखिताना प्रश्नानां उत्तरं एकपदेन लिखत :
(निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक शब्द में लिखें):

प्रश्नोत्तरम् :
(क) “गुरु शिष्य-संवादः’ इति पाठे कस्याः कक्षायाः दृश्यम् ?
उत्तरम्-
अष्टम्।

(ख) बालकाः बालिकाश्च कुत्र स्थिताः?
उत्तरम्:
आसनेषु ।

(ग) शिक्षकः पाठेऽस्मिन् कस्याः महत्त्वं दर्शयति ?
उत्तरम्-
विद्यायाः।

(घ) किं न चौरहार्यं न राजहार्यं न भ्रातृभाज्यं वा वर्वते ?
उत्तरम्-
विद्या।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

(ङ) सर्वधन प्रधानं धनं किम् ?
उत्तरम्-
विद्या ।

(च) धनानां सीमा का?
उत्तरम्-
असीमा।

(छ) विद्या किं ददाति ?
उत्तरम्-
विनयम।

(ज) विद्याविहीनः जनः कीदृशः भवति ?
उत्तरम्-
पशुः।

(अ) किशोरावस्थायां किशोराः कीदृशाः भवन्ति ?
उत्तरम्-
उद्विग्नाः।

(ट) किशोरैः सर्वत्र किं पालनीयम् ?
उत्तरम्-
अनुशासनम् ।

(ठ) को नित्यं प्रणमेत् ?
उत्तरम्-
पितरौ ।

(ड) शिक्षकः कस्मात् निर्गच्छति ?
उत्तरम् –
वर्गात् ।

प्रश्न 4.
अधोलिखितानां प्रश्नानाम् उत्तर पूर्ण वाक्येन लिखत
(क) कक्षायां शिक्षकस्य प्रवेशे सति सर्वे छात्राः किं कुर्वन्ति ?
उत्तरम्-
कक्षायां शिक्षकस्य प्रवेशेसति सर्वे छात्रा: उत्तिष्ठन्ति ।

(ख) छात्राः समवेतस्वरेण किं वदन्ति ?
उत्तरम्-
छात्राः समवेतस्वरेण वदन्ति यत्-प्रणमामो वयं सर्वे ।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

(ग) शिक्षकः कं हस्तम् उत्थाप्य वदति-तिष्ठन्तु सर्वे।
उत्तरम्-
शिक्षकः छात्रान दक्षिणं हस्तम् उत्थाप्य वदति-तिष्ठन्तु सर्वे ।

(घ) शिक्षकः आदौ कस्याः महत्त्वं दर्शयति ?
उत्तरम्-
शिक्षक: आदौ विद्यायाः महत्त्वम् दर्शयति ।

(ङ) किशोरावस्थायाः के के दोषाः सन्ति ?
उत्तर-
किशोरावस्थायाः ईर्ष्या, द्वेषः लोभः, क्रोधः अपशब्दानां प्रयोगः, आलस्यम् आदाः दोषाः सन्ति ।

(च) केषां परित्यागेन किशोरा: किशोर्यश्च विद्यायाः पात्राणि भवन्ति ?
उत्तरम्-
दोषानाम् परित्यागेन किशोराः किशोर्यश्च विद्यायाः पात्राणि भवन्ति ।

(छ) येन कार्येण वयम् उद्विग्नाः भवामः तया कान् प्रति न करणीयम्?
उत्तरम्-
येन कार्येण वयम् उद्विग्ना : भवामः तया अपरान् प्रति न करणीयम् ।

(ज) को नित्यं प्रणमेत् ।
उत्तरम्-
माता-पितरौ नित्यं प्रणमेत् ?

(झ) कान् नित्यम् आद्रियेत ?
उत्तरम्-
गुरुन्, नित्यम् आद्रियेत ।

प्रश्न 5.
मञ्जूषायाः उचितानि पदानि चित्वा वाक्यानि पूरयत :

पृष्ठभूमौ, समक्षम्, विद्याधनम्, विनयम्, पशुसमानः, अनुशासनम्, कुसंगतिम्, त्याज्यम्, किशोराः, प्राकृतिकम्।

  1. कृष्णपट्टः ……….. वर्तते ।
  2. फलकं …………. वर्तते।
  3. सर्वधनप्रधानं ………….. ।
  4. विद्या ददाति …………..।
  5. विद्याविहीनः ………….. ।
  6. किशोरैः सर्वत्र ………. पालनीयम्।
  7. ………… त्यजेत् ।
  8. मादक द्रव्यं …………. उद्विग्ना भवन्ति ।
  9. किशोरावस्थायां शारीरिक मानसिकं च परिवर्तनं ………. एव ।

उत्तरम्-

  1. पृष्ठभूमी
  2. ‘समक्षम्’
  3. विद्या धनं
  4. विनयम्
  5. पशु समानः
  6. अनुशासनम्
  7. कुसंगतिम्
  8. किशोराः
  9. प्राकृतिकम्।

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

प्रश्न 6.
निम्नलिखितानां पदानां बहुवचनं लिखत :
प्रश्नोत्तरम् :

  1. उत्तिष्ठति = उतिष्ठन्ति ।
  2. तिष्ठतु = तिष्ठन्तु ।
  3. पाठयिष्यति = पाठिष्यन्ति ।
  4. कथयिष्यामि = कथयिष्यामः ।
  5. स्मरतु = स्मरन्तु ।
  6. वर्तते = वर्तन्ते ।
  7. वदिष्यामि = वदिष्यामः।
  8. भवति = भवन्ति ।
  9. करोति = कुर्वन्ति ।
  10. निर्गच्छति = निर्गच्छन्ति ।

प्रश्न 7.
पदानि योजयित्वा लिखत :
प्रश्नोत्तरम् :

  1. अपरम् + अपि = अपरमपि ।
  2. हस्तम् + उत्थाप्य = हस्तमुत्थाप्य ।
  3. अस्माकम् + अपि = अस्माकमपि ।
  4. अपरम् + अपि = अपरमपि ।
  5. किम् + अपि = किमपि ।
  6. कर्तव्यम् + अस्ति = कर्त्तव्यमस्ति ।
  7. स्वपरिवारम् + एव = स्वपरिवारमेव ।
  8. प्राकृतिकम् + एव = प्राकृतिकमेव ।
  9. तेषाम् +.अपि – तेषामपि ।
  10. गुरुन् + अपि = गुरुनपि।

प्रश्न 8.
संस्कृते अनुवादं कुरुत
प्रश्नोत्तरम्:

  1. आज क्या पढ़ाएँगे = अद्य किं पाठयिष्यति।
  2. आरम्भ में विद्या का महत्त्व कहूँगा? = आदौ विद्यायाः महत्त्वं कथयिष्यामि।
  3. धन की सीमा होती है। = धनस्य सीमा भवति।
  4. विद्या विनय देती है। = विद्या विनयं ददाति ।
  5. विद्या से रहित व्यक्ति पशु के समान होता है । = विद्ययाहीन: जनः पशु समानः भवति ।
  6. छात्र प्रसन्न प्रतीत होते हैं । = छात्राः प्रसन्नप्रतीताः सन्ति ।

प्रश्न 9.
उदाहरणानुसारेण विभक्ति निर्णयं कुरुत

यथा –
आसनेषु – सप्तमी विभक्ति
प्रश्नोत्तरम् :

  1. बालकाः – प्रथमा विभक्ति
  2. पृष्ठभूमौ – सप्तमी विभक्ति
  3. शिक्षकस्य – षष्ठी विभक्ति
  4. अवस्थायाम् – सप्तमी विभक्ति
  5. अस्मिन् – सप्तमी एकवचन
  6. पात्राणि – प्रथमा बहुवचन
  7. किशोरैः – षष्ठी बहुवचन
  8. गुरुन् – द्वितीया विभक्ति बहुवचन
  9. उपकाराय – चतुर्थी बहुवचन
  10. शिक्षकः – पाठिष्यति

Bihar Board Class 8 Sanskrit Solutions Chapter 10 गुरु-शिष्य-संवाद:

प्रश्न 10.
उदाहरणानुसारेण वचन निर्णयं कुरुत :
यथा –
बालिकाः – बहुवचनम्
प्रश्नोत्तरम्-

  1. बालकाः – बहुवचनम्
  2. श्लोकः – एकवचनम्
  3. पशुः – एकवचनम्
  4. किशोराः – बहुवचनम्
  5. पितरौ – द्विवचनम्

प्रश्न 11.
निम्नलिखितानां पदानां सन्धि सन्धिविच्छेदं वा कुरुत-
उत्तरम्-

  1. तस्य + उपरि = तस्योपरि ।
  2. तत्र + अपि = तत्रापि ।
  3. यत् + अपि = यदपि ।
  4. उत् + विग्नाः उद्विग्नाः ।
  5. किशोर + अवस्था = किशोरावस्था ।
  6. किञ्चित् + अस्ति = किञ्चदस्ति ।
  7. किशोरैः + अनुशासनम् = किशोरैरनुशासनम् ।
  8. निः + गच्छति = निर्गच्छति ।

Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 13 महात्मा गाँधी और राष्ट्रीय आन्दोलन : सविनय अवज्ञा और उससे आगे

Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 13 महात्मा गाँधी और राष्ट्रीय आन्दोलन : सविनय अवज्ञा और उससे आगे Textbook Questions and Answers, Additional Important Questions, Notes.

BSEB Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 13 महात्मा गाँधी और राष्ट्रीय आन्दोलन : सविनय अवज्ञा और उससे आगे

Bihar Board Class 12 History महात्मा गाँधी और राष्ट्रीय आन्दोलन : सविनय अवज्ञा और उससे आगे Textbook Questions and Answers

उत्तर दीजिए (लगभग 100 से 150 शब्दों में)

प्रश्न 1.
महात्मा गांधी ने खुद को आम लोगों जैसा दिखाने के लिए क्या किया?
उत्तर:
महात्मा गांधी ने खुद को आम लोगों जैसा दिखाने के लिए निम्नलिखित कार्य किये –

  1. महात्मा गांधी ने सर्वप्रथम अपने राजनीतिक गुरु गोपालकृष्ण गोखले के परामर्शानुसार एक वर्ष तक ब्रिटिश भारत की यात्रा की ताकि वे इस भूमि और इसके लोगों को अच्छी तरह जान सकें।
  2. गांधी जी ने अपने को आम लोगों की वेशभूषा धारण की। उन्होंने खादी के वस्त्र पहने, हाथ में लाठी उठाई, चरखा काता। हरिजनों के हितों, महिलाओं के प्रति सद्व्यवहार किया और उनके प्रति सहानुभूति व्यक्त की। उन्होंने अपने भाषणों में यह बार-बार दोहराया कि भारत गाँवों में बसता है। किसानों और गरीब लोगों की समृद्धि और खुशहाली के बिना देश की उन्नति नहीं हो सकती।
  3. उन्होंने आम लोगों यथा-किसान और मजदूरों के दुःख दूर करने के लिए. चंपारण, खेड़ा और अहमदाबाद में आंदोलनों का सूत्रपात अकेले किया।
  4. वे आम व्यक्ति की तरह भगवान की पूजा करते थे और जन-सेवा में लगे रहते थे।

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प्रश्न 2.
किसान महात्मा गांधी को किस तरह देखते थे?
उत्तर:

  1. गांधी जी को किसान अपना हमदर्द मानते थे। इसीलिए जब उन्होंने फरवरी 1916 में बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय के उद्घाटन समारोह में किसानों या आम आदमियों को देखा तो वे दुःखी हो गये। इसके लिए उन्होंने स्पष्ट शब्दों में आयोजकों की निन्दा की।
  2. गरीब किसान भूराजस्व को कम कराने तथा भूराजस्व की दर कम करवाने के लिए अधिकारियों, जमींदारों, को शोषण से मुक्त होने तथा समस्याओं को दूर करने की आशा गाँधी जी को समक्ष मानते है।
  3. किसानों को सेषण से मुक्त होने तथा समस्थाओं को दूर करने की आशा गाँधी जी पर टीकी थी।
  4. वे जानते थे कि केवल गाँधी जी ही उनके कुटीर उद्योगों को बर्बाद होने से बचा सकते हैं।
  5. किसान गांधी जी को लोकप्रिय नेता और अपने में से एक समझते थे। उनका यह मानना था कि वे उन्हें अंग्रेजों की दासता, जमींदारों के शोषण और साहूकारों के चंगुल से अहिंसात्मक आन्दोलनों और शांतिपूर्ण प्रतिरोधों द्वारा बचायेंगे।

प्रश्न 3.
नमक कानून स्वतंत्रता संघर्ष का महत्त्वपूर्ण मुद्दा क्यों बन गया था?
उत्तर:
नमक कानून स्वतंत्रता संघर्ष का महत्त्वपूर्ण मुद्दा बनने के कारण –

  1. महात्मा गांधी ने घोषणा की कि नमक मनुष्य की बुनियादी जरूरत है और सभी लोगों द्वारा प्रयोग किया जाता है। इस पर ब्रिटिश सरकार का एकाधिकार रहना मानव जाति के प्रति घोर अत्याचार है।
  2. नमक उत्पादन और विक्रय पर राज्य के एकाधिकार को तोड़ना आवश्यक है।
  3. लोगों को नमक बनाने से रोकना नागरिक अधिकारों को घोर दमन है। भारतीय घर में नमक का प्रयोग अपरिहार्य था परन्तु इसके बावजूद उन्हें घरेलू प्रयोग के लिए भी नमक बनाने से रोका गया। फलस्वरूप लोगों को ऊँचे दामों पर नमक खरीदना पड़ता था।

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प्रश्न 4.
राष्ट्रीय आन्दोलन के अध्ययन के लिए अखबार महत्त्वपूर्ण स्रोत क्यों हैं?
उत्तर:
राष्ट्रीय आन्दोलन के अध्ययन में अखबार का महत्त्व –

  1. इनसे देश में होने वाली घटनाओं, नेतागणों और अन्य लोगों की गतिविधियों, विचारों आदि की जानकारी मिलती है।
  2. उदाहरण के लिए-नमक आन्दोलन के विषय में अमेरिकी समाचार पत्रिका ‘टाइम’ का आरंभ में गांधी जी की हँसी उड़ाना है परन्तु बाद में इस आंदोलन से अंग्रेज शासकों की नींद हराम होने की बात करना स्वयमेव दर्शाता है कि वह आंदोलन कितना प्रभावशाली था इनमें आंदोलनकारियों का मनोबल बड़ा होगा।
  3. लेखकों, कवियों, पत्रकारों, साहित्यकारों और विचारकों के नजदीक लाकर आम-जनता को एक नई दिशा में आगे बढ़ाते हैं।
  4. अखबार जनमत का निर्माण और इसकी अभिव्यक्ति करते हैं। यह सरकार और सरकारी अधिकारियों तथा आम लोगों के विचारों और समस्या के विषय में जानकारी देकर व्यष्टि स्तर पर श्रेष्ठ कार्य करने की प्रेरणा देते हैं।

प्रश्न 5.
चरखे को राष्ट्रवाद का प्रतीक क्यों चुना गया?
उत्तर:
चरखे को राष्ट्रवाद का प्रतीक चुनने के कारण –

  1. महात्मा गांधी मशीनीकरण के विरुद्ध थे। उनका मानना था कि मशीनों ने मानव को गुलाम बनाकर उनका स्वास्थ्य प्रभावित किया है तथा श्रमिकों के हाथों से काम और रोजगार छीन लिया है।
  2. चरखा स्वयं में एक सहज और सरल मशीन था जो प्रत्येक व्यक्ति को आत्मनिर्भर बनाता था।
  3. उन्होंने मशीनों की आलोचना की और चरखे को ऐसे मानव समाज के प्रतीक रूप में देखा जिसमें मशीनों और प्रौद्योगिकी को अधिक महत्त्व नहीं दिया जायेगा।
  4. गांधी जी के अनुसार भारत एक गरीब देश है। चरखा गरीबों को पूरक आमदनी प्रदान करेगा। वे स्वावलंबी बनेंगे और गरीबी तथा बेरोजगारी से उन्हें छुटकारा मिलेगा।
  5. महात्मा गांधी मानते थे कि मशीनों से श्रम बचाकर लोगों को मौत के मुँह में ढकेलना या उन्हें बेरोजगार करके सड़क पर फेंकना एक बराबर है। चरखा धन के केन्द्रीकरण को रोकने में भी सहायक है।

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प्रश्न 6.
असहयोग आन्दोलन एक तरह का प्रतिरोध कैसे था?
उत्तर:
असहयोग आन्दोलन एक प्रतिरोध के रूप में –
1. औपनिवेशिक सरकार ने ‘रोलेट एक्ट’ पारित कर दिया जिसके अनुसार दोष सिद्ध हुए बिना ही किसी को भी जेल में बंद किया जा सकता था। गांधी जी ने इसके विरुद्ध अभियान चलाया। इसी को लेकर जलियाँवाला बाग में एक सभा हो रही थी। वहाँ जनरल डायर ने गोली चलाने का आदेश दे दिया। जिनमें सैकड़ों लोग मारे गये। गांधीजी ने इसके विरोध में असहयोग आन्दोलन शुरू कर दिया।

2. उन्होंने लोगों से अपील की कि वे सरकारी स्कूलों, कॉलेजों और न्यायालय में न जाएँ तथा कर न चुकाएँ। उन्होंने कहा कि स्वेच्छा से इसका पालन करें जिससे स्वराज्य मिल सके। इस प्रकार उन्होंने लोगों से प्रतिरोध करने की अपील की।

3. असहयोग आंदोलन इसलिए भी प्रतिरोध आंदोलन था क्योंकि राष्ट्रीय नेता उन अंग्रेज अधिकारियों को कठोर दंड दिलाना चाहते थे जिन्होंने अमृतसर के जलियाँवाला बाग में प्रदर्शनकारियों और जलसे में भाग लेने वालों की गोलियों से निर्मम हत्या कर दी थी।

4. खिलाफत आन्दोलन के साथ चलाया गया यह असहयोग आंदोलन देश के हिन्दू और मुसलमानों का अन्यायी ब्रिटिश सरकार को आगे ऐसे जघन्य कार्यों से रोकने का प्रतिरोध करने का था।

5. इंस प्रतिरोध को सरकारी अदालतों का बहिष्कार करके संपन्न किया गया था।

6. विदेशी शिक्षा संस्थाओं और सरकारी विद्यालयों और कॉलेजों के समान्तर राष्ट्रीय शिक्षा संस्थाएँ खोलना भी एक प्रतिरोध ही था।

7. उत्तरी आंध्र की पहाड़ी जनजातियों द्वारा वन्य कानूनों की अवहेलना किया जाना। अवध के किसानों द्वारा कर न चुकाया जाना और कुमाऊँ के किसानों द्वारा औपनिवेशिक अधिकारियों का सामान ढोने से इन्कार किया जाना भी एक प्रतिरोध ही था।

प्रश्न 7.
गोलमेज सम्मेलन से हुई वार्ता से कोई नतीजा क्यों नहीं निकल पाया?
उत्तर:
गोलमेज सम्मेलन में हुई वार्ता से नतीजा न निकलने के कारण:
दाण्डी यात्रा ने अंग्रेजों को यह अहसास करा दिया कि उनका शासन अधिक दिन नहीं चलने वाला है। अब भारतीयों को सत्ता में हिस्सा देकर ही शान्त किया जा सकता था। इसके लिए आयोजित तीन गोलमेज सम्मेलन निम्नलिखित कारणों से बिफल रहे –

  1. प्रथम गोलमेज सम्मेलन (नवम्बर 1930) में वायसराय इर्विन ने कैदियों की रिहाई और तटीय इलाकों में नमक उत्पादन की अनुमति देने का प्रस्ताव स्वीकार नहीं किया।
  2. 1931 के द्वितीय गोलमेज सम्मेलन में मुस्लिम लीग और डा. अम्बेडकर की पार्टी ने कांग्रेस को एकमत से समर्थन न दिया।
  3. तीसरे गोलमेज सम्मेलन में इंग्लैण्ड की लेबर पार्टी द्वारा भाग न लिए जाने के कारण कांग्रेस ने इसका बहिष्कार कर दिया था।

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प्रश्न 8.
महात्मा गांधी ने राष्ट्रीय आन्दोलन के स्वरूप को किस तरह बदल डाला?
उत्तर:
महात्मा गांधी द्वारा राष्ट्रीय आन्दोलन के स्वरूप में बदलाव:
1. 1915 में भारत आकर गाँधी जी ने आंदोलन के निम्नलिखित पहलू तय किए –

  • सत्याग्रह
  • अहिंसा
  • शांति
  • गरीबों के प्रति सच्ची सहानुभूति
  • महिलाओं का सशक्तिकरण
  • साम्प्रदायिक सद्भाव
  • अस्पृश्यता का विरोध
  • कल्याणकारी कार्यक्रम
  • कुटीर उद्योग धंधे
  • चरखा, खादी आदि के अपनाने पर बल
  • रंगभेद और जातीय भेद का विरोध

2. महात्मा गांधी ने अपने भाषणों को देकर और पत्र:
पत्रिकाओं में लेख छपवाकर एवं पुस्तकों के माध्यम से औपनिवेशिक शासन में भुखमरी, निम्न जीवन स्तर, अशिक्षा, अंधविश्वास और सामाजिक फूट के कारणों का खुला पर्दाफाश किया तथा इसके लिए ब्रिटिश सरकार को ही एकमात्र दोषी साबित कर दिया।

3. गांधी जी ने राष्ट्रीय आन्दोलन में ग्रामीण लोगों, श्रमिकों, सर्वसाधारण, महिलाओं और युवाओं आदि सभी को शामिल कर लिया था। वे मानते थे कि जब तक ये सभी लोग राष्ट्रीय संघर्ष से नहीं जुडेंगे तब तक ब्रिटिश सत्ता में शांतिपूर्ण, अहिंसात्मक आन्दोलनों और सत्याग्रहों आदि से नहीं हटाया जा सकता।

4. गांधी जी ने अहमदाबाद और खेड़ा में गरीब किसानों और श्रमिकों के लिए आंदोलन चलाकर यह सिद्ध कर दिया था कि वे आम जनता के साथ हैं।

5. गांधी जी ने हिन्दू-मुस्लिम एकता पर जोर दिया। असहयोग आंदोलन के साथ खिलाफत आंदोलन को जोड़ कर उन्होंने साबित कर दिया था कि एकता रहने पर ही स्वतंत्रता प्राप्त की जा सकती है।

6. वे अपने सभी अनुयायियों एवं राष्ट्रीय आन्दोलन से जुड़े कार्यकर्ताओं को बड़े सरल ढंग से समझाते थे कि अहिंसात्मक ढंग से शांतिपूर्ण सत्याग्रह ही प्रबुद्ध, न्यायप्रिय, उदार, मानवतावादी तथा लोकतंत्र समर्थक लोगों का विश्वास जीत सकता है।

7. उन्होंने स्त्री और पुरुष दोनों को आंदोलन में समान रूप से जोड़ा।

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प्रश्न 9.
निजी पत्रों और आत्मकथाओं से किसी व्यक्ति के बारे में क्या पता चलता है? ये स्त्रोत सरकारी ब्यौरों से किस तरह भिन्न होते हैं?
उत्तर:
निजी पत्रों और आत्मकथाओं से किसी व्यक्ति के बारे में मिलने वाली जानकारी और सरकारी ब्यौरों से इनकी भिन्नता –
1. निजी पत्रों और आत्मकथाओं से लेखक के भाव और उसके भाषा स्तर की जानकारी मिलती है।

2. निजी पत्र से विभिन्न घटनाओं और व्यक्तियों के बारे में जानकारी मिलती है। उदाहरण के लिए डॉ. राजेन्द्र प्रसाद द्वारा लिखे गए पत्र और पं. जवाहरलाल नेहरू द्वारा महात्मा गांधी को लिखे गए पत्र।

3. विभिन्न नेताओं, संगठनों द्वारा लिखे गये .पत्रों से सरकार के दृष्टिकोण, व्यवहार, प्रशासन की आंतरिक जानकारी पर बतायी विशेष के विचारों की झलक मिलती है।

4. आत्मकथाएँ व्यक्ति के सम्पूर्ण जीवन काल, जन्म स्थान उनकी पारिवारिक पृष्ठभूमि, शिक्षा, व्यवसाय, रुचियों, प्राथमिकताओं, कठिनाइयों, जीवन में आए उतार-चढ़ाव तथा जीवन से जुड़ी अन्य घटनाओं के बारे में भी बताती हैं।

5. निजी पत्र और आत्मकथायें सरकारी ब्यौरों से भिन्न होती हैं। सरकारी ब्यौरे प्रायः उलटबाँसी वाले या रहस्यपूर्ण होते हैं। ये सरकार और लिखने वाले लेखकों के पूर्वाग्रहों, नीतियों और दृष्टिकोण आदि से प्रभावित होते हैं। निजी पत्र व्यक्तियों के मध्य आपसी संबंध, विचारों के आदान-प्रदान और निजी स्तर से जुड़ी सूचनाएँ देने के लिए होते हैं। किसी व्यक्ति की आत्मकथा उसकी ईमानदारी, निष्पक्षता और सत्यपरक स्व-मूल्यांकन को दर्शाती है।

मानचित्र कार्य

प्रश्न 10.
दाण्डी मार्च के मार्ग का पता लगाइए। गुजरात के नक्शे पर इस यात्रा के मार्ग चिन्हित कीजिए और उस पर पड़ने वाले मुख्य शहरों व गाँवों को चिन्हित कीजिए।
उत्तर:
दाण्डी मार्च अहमदाबाद (गुजरात) के निकट स्थित साबरमती आश्रम से शुरू हुआ तथा दाण्डी समुद्र तट तक गया।
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परियोजना कार्य

प्रश्न 11.
दो राष्ट्रवादी नेताओं की आत्मकथाएँ पढ़िए। देखिए कि उन दोनों में लेखकों ने अपने जीवन और समय को किस तरह अलग-अलग प्रस्तुत किया है और राष्ट्रीय आन्दोलन की किस प्रकार व्याख्या की है। देखिए कि उनके विचारों में क्या भिन्नता है। अपने अध्ययन के आधार पर एक रिपोर्ट लिखिए।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

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प्रश्न 12.
राष्ट्रीय आन्दोलन के दौरान घटी कोई एक घटना चुनिए। उसके विषय में तत्कालीन नेताओं द्वारा लिखे गये पत्रों और भाषणों को खोज कर पढ़िए। उनमें से कुछ अब प्रकाशित हो चुके हैं। आप जिन नेताओं को चुनते हैं उनमें से कुछ आपके इलाके भी हो सकते हैं। उच्च स्तर पर राष्ट्रीय नेतृत्व की गतिविधियों को स्थानीय नेता किस तरह देखते थे इसके बारे में जानने की कोशिश कीजिए। अपने अध्ययन के आधार पर आन्दोलन के बारे में लिखिए।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

Bihar Board Class 12 History महात्मा गाँधी और राष्ट्रीय आन्दोलन : सविनय अवज्ञा और उससे आगे Additional Important Questions and Answers

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
रोलेट एक्ट के प्रावधान बताइए।
उत्तर:

  1. ब्रिटिश सरकार द्वारा रोलेट एक्ट 1919 में पारित किया गया। इस अधिनियम के अंतर्गत किसी भी व्यक्ति को बिना सुनवाई का अवसर दिए किसी भी समय गिरफ्तार किया जा सकता है।
  2. वस्तुतः यह अधिनियम भारतीयों द्वारा चलाए गए सभी तरह के आंदोलनों को रोकने के लिए पास किया गया। गाँधी जी सहित अन्य नेताओं ने इसका जमकर विरोध किया।

प्रश्न 2.
असहयोग आन्दोलन के शुरू होने के मुख्य कारण लिखें।
उत्तर:
गाँधी जी ने 1920 ई. में असहयोग आन्दोलन आरम्भ किया। इसके निम्नलिखित कारण थे –
1. रोलेट एक्ट:
प्रथम विश्व युद्ध के बाद 1919 ई. में रोलेट एक्ट पास किया गया। इसके द्वारा सरकार अकारण ही किसी व्यक्ति को बन्दी बना सकती थी। इससे असंतुष्ट होकर महात्मा गाँधी ने असहयोग आन्दोलन चलाया।

2. जलियाँवाला बाग की दुर्घटना:
रोलेट एक्ट का विरोध करने के लिए अमृतसर में जलियाँवाला बाग के स्थान पर एक जनसभा बुलायी गई। जनरल डायर ने इस सभा में एकत्रित सर्वप्रथम सत्याना वहाँ उन्होंने विा और घटना से दुःखी होकर असहयोग आन्दोलन आरंभ कर दिया।

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प्रश्न 3.
दक्षिण अफ्रीका में गाँधी जी की दो उपलब्धियाँ बताइए।
उत्तर:

  1. दक्षिण अफ्रीका में ही महात्मा गाँधी ने सर्वप्रथम सत्याग्रह के रूप में प्रचलित अहिंसात्मक विरोध की अपनी विशिष्ट तकनीक का इस्तेमाल किया।
  2. वहाँ उन्होंने विभिन्न धर्मों के बीच सौहार्द बढ़ाने का प्रयास किया तथा उच्च जातीय भारतीयों को निम्न जातियों और महिलाओं के प्रति भेदभाव वाले व्यवहार को चेताया।

प्रश्न 4.
1905-07 के स्वदेशी आन्दोलन के तीन प्रमुख नेताओं के नाम बताइए।
उत्तर:

  1. महाराष्ट्र के बाल गंगाधर तिलक।
  2. बंगाल के विपिन चन्द्र पाल।
  3. पंजाब के लाला लाजपत राय।

प्रश्न 5.
बारदोली आन्दोलन का क्या महत्त्व था?
उत्तर:
बारदोली में मजदूरों और किसानों के आन्दोलन को राष्ट्रीय आन्दोलन का अंग माना गया तथा उनके आर्थिक और सामाजिक उत्थान के उद्देश्य पर विचार किया गया।

प्रश्न 6.
26 जनवरी 1930 ई. को जनता द्वारा ली गई स्वतंत्रता की प्रतिज्ञा के दो मुख्य पहलू लिखिए।
उत्तर:

  1. प्रथम राजनीति पहलू था: “हम यह विश्वास करते हैं कि यदि कोई सरकार लोगों को उनके मूल अधिकारों से वंचित रखती है और माँग उठाने पर निर्दयता से दमनचक्र चलाती है तो लोगों को भी यह अधिकार है कि वे उसे बदल दें या समाप्त कर दें।”
  2. द्वितीय आर्थिक पहलू था-“भारत को आर्थिक दृष्टि से बर्बाद कर दिया गया है। हम लोगों से आय के अनुपात में बहुत अधिक धन वसूला जाता है ….. हम ऐसी सरकार के सामने कदापि नहीं झुकेंगे जिसने हमारे देश को पूरी तरह बर्बाद कर दिया है।”

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प्रश्न 7.
गांधी जी ने चम्पारन सत्याग्रह क्यों शुरू किया?
उत्तर:

  1. चम्पारन (बिहार) में यूरोप के व्यापारी किसानों से नील की खेती कराते थे और उनके ऊपर अनेक प्रकार के अत्याचार करते थे। उन्हें उत्पादन का उचित मूल्य नहीं दिया जाता था।
  2. महात्मा गांधी अफ्रीका के अपने आन्दोलन के अनुभव का प्रयोग चम्पारन में करना चाहते थे। राष्ट्रीय आंदोलन में किसानों का सहयोग पाने के लिए ऐसा करना आवश्यक था।

प्रश्न 8.
1919 ई. के भारत सरकार अधिनियम की दो प्रमुख धारायें क्या थी?
उत्तर:

  1. इसके अंतर्गत विधान परिषदों का आकार बढ़ाया गया और निर्वाचन की व्यवस्था की गई।
  2. प्रांतों में द्वैध शासन प्रणाली लागू की गई और प्रांतीय सरकारों को अधिक अधि कार दिये गये।

प्रश्न 9.
खिलाफत आन्दोलन की असहयोग आन्दोलन में क्या भूमिका थी?
उत्तर:

  1. खिलाफत आन्दोलन ने मुसलमानों को राष्ट्रीय आन्दोलन में भाग लेने के लिए प्रेरित किया।
  2. मुसलमानों ने 1920 ई. में खिलाफत आन्दोलन चलाकर अंग्रेजों को किसी भी तरह का सहयोग देना बंद कर दिया था।

प्रश्न 10.
अखिल भारतीय प्रजामंडल आन्दोलन क्यों आरंभ किया गया?
उत्तर:
देशी राज्यों में जनता की सामाजिक, आर्थिक तथा राजनैतिक दशा अत्यंत खराब थी। राजा जनता के स्वास्थ्य और शिक्षा की ओर बिल्कुल ध्यान नहीं देते थे। वे राज्य के स्रोत का उपयोग राजकुमारों के ऐश्वर्य के लिए करते थे। इस शोचनीय दशा में सुधार लाने के लिए अखिल भारतीय प्रजामंडल नामक आन्दोलन आरंभ किया गया।

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प्रश्न 11.
कांग्रेस के लाहौर अधिवेशन का महत्त्वपूर्ण पक्ष क्या था? अथवा, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के 1929 के लाहौर अधिवेशन में दो कौन-कौन से प्रस्ताव पास किये गये? अथवा, स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में कांग्रेस के 1929 ई. के लाहौर अधिवेशन का क्या महत्त्व है?
उत्तर:

  1. इस अधिवेशन में कांग्रेस ने पूर्ण स्वराज्य की मांग का प्रस्ताव पास किया और निर्णय लिया कि प्रत्येक वर्ष 26 जनवरी का दिन सम्पूर्ण भारत में स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाए। इस प्रकार 26 जनवरी 1930 का दिन स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया गया।
  2. इसी अधिवेशन में कांग्रेस ने पूर्ण स्वराज्य की मांग का प्रस्ताव किया।

प्रश्न 12.
1935 के भारत सरकार के अधिनियम की क्या मुख्य विशेषताएँ थीं?
उत्तर:
1935 के भारत सरकार अधिनियम की मुख्य विशेषताएँ निम्नलिखित थीं:

  1. केन्द्र में एक संघात्मक सरकार की स्थापना की गयी। इस संघ में प्रांतों का सम्मिलित होना आवश्यक था, जबकि रियासतों का सम्मिलित होना उनकी इच्छा पर निर्भर था।
  2. संघीय विधान मंडल के ‘राज्य परिषद्’ और ‘संघीय सभा’ दो सदन बनाये गये। राज्य परिषद् में प्रांतों के सदस्यों की संख्या 156 और रियासतों की संख्या 140 निश्चित की गई। संघीय सभा में प्रांतों के सदस्यों की संख्या 250 और रियासतों की संख्या 125 निश्चित की गई।
  3. यह भी निश्चित किया गया कि प्रांतों के प्रतिनिधि जनता के द्वारा चुने जाएँ और रियासतों के प्रतिनिधि राजाओं के द्वारा मनोनीत हों।
  4. केन्द्र के विषयों को रक्षित (Reserved) और प्रदत्त (Transferred) दो भागों में बाँटकर दोहरा शासन स्थापित किया गया। रक्षित विषय गर्वनर-जनरल के अधीन थे। जबकि प्रदत्त विषय मन्त्रियों को सौंपे गए। मंत्रियों को विधान मंडल के सामने उत्तरदायी ठहराया गया।

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प्रश्न 13.
महात्मा गांधी की तुलना अब्राहम लिंकन से क्यों की जाती है?
उत्तर:
एक धर्मांध अमेरिकी ने लिंकन को मार दिया था क्योंकि उन्होंने नस्ल या रंग भेद को दूर करने का संकल्प लिया था। दूसरी ओर एक धर्मांध हिंदू ने गांधी की जीवन लीला इसलिए समाप्त कर दी क्योंकि वे भाईचारे का प्रचार कर रहे थे।

प्रश्न 14.
केबिनेट मिशन से क्या आशय है? भारतीय नेताओं के साथ इसकी बातचीत के क्या नतीजे निकले?
उत्तर:
16 मई, 1946 के दिन इंग्लैण्ड के श्रमिक दल की सरकार ने भारत की स्वतंत्रता के बारे में यहाँ के नेताओं से अंतिम बातचीत करने जो तीन सदस्यीय दल भेजा उसे कैबिनेट मिशन कहा गया इसके संघीय व्यवस्था के लिए कांग्रेस और मुस्लिम लीग दोनों को मध्यस्त कर लिया था।

प्रश्न 15.
भारत को स्वतंत्रता किस प्रकार मिली?
उत्तर:
मुस्लिम लीग को पृथक राष्ट्र माँग को मानकर भारत और पाकिस्तान नामक दो राज्यों में विभाजन करने के बाद।

प्रश्न 16.
प्रजामंडल आंदोलन से क्या अभिप्राय है?
उत्तर:
भारतीय रियासतों (562) की जनता ने अपनी आजादी तथा अन्य सुविधाओं को माँगा। भूमिकर की कमी और बंधुआ मजदूरी की समाप्ति को लेकर आन्दोलन चलाया।

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प्रश्न 17.
भारत छोड़ो आन्दोलन कब और क्यों चलाया गया?
उत्तर:
ब्रिटिश सरकार ने द्वितीय विश्व युद्ध के पश्चात भारत को स्वतंत्रता देने से इंकार कर दिया जबकि युद्ध पूर्व इसका वचन दिया गया था। इसके विरोध में 8 अगस्त 1942 को भारत छोड़ो आंदोलन चलाया गया।

प्रश्न 18.
राष्ट्रीय आन्दोलन में राजघरानों के लोगों को क्यों शामिल किया गया?
उत्तर:

  1. लगभग 563 राज्यों की रियासतों के बिना भारत सम्पूर्ण नहीं था।
  2. कांग्रेस इन राजघरानों को देश का अभिन्न अंग मानती थी।

प्रश्न 19.
प्रांतों में कांग्रेसी मंत्रिमंडलों ने त्याग-पत्र क्यों दे दिए?
उत्तर:
1939 ई. के द्वितीय महायुद्ध में इंग्लैण्ड भी शामिल था। भारत के वायसराय लिनलिथगो ने कांग्रेस से उचित परामर्श लिए बिना ही भारत को इस युद्ध में शामिल कर दिया। इस बात से नाराज होकर कांग्रेसी मंत्रिमंडलों ने त्याग-पत्र दे दिए।

प्रश्न 20.
क्रिप्स मिशन भारत क्यों आया?
उत्तर:
द्वितीय विश्वयुद्ध में भारतीय सैनिकों को भेजने के लिए कांग्रेस को किसी तरह राजी करने के लिए।

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प्रश्न 21.
‘खुदाई खिदमतगार आन्दोलन’ कहाँ और क्यों चलाया जा रहा था? इसके प्रमुख नेता कौन थे?
उत्तर:

  1. ‘खुदाई खिदमतगार आन्दोलन’ पश्चिमोत्तर सीमा प्रांत में किसानों द्वारा सरकार की मालगुजारी नीति के खिलाफ चलाया जा रहा था।
  2. इस आन्दोलन के प्रमुख नेता खान अब्दुल गफ्फार खान थे।

प्रश्न 22.
“साम्प्रदायिक पंचाट” की घोषणा किसने की? इसके प्रावधान क्या थे?
उत्तर:

  1. ब्रिटेन के प्रधानमंत्री मेकडॉनल्ड ने 16 अगस्त 1932 में।
  2. दलितों को हिन्दुओं से अलग मानकर अलग प्रतिनिधित्व दिया जाय और दलित वर्गों के लिए एक अलग निर्वाचक मंडल दिया जाए।

प्रश्न 23.
शिमला कांफ्रेंस कब और क्यों हुई थी? इसके उद्देश्य क्या थे?
उत्तर:

  1. शिमला कांफ्रेंस 25 जून 1945 को शिमला में हुई।
  2. इसका उद्देश्य स्वच्छ राजनीतिक वातावरण बनाने के लिए सभी दलों के नेताओं को एकमत करना था।

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प्रश्न 24.
वेवल योजना कब और क्यों बनाई गई।
उत्तर:

  1. वेवल योजना 14 जून, 1945 को लार्ड वेवल द्वारा बनाई गई।
  2. इसका उद्देश्य भारत में व्याप्त जनाक्रोश को कम करने का था।

प्रश्न 25.
गांधी जी ने साबरमती आश्रम की स्थापना क्यों की?
उत्तर:

  1. इसे राष्ट्रीय आन्दोलन के एक मुख्य केन्द्र के रूप में उपयोग में लाया जाना था।
  2. इसे चरखा चलाने, सूत कातने, खादी बनाने, शिक्षा का प्रचार करने, हिंदू-मुस्लिम एकता स्थापित करने तथा हरिजनों का कल्याण करने जैसे रचनात्मक कार्यों का केन्द्र बनाया जाना था।

प्रश्न 26.
चम्पारण सत्याग्रह शुरू करने के दो कारण बताइए।
उत्तर:

  1. चम्पारण में नील की खेती करने वाले किसानों पर यूरोपियन निलहें बहुत अत्याचार करते थे।
  2. भारतीय किसानों ने यूरोप के इन व्यापारियों से अपने शोषण के विरुद्ध गाँधी जी से सहयोग की अपील की थी।

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प्रश्न 27.
बारदौली आन्दोलन क्यों किया गया?
उत्तर:

  1. यहाँ किसानों और बटाईदारों की दशा बहुत खराब थी वे लगान में कमी, बेदखली से सुरक्षा और कर्ज से राहत चाहते थे। परंतु अंग्रेजी सरकार इस ओर ध्यान नहीं दे रही थी।
  2. 1928 में सरदार वल्लभ भाई पटेल ने किसानों के साथ टैक्स न देने का आन्दोलन चलाया।

लघु उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
स्वतंत्रता आन्दोलन में बाल गंगाधर तिलक का क्या योगदान था? उनके कोई दो महत्त्वपूर्ण कार्य बताइए।
उत्तर:
राष्ट्रीय आन्दोलन में लाल, बाल और पाल तीन महान् विभूतियाँ थीं जो गरम दल के सिरमौर नेताओं के रूप में जानी जाती हैं। बाल अर्थात् बाल गंगाधर तिलक ने अनेक ऐसे कार्य किये जिनके लिये भारत उनका सदैव ऋणी रहेगा। यहाँ उनके दो प्रमुख योगदानों का वर्णन किया जा रहा है –
1. राष्ट्रवादी विचारों का प्रचार:
बाल गंगाधर तिलक ने राष्ट्रवादी विचारों का प्रचार करने के लिए गीतों, लेखों और भाषणों की सहायता ली। उन्होंने ‘मराठा’ और ‘केसरी’ समाचारपत्र निकाले जिनमें राष्ट्रवाद के विचार छपते थे। इन समाचारों में भारतीयों को स्वतंत्रता के लिए दिलेर, आत्मनिर्भर और निःस्वार्थी बनने की प्रेरणा दी।

2. होमरूल लीग की स्थापना:
जेल से छूटते ही एनी बेसेन्ट की सहायता से होमरूल की स्थापना की। तिलक जी ने होमरूल के लिए देश में जोरदार प्रचार किया और-“स्वराज्य मेरा जन्म सिद्ध अधिकार है और मैं इसे लेकर रहूँगा”-नारा दिया।

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प्रश्न 2.
स्वदेशी आन्दोलन से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
स्वदेशी आन्दोलन:
स्वदेशी का अर्थ है – “अपने देश का” स्वतंत्रता संद्यर्ष में इसका अर्थ था – विदेशी वस्तुओं का परित्याग। देश के उद्योगों को बढ़ावा मिलेगा, दस्तकारों को काम मिलेगा, बेरोजगारी व गरीबी कम होगी तथा सारे देश की आर्थिक स्थिति में सुधार आयेगा। इस आन्दोलन से देशवासियों में राष्ट्रप्रेम की भावना जागृत हुई। इससे भारत में अंग्रेजी माल की माँग प्रायः समाप्त हो गई। इसका प्रभाव इंग्लैण्ड के उद्योगों पर बहुत बुरा पड़ा। कांग्रेस पार्टी ने 1905 अधिवेशन में स्वेदशी आन्दोलन को पक्का समर्थन दे दिया। इससे कांग्रेस के कार्यक्रमों और नीतियों में परिवर्तन दिखाई देने लगा।

इस आन्दोलन को सफल बनाने में विद्यार्थियों का बहुत योगदान रहा। उन्होंने स्वयं विदेशी वस्तुओं का बहिष्कार करके स्वदेशी वस्तुओं का प्रयोग शुरू कर दिया था। समाज के सभी वर्गों से अपील की गई कि वे विदेशी वस्तुओं का प्रयोग बंद करें और अपने देश में बनी वस्तुओं को इस्तेमाल में लाएँ। इस बात का लोगों पर इतना गहरा प्रभाव पड़ा कि जो लोग विदेशी वस्तुएँ खरीदते थे या बेचते थे, नाइयों ने उन लोगों के बाल काटने बंद कर दिये और धोबियों ने उनके कपड़े धोने छोड़ दिये। इस सामाजिक बहिष्कार के भय से लोगों ने विदेशी माल खरीदना छोड़ दिया। अन्त में यही आन्दोलन विदेशी शासन से छुटकारा दिलाने की एक महत्त्वपूर्ण कड़ी बना।

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प्रश्न 3.
खिलाफत आंदोलन क्या है? इसका महत्त्व बताइए।
उत्तर:
प्रथम महायुद्ध में अंग्रेज तुर्की के सुल्तान के विरुद्ध लड़े थे। इस युद्ध में उन्होंने भारतीय मुसलमानों का सहयोग भी प्राप्त किया था मुसलमानों ने अंग्रेजों का साथ इस शर्त पर दिया था कि युद्ध के बाद तुर्की के सुल्तान के साथ अच्छा व्यवहार किया जाएगा। परन्तु युद्ध की समाप्ति पर अंग्रेजों ने वहाँ के सुल्तान के साथ बहुत बुरा व्यवहार किया। मुसलमान तुर्की के सुल्तान को अपना खलीफा (धार्मिक नेता) मानते थे इसलिए वे अंग्रेजों से नाराज हो गये और अंग्रेजों के विरुद्ध एक आन्दोलन आरंभ कर दिया। इसी आन्दोलन को खिलाफत आंदोलन कहा जाता है। यह आन्दोलन अली बन्धुओं ने गांधी जी के साथ मिलकर चलाया।

महत्त्व:
भारतीय स्वतंत्रता के इतिहास में खिलाफत आन्दोलन का बड़ा महत्त्व है। इसी के कारण हिन्दू और मुसलमान एकता को बल मिला। स्वतंत्रता आन्दोलन सबल बना। अंग्रेजी सरकार जनता के सहयोग से वंचित हो गयी।

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प्रश्न 4.
1919 ई. के अधिनियम के अंतर्गत लागू की गई द्वैध शासन प्रणाली के क्या दोष थे?
उत्तर:
1919 ई. के अधिनियम ने प्रांतीय विषयों को दो भागों में विभाजित, (आरक्षित तथा हस्तांतरित) कर दिया। आरक्षित विषयों में वित्त, कानून तथा व्यवस्था को रखा गया। इन सभी विषयों को गवर्नर के अधीन कर दिया गया। हस्तान्तरित विषयों में स्थानीय स्वशासन, शिक्षा एवं सार्वजनिक स्वास्थ्य जैसे विषय थे जिनके ऊपर मंत्रियों का अधिकार था। ये मंत्री विधान मंडल के प्रति उत्तरदायी होते थे। गवर्नर मंत्रियों व काउन्सिल के सदस्यों को नामजद कर सकता था और उनको हटा भी सकता था। वह विधान सभा द्वारा बनाये किसी कानून को रद्द भी कर सकता था। वह मंत्रियों या विधान सभा की सलाह को मानने के लिए बाध्य नहीं था। इसे भारतीयों ने अस्वीकार कर दिया, क्योंकि निम्नलिखित कमियाँ थी –

  • इन सुधारों के उपरांत भी प्रमुख विभाग गवर्नर के अधीन रहे।
  • परिषदों के चुनावों में कुछ ही प्रभावशाली लोग मतदान कर सकते थे।
  • इस अधिनियम ने कोई उत्तरदायी सरकार नहीं दी।
  • प्रांतों के अंदर शुरू की गई इस द्वैध शासन प्रणाली में अनेक दोष थे।

प्रश्न 5.
असहयोग आन्दोलन क्यों चलाया गया और क्यों असफल हो गया?
उत्तर:
असहयोग आन्दोलन चलाये जाने के कारण:
यह आन्दोलन महात्मा गांधी ने सन् 1921 में चलाया। इस आन्दोलन का उद्देश्य अंग्रेज सरकार के साथ असहयोग करने का था। इसको चलाने के चार कारण इस प्रकार थे –

  1. जलियाँवाला बाग में निर्दोष लोगों की हत्या करना और पंजाब में लोगों पर अत्याचार करना।
  2. सन् 1919 में ब्रिटिश सरकार द्वारा मान्टेग्यू चैम्सफोर्ड सुधार अधिनियम पारित करके प्रांतों में द्वैध शासन लागू किया जाना तथा भारतीय लोगों के विचारों को महत्त्व न दिया जाना। (iii) स्वराज्य देने के वचन का पालन न करना।
  3. टर्की साम्राज्य के खलीफा को अपदस्थ करना।

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प्रश्न 6.
नेहरू रिपोर्ट की प्रमुख सिफारिशें क्या हैं? इस रिपोर्ट को किन लोगों ने तैयार किया?
उत्तर:
नेहरू रिपोर्ट की प्रमुख सिफारिशें:
नेहरू जी ने अपनी रिपोर्ट सन् 1928 ई. में ब्रिटिश सरकार के सम्मुख रखी। इसमें निम्नलिखित सिफारिशें की गई थीं:

  1. भारत को डोमिनियम स्टेटस (अधिराज्य का दर्जा) दिया जाए।
  2. प्रांतों में स्वायत्त शासन स्थापित हो।
  3. सभी रियासतें संघ में शामिल हों।
  4. भारत एक धर्मनिरपेक्ष देश बने।
  5. देश में नवीन चुनाव प्रणाली शुरू की जाए।
  6. केन्द्र में जनता के प्रति उत्तरदायी सरकार बने।
  7. जनता को मौलिक अधिकार दिये जाएँ।

नेहरू रिपोर्ट का महत्त्व:
ब्रिटिश सरकार ने 1935 के भारत सरकार अधिनियम में नेहरू रिपोर्ट के आधार पर कई धाराएँ अधिनियमित की। इस प्रकार नेहरू रिपोर्ट का भारतीय संविधान के संदर्भ में बहुत महत्त्व है।

इस रिपोर्ट की तैयारी में जुड़े चार नाम:
इस रिपोर्ट पंडित जवाहर लाल नेहरू, मोतीलाल. नेहरू, कृष्णामेनन और मदनमोहन मालवीय ने तैयार किया। इन चारों के अतिरिक्त एक पांचवाँ नाम चितरंजन दास का है जिन्होंने इस रिपोर्ट को तैयार कराने में अपना बहुमूल्य योगदान दिया।

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प्रश्न 7.
असहयोग आन्दोलन की वापसी के तुरंत बाद कांग्रेस में क्या मतभेद उत्पन्न हुए? इन मतभेदों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
प्रथम असहयोग आन्दोलन को वापस लेने के बाद कांग्रेस:
1922-28 के दौरान भारतीय राजनीति में बड़ी-बड़ी घटनाएँ घटी। कांग्रेस में भारी मतभेद उभर गए। एक गुट (परिवर्तनवादी) के प्रतिनिधि चितरंजन दास और मोतीलाल नेहरू थे जिन्होंने बदली हुई परिस्थितियों में एक नए प्रकार की राजनीतिक गतिविधि का सुझाव दिया। उनका कहना था कि राष्ट्रवादियों ने विधानसभाओं में प्रवेश करके सरकारी योजनाओं के कार्यान्वयन में बाधा डालनी चाहिए। सरकार की कमजोरियों को सामने लाना चाहिए तथा जन-उत्साह जगाकर राजनीतिक विरोध को और अधिक प्रखर बनाना चाहिए।

“अपरिवर्तनवादी” कहे जाने वाले दूसरे गुट के नेता सरदार वल्लभ भाई पटेल, डॉ. अंसारी, बाबू राजेन्द्र प्रसाद तथा दूसरे लोगों ने विधानमंडलों में जाने का विरोध किया। उन्होंने चेतावनी दी कि संसदीय राजनीति में भाग लेने से राष्ट्रवादी उत्साह कमजोर पड़ेगा और नेताओं के बीच प्रतिद्वंद्विता पैदा होगी। इसके विपरीत लोग चरखा चलाने, चरित्र-निर्माण, हिन्दू-मुस्लिम एकता, छूआछूत उन्मूलन तथा गाँवों में और गरीबों के बीच रचनात्मक कार्य किए जाएं उनका कहना था कि इससे देश धीरे-धीरे जन-संघर्ष के एक नए दौर के लिए तैयार होगा।

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प्रश्न 8.
निम्नलिखित उद्धरण को पढ़िए और प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
उत्तर:
“आधुनिक युग में संसार ने एक नया चमत्कार देखा कि एक छोटा – सा मानव जिसको आप में से कोई भी नहीं देख सकता है, एक मानव इतना छोटा और नाजुक निकला और यह कहकर” मैं तीन दिन में समुद्र पर जाऊँगा और कुछ कानून प्रतीक रूप में तोगा।” उसके हाथ में केवल एक लाठी थी। प्रत्येक उस पर हँसा और मैं भी हँसी। “कैसे वह छोटा व्यक्ति संसार के सबसे बड़े शक्तिशाली साम्राज्य से लड़ेगा? “और जैसे यात्रा चली, दिन शाम में परिवर्तित हुआ। हमने अपनी आँखों से देखा कि संसार का इतिहास बदल रहा है। हमने देखा कि सम्पूर्ण भारत जोश में उठ रहा है।” (सरोजनी नायडु का एक भाषण, मद्रास में अगस्त 1934)
1. इसमें किस व्यक्ति का उल्लेख किया गया है?
उत्तर:
इसमें भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का उल्लेख है।

2. कौन-सा चमत्कार इस व्यक्ति ने किया था?
उत्तर:
गांधी जी ने सविनय अवज्ञा आन्दोलन आरंभ किया। इस आंदोलन में गांधी जी ने ब्रिटिश साम्राज्य के विरुद्ध अहिंसक रहने का निश्चय किया। इसमें पूर्ण स्वराज्य को अपना लक्ष्य बनाया गया था। उन्होंने समर्थकों के साथ डांडी की यात्रा की।

3. उन्होंने कौन-सा कानून तोड़ा?
उत्तर:
गांधी जी अपने कुछ अनुयायियों के साथ 200 मील की कठिन यात्रा करके भारत के पश्चिमी समुद्री तट डांडी पहुँचे और वहाँ के जल से नमक बनाकर नमक कानून तोड़ा। नमक बनाने पर सरकार का एकाधिकार था। ऐसा इसलिए किया गया ताकि अंग्रेजों को पता लग जाये कि भारतीयों को उनके कानूनों की जरा भी परवाह नहीं है।

4. किस प्रकार सारा भारत जोश में उमड़ पड़ा?
उत्तर:
सविनय अवज्ञा आन्दोलन सारे भारत में शीघ्र फैल गया। समस्त भारत में ब्रिटिश शासन के विरोध में प्रदर्शन हुए। विदेशी वस्त्रों का बहिष्कार किया गया। किसानों ने भू-राजस्व नहीं दिया। इस आन्दोलन में भारतीय महिलाओं ने भी भाग लिया। यह आन्दोलन उत्तर-पश्चिमी सीमा तक पहुँच गया तथा खान अब्दुल गफ्फार खाँ, जो सीमान्त गांधी के नाम से प्रसिद्ध थे, ने लालकुर्ती नामक खुदाई खिदमतगारों का संगठन बनाया। इसी समय पेशावर में प्रदर्शनकारियों पर गढ़वाली सैनिकों ने गोली चलाने से इंकार कर दिया। इस प्रकार भारतीय फौज में राष्ट्रवाद का आरंभ हुआ।.

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प्रश्न 9.
भारत के स्वतंत्रता संघर्ष में सांप्रदायिकता की राजनीति की क्या भूमिका थी?
उत्तर:
स्वराज्य के संघर्ष के दिनों में देश में प्रमुख रूप से दो ही पार्टी ऐसी थी जिनको साम्प्रदायिक कहा जाता था –

  1. मुस्लिम लीग,
  2. हिन्दू महासभा।

इन दोनों ही पार्टियों ने संकीर्णता से काम किया। मुस्लिम लीग की करारी हार हुई। हिन्दू महासभा के नुमाइन्दे भी हार गये। मुस्लिम लीग ने मुसलमानों के अन्दर धार्मिक भावनाओं को भड़काना शुरू कर दिया। उनके नेताओं ने कहा कि हिन्दुस्तान दो भागों में बँटा हुआ है –

  1. हिन्दू और
  2. मुसलमान।

इस जहर का असर दोनों संप्रदायों में हुआ। मुस्लिम लीग ने 1940 ई. में लाहौर अधिवेशन में अलग राज्य पाकिस्तान की माँग पूरी ताकत के साथ की। इसकी प्रतिक्रिया स्वरूप हिन्दू महासभा ने हिन्दुस्तान को हिन्दुओं की भूमि कहा जिससे मुसलमानों को आत्मग्लानि हुई और उन्होंने भी द्विराष्ट्र सिद्धान्त प्रतिपादित करके सीधी कार्यवाही को अंजाम दे दिया। दूसरे शब्दों में, ऐसी राजनीति ने हिन्दुस्तान का विभाजन करवा दिया।

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प्रश्न 10.
सविनय अवज्ञा आन्दोलन क्यों शुरू किया गया? इसका क्या महत्त्व है?
उत्तर:
सिविल नाफरमानी अथवा सविनय अवज्ञा आन्दोलन का आरंभ 1930 में गांधी जी के नेतृत्व में हुआ। यह आंदोलन दो चरणों में चला और 1933 ई. के अंत तक चलता रहा। इसके कारणों और इसकी प्रगति के महत्त्व का वर्णन इस प्रकार है:

कारण:

  1. 1928 ई. में ‘साइमन कमीशन’ भारत आया। इस कमीशन ने भारतीयों के विरोध के बावजूद भी अपनी रिपोर्ट प्रकाशित कर दी। इससे भारतीयों में असंतोष फैल गया।
  2. सरकार ने नेहरू रिपोर्ट की शर्तों को स्वीकार न किया।
  3. बारदौली के किसान आन्दोलन की सफलता ने गांधी जी को सरकार के विरुद्ध आंदोलन चलाने के लिए प्रेरित किया।
  4. गांधी जी ने सरकार के सामने कुछ शर्ते रखी, परन्तु वायसराय ने इन शर्तों को स्वीकार न किया। इन परिस्थितियों में गांधी जी ने सरकार के विरुद्ध सविनय अवज्ञा आन्दोलन आरंभ कर दिया।

महत्त्व:
सिविल नाफरमानी आन्दोलन वास्तव में उस समय तक का सबसे बड़ा जन-संघर्ष था। इस आंदोलन में देश के सभी भागों तथा सभी वर्गों ने बढ़-चढ़ कर भाग लिया। लोगों ने बड़ी संख्या में जेल-यात्रा की परन्तु सरकार के आगे घुटने टेकने से इंकार कर दिया। यद्यपि 1934 में यह आंदोलन समाप्त हो गया लेकिन यह स्वतंत्रता सेनानियों का तब तक मार्ग-दर्शन करता रहा जब तक कि देशं स्वतंत्र नहीं हो गया।

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प्रश्न 11.
सविनय अवज्ञा आंदोलन क्यों आरंभ किया गया?
उत्तर:
12 मार्च 1930 ई. को गांधी जी के दाण्डी मार्च से आरंभ किया गया यह आन्दोलन निम्नलिखित कारणों से चलाया गया –
1. अंग्रेजी सरकार की दमनकारी नीतियों का विरोध करना –

  • 1928 ई. में ‘साइमन कमीशन’ भारत आया। इस कमीशन ने भारतीयों के विरोध के बावजूद अपनी रिपोर्ट प्रकाशित कर दी। इससे भारतीयों में असंतोष फैल गया।
  • सरकार ने नेहरू रिपोर्ट की शर्तों को अस्वीकार कर दिया।
  • गांधी जी ने सरकार के सामने कुछ शर्ते रखी, परन्तु वायसराय ने इन शर्तों को स्वीकार न किया। इसके विपरीत सरकार ने अपनी दमनकारी नीति जारी रखी। उदाहरण के लिए साइमन कमीशन का विरोध करने वाले भारतीयों पर भीषण अत्याचार किए गए।

2. सरकार के अन्यायपूर्ण कानूनों का विरोध करना:
अंग्रेजी सरकार ने नमक बनाने पर रोक लगा दी और नमक पर कर लगा दिया। इसका साधारण जनता पर बुरा प्रभाव पड़ा। गांधी जी सरकार के इस कानून तथा ऐसे कई अन्य अन्यायपूर्ण कानूनों का विरोध करना चाहते थे। वह सरकार को दिखाना चाहते थे कि जनता उसके किसी भी गलत कानून का पालन नहीं करेगी।

3. राष्ट्रीय आंदोलन में जनसाधारण का अधिक से अधिक सहयोग प्राप्त करना:
गांधी जी जनसाधारण की शक्ति को समझते थे। वह जानते थे कि आम जनता के सहयोग के बिना कोई भी आन्दोलन सफल नहीं हो सकता। फिर, राष्ट्रीय आंदोलन को सशक्त बनाने तथा अंग्रेजी सरकार को झुकाने के लिए समस्त भारतीय जनता का सहयोग आवश्यक था। सविनय अवज्ञा आंदोलन द्वारा गांधी देश की समस्त जनता को राष्ट्रीय आंदोलन में शामिल करना चाहते थे।

4. सविनय अवज्ञा आन्दोलन का राष्ट्रीय आंदोलन के विकास पर प्रभाव:
सविनय अवज्ञा आंदोलन वास्तव में उस समय तक का सबसे बड़ा जन-संघर्ष था। इस आंदोलन में देश के सभी भागों तथा सभी वर्गों ने बढ़-चढ़ कर भाग लिया। लोगों ने बड़ी संख्या में जेल-यात्रा की परन्तु सरकार के आगे घुटने टेकने से इंकार कर दिया। यद्यपि 1934 में यह आंदोलन समाप्त हो गया फिर भी यह स्वतंत्रता सेनानियों का तब तक मार्ग-दर्शन करता रहा जब तक कि देश स्वतंत्र नहीं हो गया।

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प्रश्न 12.
निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और अंत में पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए: “मैं आपको एक छोटा-सा मंत्र देता हूँ। आप इस मंत्र को अपने हृदय में अंकित कर लीजिए और आपकी हर साँस के साथ इस मंत्र की ध्वनि गूंजनी चाहिए। मंत्र है – “करो या मरो”। अर्थात् या तो भारत को हम स्वतंत्र कराएँगे या स्वतंत्रता के प्रयास में हम अपने प्राणों की आहूति दे देंगे। दासता की शाश्वतता देखने के लिए हम जीवित नहीं रहेंगे।”
(क) इस गद्यांश में वर्णित “छोटा मंत्र’ कौन-सा है?
(ख) यह मंत्र किसने दिया और किस आंदोलन के सम्बन्ध में दिया गया?
(ग) भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में इस आंदोलन की भूमिका का मूल्यांकन कीजिए।
उत्तर:
(क) ‘छोटा मंत्र’ है “करो या मरो”।
(ख) यह मंत्र महात्मा गांधी ने दिया था। उन्होंने यह मंत्र ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ के संबंध में दिया था।
(ग) भारत छोड़ो आंदोलन की भूमिका –

  1. भारत छोड़ो आन्दोलन एक महान् जन आन्दोलन था जिसका मुख्य उद्देश्य भारत से ब्रिटिश साम्राज्य को समाप्त करने का था। इस आन्दोलन में सभी वर्गों के नर-नारियों ने भाग लिया।
  2. इस आन्दोलन ने लोगों में स्वतंत्रता के प्रति अद्वितीय उत्साह एवं देश भक्ति की भावना का सृजन किया।
  3. सरकार ने लगभग सभी नेताओं को जेल में डाल दिया और यह आन्दोलन नेतृत्वहीनता के बावजूद दो साल तक चलता रहा। अंग्रेजी सरकार को यह आभास हो गया कि भारत के लोग तब तक चैन से नहीं बैठेंगे जब तक कि उन्हें स्वतंत्रता प्राप्त नहीं हो जाती।
  4. इस आन्दोलन ने भारत के लोगों के सामने एकमात्र लक्ष्य प्रस्तुत किया-यह लक्ष्य था अंग्रेजों को भारत से बाहर निकालना। इस लक्ष्य की पूर्ति के लिए इस देश के लोगों ने अभूतपूर्व एकता का प्रदर्शन किया।
  5. भारत छोड़ो आंदोलन – के कारण यू. पी. में बलिया तथा मिदनापुर में लोगों का उत्साह विद्रोह की सीमाओं को छूने लगा। इन इलाकों से ब्रिटिश सत्ता लगभग समाप्त हो गई थी।

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प्रश्न 13.
कैबिनेट मिशन से क्या आशय है?
उत्तर:
फरवरी, 1946 ई. में ब्रिटिश सरकार ने भारतीय नेताओं से विचार-विमर्श के लिए मंत्रियों का एक शिष्टमंडल (Cabinet Mission) भेजा। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री श्री एटली ने घोषणा की कि हमारा विचार शीघ्र ही भारत को आजाद कर देने का है और अल्पसंख्यक दल को बहुसंख्यक दल की प्रगति के मार्ग में बाधा नहीं बनने दिया जाएगा। इसमें पाकिस्तान की माँग को ठुकरा दिया गया था, तथापि भारत में एक संघ शासन की स्थापना करने और जिसमें भारतीय प्रांतों के चार क्षेत्र बनाए जाने की संस्तुति दी गई थी।

विदेश नीति, सुरक्षा एवं संचार को छोड़कर बाकी सभी विषयों में प्रत्येक क्षेत्र को पूर्ण स्वतंत्रता दी जाए और हर क्षेत्र का अपना पृथक् संविधान हो। शिष्ट मंडल ने संविधान सभा के गठन का सुझाव दिया। इसके सदस्यों का चुनाव प्रत्यक्ष रूप से जनता द्वारा न होकर साम्प्रदायिक निर्वाचन क्षेत्रों के आधार पर प्रांतीय सभाओं में करना था। राज्यों के प्रतिनिधियों को मनोनीत करने का अधिकार उनके राजाओं को दिया गया। कांग्रेस को हिन्दुओं के प्रतिनिधि मनोनीत करने का अधिकार दिया गया तथा मुस्लिम लीग को मुस्लिम प्रतिनिधियों को मनोनीत करने का अधिकार मिला।

प्रश्न 14.
साइमन कमीशन भारत में क्यों आया? भारत में इसका विरोध क्यों हुआ?
उत्तर:
1927 ई. में इंग्लैण्ड की सरकार द्वारा नियुक्त कमीशन के अध्यक्ष सर जॉन साइमन कमीशन कहा गया है। यह कमीशन 1928 ई. में भारत पहुँचा। इसका उद्देश्य 1919 ई. के कानूनी सुधारों के परिणामों की जाँच करना था। इस कमीशन में भारतीय सदस्य न होने के कारण इसका स्थान-स्थान पर विरोध किया गया। यह कमीशन जहाँ भी गया, वहीं इसका स्वागत किया गया। स्थान-स्थान पर ‘साइमन कमीशन वापस जाओ’ के नारे लगाये गये। जनता के इस शांत प्रदर्शन को सरकार ने बड़ी कठोरता से दबाया। लाहौर में इस कमीशन का विरोध करने के कारण लाला लाजपत राय पर लाठियाँ बरसाई गईं। कुछ दिनों में उनकी मृत्यु हो गई थी। देश के सभी राजनीतिक दलों ने सरकार की इस नीति की कड़ी आलोचना की।

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प्रश्न 15.
गोलमेज काँफ्रेंस तथा गांधी-इरविन समझौता के विषय में क्या जानते हैं?
उत्तर:
गोलमेज काँफ्रेंस 1930 ई. तथा गाँधी-इरविन समझौता:
तत्कालीन वायसराय श्री इरविन ने घोषणा की कि ब्रिटिश सरकार का अन्तिम उद्देश्य भारत में डोमीनियन सरकार की स्थापना करने का है और इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए वह सर्वसम्मत हल ढूँढना चाहती है। इस सम्बन्ध में उन्होंने इंग्लैण्ड में गोलमेज काँफ्रेंस किए जाने की योजना पर प्रकाश डाला। 12 नवम्बर, 1930 ई. को लन्दन में गोलमेज काँफ्रेंस का प्रथम अधिवेशन प्रारम्भ हुआ। काँग्रेस अपने आन्दोलन में व्यस्त थी। इस कारण इस सम्मेलन में उसका कोई भी प्रतिनिधि उपस्थित न हो सका।

ब्रिटिश सरकार की घोषणाओं से वातावरण में सुधार हुआ और सरकार ने महात्मा गांधी आदि नेताओं को जेल से रिहा कर दिया। इस अनुकूल वातावरण में गाँधी-इरविन समझौता हुआ और गाँधी जी गोलमेज कॉंफ्रेंस के द्वितीय अधिवेशन में भाग लेने लन्दन गए। वहाँ उन्हें अपने उद्देश्य में सफलता नहीं मिली और वे निराश होकर भारत आए। यहाँ उन्हें बन्दी बना लिया गया और इस प्रकार पुनः संघर्ष आरम्भ हो गया। गोलमेज काँफ्रेंस का तीसरा अधिवेशन भी हुआ किन्तु काँग्रेस का उससे कोई सम्बन्ध नहीं था।

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प्रश्न 16.
राष्ट्रीय आन्दोलन में स्वराज्य दल की क्या भूमिका रही?
उत्तर:
राष्ट्रीय आन्दोलन में स्वराज्य दल की भूमिका:
स्वराज्यवादियों ने 1923 ई. में अपने स्वराज दल की स्थापना की। इन स्वराज्यवादियों ने केन्द्रीय व्यवस्थापिका में रहकर अंग्रेजों से भारत में पूर्ण उत्तरदायी शासन की माँग की और बंगाल के दमनकारी आदेशों को समाप्त करके गोलमेज अधिवेशन की माँग की। उस गोलमेज अधिवेशन में भारत के अल्पसंख्यकों के हितों की रक्षा करने के लिए नया संविधान बनाया जाये। स्वराज्यवादियों का प्रभाव बंगाल और मध्य प्रान्त में था जहाँ पर इन्होंने अंग्रेजों द्वारा लागू द्वैध शासन को ठप्प कर दिया।

इन लोगों ने न मन्त्रिमण्डल बनाया न दूसरे मन्त्रिमण्डल को काम करने दिया। इन स्वराज्यवादियों की माँग को पूरा करने के लिए गोलमेज अधिवेशन बुलाया गया था। साईमन कमीशन भी इन्हीं लोगों के कारण भारत आया था परन्तु इन्हें संतुष्ट करने में सफल नहीं हो सका। अंत में ये स्वराज्यवादी कांग्रेस में शामिल हो गये।

प्रश्न 17.
जलियाँवाला बाग हत्याकाण्ड का संक्षिप्त विवरण दीजिए।
उत्तर:
जलियाँवाला बाग हत्याकाण्ड:
कुछ नेताओं के गिरफ्तार करने से जनता क्रुद्ध हो गई और उसने एक मुठभेड़ में कुछ अंग्रेज अधिकारियों को मार डाला। अंग्रेज इस काण्ड से बौखला उठे। जब अपने नेताओं की गिरफ्तारी के विरुद्ध लगभग बीस हजार जनता 13 अप्रैल, 1919 को (बैसाखी के दिन) अमृतसर के जलियाँवाला बाग में शान्तिपूर्ण वातावरण में एक सार्वजनिक सभा में भाग ले रही थी उसी समय जनरल डायर ने सभा को गैर-कानूनी घोषित करके अंग्रेज सैनिकों को मशीनगन से गोलियाँ चलाने की आज्ञा दी।

इस स्थान से निकलने का एक ही संकरा रास्ता था। और इसी पर सैनिक खड़े होकर मशीनगनों से जनता को भून रहे थे। इस हत्याकाण्ड में हजारों व्यक्ति मारे गए। अब पंजाब में कई स्थानों पर मार्शल लॉ लागू किया गया। इस हत्याकांड की तीव्र प्रतिक्रिया हुई और जांच करने की मांग उठाई गई किन्तु सरकार ने श्री हण्टर समिति को जांच करने का आदेश दिया। उसने डायर के कार्य पर पर्दा डालने का प्रयास किया और इंग्लैण्ड में हण्टर समिति की अत्यधिक प्रशंसा की गई। इससे भारतीयों को अंग्रेजों की न्यायप्रियता पर विश्वास न रहा, कुपित भारतीयों ने स्वतंत्रता संग्राम को एक नई दिशा दी।

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प्रश्न 18.
अगस्त प्रस्ताव 1940 की प्रमुख विशेषतायें क्या थीं?
उत्तर:
अगस्त 1940 का प्रस्ताव:
सांविधिक गतिरोध को दूर करने के लिए वायसराय द्वारा 8 अगस्त, 1940 को एक घोषणा की गई जिसमें “भारतीय का लक्ष्य औपनिवेशिक स्वराज्य घोषित किया गया”। इस घोषणा को ही अगस्त-प्रस्ताव (August-offer) कहा जाता है। इसकी मुख्य विशेषताएँ निम्नलिखित थीं –

  1. वायसराय को अपनी कार्यकारिणी समिति का विस्तार करने का अधिकार मिला। वह भारतीय प्रतिनिधियों को उसमें नियुक्त कर सकता था।
  2. वायसराय भारत के समस्त वर्गों के प्रतिनिधित्व वाली एक युद्ध-सलाहकार समिति (War Advisory Committee) की नियुक्ति कर सकता था।
  3. अल्पसंख्यकों को विश्वास दिलाया गया कि सभी राजनीतिक दलों की सहमति मिलने पर ही ब्रिटिश सरकार किसी एक दल को सरकार बनाने के लिए आमन्त्रित करेगी।
  4. संविधान का निर्माण अल्पसंख्यकों के हितों को ध्यान में रखकर भारत के नेताओं द्वारा ही किया जाएगा।
  5. भारतीय जनता ब्रिटिश सरकार की सहायता के लिए तत्पर रहे।

प्रश्न 19.
पूना समझौता से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
पूना समझौता:
मैकडॉनल्ड एवार्ड की घोषणा के समय गाँधी जी जेल में थे। उन्होंने वहीं आमरण अनशन (20 सितम्बर, 1932) प्रारम्भ कर दिया। इस घोषणा से सरकार के कान पर तक नहीं रेंगी। पं. मदन मोहन मालवीय के विशेष प्रयास से डा. अम्बेडकर ने, पूना में एक समझौते पर हस्ताक्षर किए। इसके अनुसार हरिजनों के विशेषाधिकार दिए गए। बाद में सरकार ने भी इसे स्वीकार कर लिया और गाँधी जी ने अपना आमरण व्रत तोड़ दिया। यह समझौता पूना समझौता (Poona Pact) के नाम से प्रसिद्ध है।

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प्रश्न 20.
साम्प्रदायिक निर्णय (Communal Award) की क्या शर्ते थी?
उत्तर:
साम्प्रदायिक निर्णय की शर्ते –

  1. मैकडॉनल्ड एवार्ड ने विशेष हितों, अल्पसंख्यकों तथा बहुमत में होते हुए भी बंगाल व पंजाब में मुसलमानों के लिए पृथक् निर्वाचन पद्धति की व्यवस्था को यथापूर्व बनाए रखा।
  2. पश्चिमोत्तर सीमा प्रान्त के अतिरिक्त सभी विधान-मण्डलों में महिलाओं के तीन प्रतिशत स्थान आरक्षित किए गए। इन स्थानों को विभिन्न सम्प्रदायों में बाँटा जाना था।
  3. उन प्रान्तों में जिनमें मुसलमान अल्पसंख्यक थे; भारात्मक (Weightage) प्रतिनिधित्व दिया गया।
  4. भारत के हरिजनों को एक विशिष्ट अल्पसंख्यक वर्ग के रूप में मान्यता दी गई और उन्हें पृथक निर्वाचन पद्धति के द्वारा अपने प्रतिनिधि चुनने तथा साधारण निर्वाचन क्षेत्रों में अतिरिक्त मत देने का अधिकार दिया गया।
  5. भारतीय ईसाइयों व आंग्ल भारतीयों को भी पृथक् निर्वाचन क्षेत्र प्रदान किए गए।

प्रश्न 21.
क्रिप्स योजना-1942 के मुख्य सुझाव क्या थे?
उत्तर:
क्रिप्स योजना-1942:
सर स्टेफर्ड क्रिप्स को इंग्लैण्ड की सरकार ने मार्च, 1942 में भावी शासन व्यवस्था की योजना लेकर भारत भेजा। इस योजना के मुख्य सुझाव निम्नलिखित थे –

  1. युद्ध के पश्चात् भारत को डोमीनियन राज्य (Dominion State) घोषित किया जाएगा अर्थात् ब्रिटिश साम्राज्य के अन्तर्गत भारत को स्वशासी राज्य बना दिया जाएगा।
  2. युद्धोपरान्त संविधान सभा गठित की जाएगी जो भारत के लिए संविधान बनाएगी।
  3. यदि कोई प्रान्त अथवा देशी राज्य उक्त निर्मित संविधान को स्वीकार न करे तो उसे डोमीनियन से पृथक् होने की स्वतन्त्रता होगी। मुस्लिम लीग की पाकिस्तान की माँग इसी योजना के तहत स्वीकार कर ली गई थी।
  4. गवर्नर-जनरल तथा गवर्नरों की परिषद् में भारतवासियों को प्रतिनिधित्व दिए जाने की व्यवस्था थी। उपर्युक्त प्रस्ताव भविष्य में प्रभावी थे अतः सभी दलों ने इन्हें अस्वीकार कर दिया।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
खिलाफत आन्दोलन के विकास का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
खिलाफत आन्दोलन का विकास:
27 दिसम्बर 1919 ई. को खिलाफत कमेटी ने भारतीय मुसलमानों से 17 अक्टूबर को देश भर में खिलाफत दिवस मनाने, हड़तालें, भूख हड़ताल तथा प्रार्थना करने की अपील की। मांगें स्वीकार न करने की दशा में देशव्यापी आन्दोलन चलाने का निर्णय भी लिया गया। ब्रिटिश सरकार ने मुसलमानों की मांग को नकार दिया। मुसलमानों ने इसके विरोध में खिलाफत आन्दोलन आरम्भ कर दिया। इस आन्दोलन के तीन उद्देश्य थे –

  • तुर्की समाज के विघटन को रोकना।
  • तुर्की पर कठोर सन्धि शर्ते लागू न होने देना।
  • तुर्की के सुल्तान की ‘खलीफा’ पदवी को बनाए रखना।

24 नवंबर 1919 ई. को दिल्ली में एक अखिल भारतीय खिलाफत सम्मेलन हुआ। इस सम्मेलन का सभापतित्व महात्मा गांधी ने किया। इस सम्मेलन में गांधी जी ने ब्रिटिश सरकार पर मुसलमानों को दिए अपने वचन को तोड़ने का आरोप लगाया। उन्होंने हिन्दुओं से आग्रह किया कि इस संकट के समय मुसलमानों की सहायता करें तथा खिलाफत आन्दोलन में सम्मिलित हों।
महात्मा गांधी के सुझाव पर जनवरी 1920 ई. को डॉक्टर अंसारी के नेतृत्व में एक शिष्टमण्डल वायसराय विन्सफोर्ड से मिला तथा उसे मुसलमानों के क्षुब्ध विचारों से अवगत कराया। इसका कोई परिणाम न निकला। मार्च 1920 में अली बन्धु ब्रिटिश प्रधानमंत्री लायड जार्ज से भेंट करने तथा उसे खिलाफत के वायदे का स्मरण करवाने के लिए लंदन गए परन्तु यह शिष्टमंडल भी निराश वापस पहुँचा।

भारतीय मुसलमानों का असंतोष तब और अधिक भड़क उठा जब ब्रिटेन ने तुर्की के साथ अगस्त 1920 को सेवर्स की सन्धि स्वीकार करने के लिए बाध्य किया। इस सन्धि के द्वारा तुर्की के साम्राज्य को छिन्न-भिन्न कर दिया गया तथा तुर्की के सुल्तान को लगभग बन्दी की स्थिति में ले लिया गया। इस कारण मुस्लिम लीग ने खिलाफत आन्दोलन को तीव्र करने का निर्णय किया । महात्मा गाँधी ने 1920 ई. में सरकार के विरुद्ध संयुक्त रूप से असहयोग आन्दोलन चलाने का सुझाव दिया। इस सुझाव को खिलाफत आन्दोलन के नेताओं ने स्वीकार कर लिया। हिन्दुओं तथा मुसलमानों की इस एकता ने राष्ट्रीय स्वतंत्रता आन्दोलन को एक नई दिशा प्रदान की और असहयोग आन्दोलन को एक मजबूत आधार स्तंभ दिया।

जुलाई 1921 ई. में एक प्रस्ताव द्वारा खिलाफत आन्दोलन ने यह घोषणा की कि कोई मुसलमान ब्रिटिश भारत की सेना में भर्ती न हो। सरकार ने राजद्रोह का आरोप लगाकर अली बन्धुओं को गिरफ्तार कर लिया। गाँधी जी ने सरकार के इस निर्णय की घोर आलोचना की तथा लोगों से आह्वान किया कि इस प्रस्ताव को सैकड़ों सभाओं में पढ़कर सुनाया जाए। खिलाफत आन्दोलन का अंत: फरवरी 1922 में चौरी-चौरा की घटना के कारण महात्मा गाँधी ने असहयोग आन्दोलन को स्थगित करने की घोषणा की। इस निर्णय से खिलाफत आन्दोलन को धक्का पहुँचा, क्योंकि दोनों आन्दोलन संयुक्त रूप से चलाए जा रहे थे।

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प्रश्न 2.
1935 के भारत सरकार अधिनियम की प्रमुख विशेषताओं का वर्णन कीजिए। इस अधिनियम के प्रति कांग्रेस के दृष्टिकोण की व्याख्या कीजिए।
उत्तर:
1935 के भारत सरकार अधिनियम की मुख्य विशेषताएँ निम्नलिखित थीं –
केन्द्रीय सरकार में परिवर्तन –

  1. केन्द्र में एक संघात्मक सरकार की स्थापना की गई। इस संघ में प्रांतों का सम्मिलित होना आवश्यक था जबकि रियासतों का सम्मिलित होना उनकी इच्छा पर निर्भर था।
  2. संघीय विधान मंडल के ‘राज्य परिषद्’ और ‘संघीय सभा’ दो सदन बनाये गये। राज्य परिषद् में प्रांतों के सदस्यों की संख्या 156 और रियासतों की संख्या 140 निश्चित की गई। संघीय सभा में प्रांतो के सदस्यों की संख्या 250 और रियासतों की संख्या 125 निश्चित की गई।
  3. यह भी निश्चित किया गया कि प्रांतों के प्रतिनिधि जनता के द्वारा चुने जाएँ और रियासतों के प्रतिनिधि राजाओं के द्वारा मनोनीत हों।
  4. केन्द्र के विषयों को रक्षित रक्षित विषय गवर्नर-जनरल के अधीन थे। जबकि प्रदत्त विषय मन्त्रियों को सौंपे गए । मंत्रियों को विधान मंडल के समान उत्तरदायी ठहराया गया।
  5. विधान मंडल को बजट के 20 प्रतिशत भाग पर मत. देने का अधिकार दिया गया।
  6. गवर्नर-जनरल को कुछ विशेषाधिकार दिये गये।
  7. जब तक भारतीय संघात्मक सरकार की स्थापना नहीं हो जाती तब तक केंद्र का शासन 1919 ई. के एक्ट में किये गए संशोधन के अनुसार चलाया जायेगा।

प्रांतीय सरकारों में परिवर्तन:

  1. बर्मा को भारत से अलग कर दिया गया। इसके अतिरिक्त उड़ीसा और सिन्ध के दो प्रान्त बनाये गये।
  2. बंगाल, बिहार, असम, बम्बई, मद्रास और उत्तरप्रदेश में विधान मंडल के दो सदनों की व्यवस्था की गयी और शेष प्रांतों में एक ही सदन बनाया गया। उच्च सदन का नाम विधान परिषद् और निम्न सदन का विधान सभा रखा गया।
  3. विधान परिषद् के कुछ सदस्य गर्वनर द्वारा मनोनीत किये जाते थे और विधान सभा के सदस्यों का चुनाव जनता द्वारा किया जाता था।
  4. प्रांतों में मत देने का अधिकार स्त्रियों, परिगणित जातियों और मजदूरों को भी दिया गया।
  5. प्रांतों से दोहरे शासन को सदा के लिए समाप्त कर दिया गया और उसके स्थान पर स्वायत्त शासन (Autonomy) की स्थापना की गई। सभी प्रांतीय विषय एक मंत्रिमंडल को सौंप दिये गये। मंत्रियों का चुनाव बहुमत प्राप्त राजनैतिक दल में से किया जाता था। प्रधानमंत्री शासन विभाग का कार्य मंत्रियों में बाँट देता था। मंत्रिमंडल विधानमंडल के प्रति उत्तरदायी था।
  6. प्रांतों के गवर्नरों को विशेष अधिकार दिए गए।
  7. प्रांत में विशेष परिस्थिति उत्पन्न होने पर गवर्नर विधान सभा को भंग करके प्रांत का शासन अपने हाथ में ले सकता था।
  8. गवर्नरों को अध्यादेश तथा गवर्नरी एक्ट जारी करने का भी अधिकार था।

इण्डिया कौंसिल में परिवर्तन:
इंडिया कौंसिल भंग कर दी गई। भारत के मंत्री को कम से कम तीन और अधिक से अधिक 6 सलाहकारों को नियुक्त करने का अधिकार दिया गया।

अन्य परिवर्तन –

  • उच्च न्यायालयों के विरुद्ध अपील सुनने के लिए तथा 1935 ई. के एक्ट के अर्थ के बारे में मतभेद का निर्णय करने के लिए दिल्ली में फैडरल कोर्ट (Federal Court) की स्थापना की गई।
  • रेलवे विभाग प्रशासन के लिए एक संघीय रेलवे सत्ता (Federal Railway Authority) की व्यवस्था की गई।

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित उद्धरण को ध्यानपूर्वक पढ़िए और नीचे दिए गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए: “अगस्त आंदोलन से अत्यधिक लाभ हुआ। स्त्रियों में बहुत जागृति आई। दमन के दौरान गाँवों की स्त्रियों को भी अत्यधिक कष्ट उठाने पड़े। उनका शहर के निवासियों को लेशमात्र भी खेद नहीं है। कांग्रेस की पराजय नहीं हुई है। यह पहले से अधिक शक्तिशाली हुई है।”
(अ) भारत छोड़ो आन्दोलन क्यों आरंभ किया गया?
(ब) इस आन्दोलन में स्त्रियों की क्या भूमिका थी?
(स) इस आन्दोलन का भारत के स्वतंत्रता संघर्ष में क्या महत्त्व है?
उत्तर:
(अ) भारत छोड़ो आन्दोलन आरंभ होने के कारण निम्नलिखित हैं –

  • भारत से अंग्रेजों का शासन समाप्त करने के उद्देश्य से 1942 ई. के अगस्त माह में भारत छोड़ो आन्दोलन शुरू हुआ।
  • क्रिप्स मिशन की असफलता से भारत की जनता रूष्ट हो गई। उसे फाँसीवाद विरोधी शक्तियों से अभी भी पूरी सहानुभूति थी, लेकिन देश की राजनीतिक स्थिति खराब होती जा रही थी।
  • युद्ध के कारण वस्तुओं की कमी हो गई थी तथा वस्तुओं के दाम आसमान छू रहे थे।
  • जैसे-जैसे जापानी फौजें भारत की ओर बढ़ रही थी, वैसे-वैसे भारतीय जनता और नेताओं का भय बढ़ रहा था क्योंकि वे समझते थे कि अंग्रेजों से शत्रुता निकालने के लिए जब जापानी सेना बम बरसाएगी तो भारतीय जनता व्यर्थ में उनका शिकार बन जाएगी।

(ब) इस आंदोलन में स्त्रियों की भूमिका –

  • स्त्रियों ने इस आन्दोलन में अपनी भूमिका सक्रिय रूप से निभाई।
  • उन्होंने अंग्रेजों के विरुद्ध जुलूसों एवं धरनों में पुरुषों का कंधे से कंधा मिलाकर साथ दिया।
  • अरुणा आसफ अली, सुचेता कृपलानी तथा बम्बई की उषा मेहता इस काल की प्रमुख महिला नेता थी।
  • वे स्थान-स्थान पर झंडे, पोस्टर तथा हाथों में तख्तियाँ लेकर प्रदर्शन करतीं थी।
  • महिलाओं ने धन के अलावा अपने गहने भी राष्ट्रीय आंदोलन को मजबूत बनाने के लिए दे दिये।
  • स्त्रियाँ विदेशी शराब की दुकानों तथा विदेशी माल बेचने वाली दुकानों पर धरने देतीं तथा जो व्यक्ति इस माल को खरीदता उसका घेराव करती थीं।

(स) स्वतंत्रता आन्दोलन में महत्त्व –
इसने राष्ट्रीय आन्दोलन की तीव्रता को प्रदर्शित किया क्योंकि जैसे ही गांधी जी को गिरफ्तार करने की खबर फैली, लोग भड़क उठे। रेलों की पटरियाँ उखाड़ दी गईं। सरकारी इमारतें जलाई जाने लगीं। टेलीफोन के तार काट दिए गए। पुलिस थानों को आग लगा दी गई।

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प्रश्न 4.
महात्मा गांधी ने असहयोग आन्दोलन क्यों शुरू किया? इसके विकास का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
असहयोग आन्दोलन:
महात्मा गाँधी आरम्भ में अंग्रेजों के पक्ष में थे परन्तु प्रथम महायुद्ध के समाप्त होने से पूर्व वे अंग्रेजों के कार्यों से असन्तुष्ट हो गए। कारण अथवा परिस्थितियाँ –

  1. भारतीयों ने प्रथम महायुद्ध में अंग्रेजों को पूरा सहयोग दिया था परन्तु महायुद्ध की समाप्ति पर अंग्रेजों ने भारतीय जनता का खूब शोषण किया।
  2. प्रथम महायुद्ध के दौरान भारत में प्लेग आदि महामारियाँ फूट पड़ी। परन्तु अंग्रेजी सरकार ने उसकी ओर कोई ध्यान न दिया।
  3. गांधी जी ने प्रथम महायुद्ध में अंग्रेजों की सहायता करने का प्रचार इस आशा से किया था कि वे भारत को स्वराज्य प्रदान करेंगे। परन्तु युद्ध की समाप्ति पर ब्रिटिश सरकार ने गांधी जी की आशाओं पर पानी फेर दिया।
  4. 1919 ई. में ब्रिटिश सरकार ने रोलेट एक्ट पास कर दिया। इस काले कानून के कारण जनता में रोष फैल गया।
  5. रोलेट एक्ट के विरुद्ध प्रदर्शन के लिए अमृतसर के जलियाँवाला बाग में एक विशाल जनसभा हुई। अंग्रेजों ने एकत्रित भीड़ पर गोलियाँ चलायीं जिससे हजारों लोग मारे गये।
  6. सितम्बर 1920 ई. में कांग्रेस ने अपना अधिवेशन कलकत्ता में बुलाया। इस अधिवेशन में ‘असहयोग आन्दोलन’ का प्रस्ताव रखा गया जिसे बहुमत से पार सकर दिया गया। असहयोग

आन्दोलन का कार्यक्रम अथवा उद्देश्य: असहयोग आन्दोलन के कार्यक्रम की रूपरेखा इस प्रकार थी –

  1. विदेशी माल का बहिष्कार करके स्वदेशी माल का प्रयोग किया जाए।
  2. ब्रिटिश सरकार द्वारा दी गयी उपाधियाँ तथा अवैतनिक पद छोड़ दिये जाएँ।
  3. स्थानीय संस्थाओं में मनोनीत भारतीय सदस्यों द्वारा तयागपत्र दे दिये जाएँ।
  4. सरकारी स्कूलों तथा सरकार से अनुदान प्राप्त स्कूलों में बच्चों को पढ़ने के लिए न भेजा जाए।
  5. ब्रिटिश अदालतों तथा वकीलों का धीरे-धीरे बहिष्कार किया जाए।
  6. सैनिक, क्लर्क तथा श्रमिक विदेशों में अपनी सेवाएँ अर्पित करने से इन्कार कर दें।

आन्दोलन की प्रगति तथा अन्त:
असहयोग आन्दोलन के कार्यक्रम को जनता तक पहुँचाने के लिए महात्मा गाँधी तथा मुस्लिम नेता डॉ. अन्सारी, मौलाना अबुल कलाम आजाद तथा अली बन्धुओं ने सारे देश का भ्रमण किया। शीघ्र ही यह आन्दोलन बल पकड़ गया। जनता ने सरकारी विद्यालयों का बहिष्कार कर दिया। बीच चौराहों पर विदेशी वस्त्रों की होली जलायी गयी। रवीन्द्रनाथ टैगोर ने ‘सर’ की उपाधि तथा गाँधी जी ने ‘केसरे-हिन्द’ की उपाधि का त्याग कर दिया। इसी बीच उत्तर प्रदेश के चौरी-चौरा नामक स्थान पर उत्तेजित भीड़ ने पुलिस चौकी को आग लगा दी। इस हिंसात्मक घटना के कारण गांधी जी ने असहयोग आन्दोलन को वापस लेने की घोषणा कर दी।

महत्त्व:

  1. असहयोग आन्दोलन के कारण कांग्रेस ने सरकार से सीधी टक्कर ली।
  2. भारत के इतिहास में पहली बार जनता ने बढ़-चढ़ कर इस आन्दोलन में भाग लिया।
  3. असहयोग आन्दोलन में ‘स्वदेशी’ का खूब प्रसार किए जाने लगे।

देश के उद्योग:
धंधों का विकास हुआ। सच तो यह है कि गाँधी जी द्वारा चलाये गये असहयोग आन्दोलन ने भारत के स्वाधीनता-संग्राम को एक नयी दिशा प्रदान की।

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प्रश्न 5.
भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन में महात्मा गाँधी का क्या स्थान है?
उत्तर:
प्रथम विश्व युद्ध में भारतीयों ने अंग्रेजों की तन-मन-धन से सहायता की थी। उनका अंग्रेजों की न्यायप्रियता पर विश्वास था। अप्रैल 1918 ई. में दिल्ली में एक युद्ध सम्मेलन बुलाया गया। गाँधी जी ने इसमें भाग लिया था। उन्होंने अंग्रेजों को मित्र जानकर संकट में उनकी सहायता की। युद्ध समाप्त होने के पश्चात् अंग्रेजों ने मुँह मोड़ लिया। उन्होंने भारतीयों को किसी प्रकार का अधिकार न दिया तथा इसके विपरीत राष्ट्रीय आंदोलन को कुचलने के लिए कमर कस ली। विवश होकर गाँधी जी ने असहयोग का मार्ग अपनाया।

गाँधी जी द्वारा चलाये जाने वाले असहयोग आन्दोलन के लिए उत्तरदायी तत्त्व निम्नलिखित थे –

1. प्रथम विश्व युद्ध (First World War):
प्रथम विश्व युद्ध राष्ट्रीयता तथा आत्मनिर्णय के सिद्धांत (Principle of Self Determination) के आधार पर लड़ा गया था। युद्ध के बाद इन सिद्धांतों के आधार पर यूरोप में कुछ नये राष्ट्रों का जन्म हुआ। इससे एशिया के देशों में राष्ट्रीयता का अंकुर फूट पड़ा। इसके फलस्वरूप भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन में भी एक नया मोड़ आना स्वाभाविक था।

2. रोलेट एक्ट के विरुद्ध सत्याग्रह (Satyagraha Against Rowlett Act):
सन् 1919 ई. में मांटेग्यू चेम्सफोर्ड योजना भारतीय कांग्रेस ने ठुकरा दी। इसके अनुसार प्रान्तीय विधानसभाओं में सदस्यों की संख्या बढ़ा दी गई थी। कांग्रेस ने इसके विरुद्ध आन्दोलन छेड़ा और अंग्रेजों ने इसे दबाने के लिए रोलेट एक्ट का सहारा लिया। इस एक्ट द्वारा किसी भी व्यक्ति को बिना मुकदमा चलाए बन्दी बनाया जा सकता था। गांधी जी ने इसे ‘काला कानून’ कहा और इसके विरुद्ध सत्याग्रह किया। लाखों व्यक्तियों ने हड़तालों और प्रदर्शनों में हिस्सा लिया।

3. असहयोग आन्दोलन (Non-Cooperation Movement):
भारतीय हितों पर चोट पड़ते ही भारतीय जनता कराह उठी। ब्रिटिश सरकार की दमनात्मक नीति का विरोध करने के लिए गाँधी जी ने एक अनोखे हथियार का आविष्कार किया जो विश्व में अपने किस्म का पहला था – असहयोग आन्दोलन। गाँधी जी ने छात्रों, प्रशासनिक कर्मचारियों, अध्यापकों, वकीलों, दुकानदारों का आवाह्न किया, सभी असहयोग आंदोलन के लिए तैयार हो गये।

4. सत्याग्रह (Satyagraha):
गाँधी जी बिना किसी को सताये या दुःखी किये स्वयं भूख हड़ताल करते, धरना देते, आमरण अनशन करते तो हजारों की संख्या में लोग भी उनका अनुसरण करने लगते थे। उनका सत्याग्रह पूरे देश का सत्याग्रह माना जाता था।

5. अहिंसा (Non-Violence):
गाँधी जी ‘अहिंसा परमो धर्म’ में विश्वास रखते थे। उन्होंने शांतिपूर्ण तरीकों से आत्मबल के द्वारा साम्राज्यवादी शक्ति के घुटने टिकवा दिए थे।

6. साम्प्रदायिक सद्भावना (CommunalGoodwill):
गाँधी जी ने अंग्रेजों की ‘फूट डालो और शासन करो’ की नीति को समझ लिया था। अतः उन्होंने हिन्दू-मुस्लिम एकता बनाए रखने के हर सम्भव प्रयास किए। वे हिन्दू-मुस्लिम दोनों को अपनी दो आँखें समझते थे। जब कभी साम्प्रदायिक तत्त्व साम्प्रदायिकता की आग भड़काने की कोशिश करते, गाँधी जी स्वयं जाकर मैत्री एवं सद्भावना का वातावरण तैयार करने का प्रयत्न करते थे।

7. हरिजनों का कल्याण (Welfare of the Harijans):
भारत में उच्च जातियों का निम्न वर्ग के लोगों के साथ ताल-मेल नहीं बैठ रहा था। अतः अपने प्रति घृणा और तिरस्कार को देखकर वे ईसाई बन रहे थे। उन्होंने सर्वप्रथम उन्हें ‘हरिजन’ नाम दिया। उनकी समस्याओं का समाधान करने के लिए गाँधी जी ने ‘हरिजन’ नामक पत्रिका निकाली। गाँधी जी ने हरिजनों की गंदी बस्तियों में स्वयं अपने हाथों से सफाई की। इससे इन्होंने हरिजनों का हृदय जीत लिया।

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प्रश्न 6.
भारत के स्वतंत्रता संग्राम में भारत छोड़ो आन्दोलन (1942) के योगदान की समीक्षा कीजिए।
उत्तर:
भारत छोड़ो आन्दोलन:
क्रिप्स मिशन (मार्च, 1942 ई.) की असफलता के पश्चात् भारतीय नेताओं ने महसूस किया कि ब्रिटिश सरकार भारत को स्वाधीनता देने के पक्ष में नहीं हैं। ऐसी स्थिति में देश में अंग्रेजों के प्रति भीषण उत्तेजना फैल गई। 7 अगस्त, 1942 ई. को कांग्रेस की महासमिति की बैठक बम्बई में हुई और 8 अगस्त, 1942 ई. को अखिल भारतीय कांग्रेस समिति के सामने गाँधी जी ने अपना ऐतिहासिक प्रस्ताव रखा। गँधी जी ने ‘भारत छोड़ो’ का नारा दिया। अंग्रेजों को ऐतिहासिक प्रस्ताव रखा। गाँधी जी ने ‘भारत छोड़ो’ का नारा दिया। अंग्रेजों को भारत छोड़ने के लिए मजबूर करने के लिए एक विशाल सविनय अवज्ञा आन्दोलन शुरू करने का निर्णय किया गया। गाँधी जी ने ‘करो या मरो’ का नारा देते हुए कहा कि “हमने कांग्रेस को बाजी पर लगा दिया है या तो यह विजयी होगी या समाप्त हो जाएगी। “महात्मा गाँधी ने यह स्पष्ट कर दिया कि वे आन्दोलन शुरू करने से पूर्व सरकार को एक अन्तिम मौका और देंगे तथा वायसराय से मिलेंगे।

किन्तु सरकार ने उन्हें यह अवसर नहीं दिया। 9 अगस्त को सुबह होने से पूर्व ही गाँधी जी तथा अनेक कांग्रेस नेताओं को गिरफ्तार कर लिया गया तथा कांग्रेस को एक बार पुनः अवैध संगठन घोषित कर दिया। गाँधी जी तथा अन्य नेताओं की गिरफ्तारी का समाचार पाते ही देश के विभिन्न भागों में हड़ताल तथा जुलूस निकाले गए। सरकार ने बर्बरतापूर्वक इन शान्त प्रदर्शनकारियों का दमन किया। इसी कारण भारतीय लोग एकदम भड़क उठे। लगभग 70,000 से अधिक व्यक्तियों को जेल में बन्दी बनाया गया। अनेक गांवों के लोगों पर सामूहिक जुर्माने किए गए तथा उन पर कोड़े बरसाए गए। आखिरकार सरकार इस आन्दोलन को दबाने में सफल हो गई

भारत छोड़ो का महत्त्व अथवा योगदान:
वस्तुतः 1942 ई. का ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ थोड़े ही दिन तक चल सका। इसने स्पष्ट कर दिया कि राष्ट्रवादी चेतना तथा शीघ्र स्वतन्त्रता प्राप्ति की आकांक्षा लोगों में बहुत प्रबल हो चुकी है। तथा लोग देश की आजादी के लिए बड़े से बड़ा बलिदान देने के लिए तैयार हैं। प्रसिद्ध इतिहासकार डॉ. ईश्वरी प्रसाद के अनुसार इस विद्रोह की आग में औपनिवेशिक स्वराज्य की सारी इच्छा पूर्णतया जल गई। भारत अब पूर्ण स्वतन्त्रता से कम कुछ नहीं चाहता था ……. इसकी तुलना फ्रांस के ऐतिहासिक बेस्टीले पतन अथवा रूस की अक्टूबर क्रांति से की जा सकती है। जवाहरलाल नेहरू ने इस आन्दोलन के बारे में कहा, “1942 ई. में जो कुछ हुआ, उस पर मुझे गर्व है” कुछ विद्वानों की राय है कि इसी आन्दोलन ने भारतीय पक्ष को दूसरे देशों के सामने स्पष्ट किया। इसी आन्दोलन की व्यापकता के कारण अमेरिका एवं चीन जैसे देशों ने इंग्लैण्ड की सरकार पर भारत की स्वतंत्रता पर शीघ्र निर्णय लेने के लिए दबाव डाला।

वस्तुनिष्ठ प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
निम्नलिखित में भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन का नेता कौन नहीं था?
(अ) बाल गंगाधर तिलक
(ब) विपिनचन्द्र पाल
(स) लाला लाजपत राय
(द) मिर्जा गालिब
उत्तर:
(द) मिर्जा गालिब

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प्रश्न 2.
लखनऊ समझौता कब हुआ?
(अ) 1916
(ब) 1915
(स) 1917
(द) 1919
उत्तर:
(अ) 1916

प्रश्न 3.
खिलाफत आंदोलन का नेतृत्व किसने किया?
(अ) गांधी जी और नेहरू
(ब) शौकत अली और मुहम्मद अली
(स) मोहम्मद अली जिन्ना
(द) इनमें से कोई नहीं
उत्तर:
(ब) शौकत अली और मुहम्मद अली

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प्रश्न 4.
‘काला विधेयक’ किसे कहा जाता है?
(अ) रोलेट एक्ट
(ब) अलबर्ट बिल
(स) 1919 का एक्ट
(द) 1935 का एक्ट
उत्तर:
(अ) रोलेट एक्ट

प्रश्न 5.
असहयोग आन्दोलन कब शुरू हुआ?
(अ) 1918
(ब) 1919
(स) 1921
(द) 1922
उत्तर:
(ब) 1919

प्रश्न 6.
भारत में साइमन कमीशन कब आया?
(अ) 1926
(ब) 1927
(स) 1928
(द) 1929
उत्तर:
(स) 1928

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प्रश्न 7.
तुम मुझे खून दो, मै तुम्हें आजादी दूंगा’ किसका कथन था?
(अ) भगतसिंह
(ब) रासबिहारी बोस
(स) मोहन सिंह
(द) सुभाष चन्द्र बोस
उत्तर:
(द) सुभाष चन्द्र बोस

प्रश्न 8.
लाल कुर्ती का नेतृत्व किसने किया था?
(अ) महात्मा गाँधी
(ब) अब्दुल गफ्फार खां
(स) पं. जवाहर लाल नेहरू
(द) मौलाना आजाद
उत्तर:
(ब) अब्दुल गफ्फार खां

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प्रश्न 9.
प्रथम पूर्ण स्वराज्य कब मनाया गया?
(अ) 26 जनवरी 1922
(ब) 26 जनवरी 1929
(स) 26 जनवरी 1930
(द) 26 जनवरी 1950
उत्तर:
(स) 26 जनवरी 1930

प्रश्न 10.
दूसरा गोलमेज सम्मेलन कब हुआ?
(अ) 1931 के प्रारंभ में
(ब) 1931 के अंत में
(स) 1932
(द) 1933
उत्तर:
(ब) 1931 के अंत में

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प्रश्न 11.
महात्मा गाँधी को सर्वप्रथम ‘महात्मा किसने कहा?
(अ) रवीन्द्रनाथ टैगोर
(ब) पं. जवाहर लाल नेहरू
(स) बाल गंगाधर तिलक
(द) मोहम्मद अली जिन्ना
उत्तर:
(अ) रवीन्द्रनाथ टैगोर

प्रश्न 12.
‘भारत छोड़ो’ आन्दोलन कब शुरू हुआ?
(अ) अगस्त 1942
(ब) अगस्त 1940
(स) अगस्त 1944
(द) अगस्त 1946
उत्तर:
(अ) अगस्त 1942

Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 12 औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य

Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 12 औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य Textbook Questions and Answers, Additional Important Questions, Notes.

BSEB Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 12 औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य

Bihar Board Class 12 History औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य Textbook Questions and Answers

उत्तर दीजिए (लगभग 100 से 150 शब्दों में)

प्रश्न 1.
औपनिवेशिक शहरों में रिकॉर्ड्स संभाल कर क्यों रखे जाते थे?
उत्तर:
औपनिवेशिक शहरों में रिकॉर्ड्स संभालकर रखने के कारण –

  1. आंकड़े और जानकारियों के आधार पर शासन को सुचारु रूपसे चलाने के लिए।
  2. व्यापारिक गतिविधि यों का विस्तृत ब्यौरा व्यापार को कुशलता से प्रोन्नत करने के लिए।
  3. शहरों के विस्तार के साथ शहरी नागरिकों के रहन-सहन, आचार-विचार, शैक्षिक जागरूकता, राजनीतिक रूझान आदि का अध्ययन करने के लिए।
  4. किसी स्थान की भौगोलिक बनावट और भू-दृश्यों को भलीभाँति समझने के बाद उन स्थानों पर शहरीकरण, साम्राज्य विस्तार आदि करने के लिए।
  5. जनसंख्या के आकार में होने वाली सामाजिक बढ़ोत्तरी का अध्ययन करके तद्नुसार प्रशासनिक तौर-तरीकों, नियम-कानूनों आदि को बनाने तथा उनका कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए।

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प्रश्न 2.
औपनिवेशिक संदर्भ में शहरीकरण के रुझानों को समझने के लिए जगणना संबंधी आँकड़े किस हद तक उपयोगी होते हैं?
उत्तर:
औपनिवेशिक संदर्भ में शहरीकरण के रुझानों को समझने के लिए जगणना संबंधी आँकड़ों का उपयोग –

  1. यह भारत में शहरीकरण की प्रवृत्ति के अनुसार जन-सुविधाएँ, आवाम एवं अन्य व्यवस्था करने में सहायक थे।
  2. इनसे बीमारियों से होने वाली मृत्यु, उम्र, लिंग, जाति एवं व्यवसाय के विषय में जानकारी मिलती है।
  3. औपनिवेशिक काल के वर्गीकरण, विन्यास आदि का गहन अध्ययन करके उपयुक्त निष्कर्ष लेने के लिए भी जनसंख्या के आँकड़े सहायक बनते हैं।
  4. तत्कालीन जनगणना आयुक्तों की आकलन और परिकलन की कमियों को समझकर सही निष्कर्ष तक पहुँचने के लिए।
  5. जनगणना एक ऐसा साधन थी जिसके आधार पर आबादी के विषय में सामाजिक जानकारियों को सरल आँकड़ों में परिवर्तित किया जाता था। परन्तु इस जानकारी में कई भ्रम थे।
  6. इन आंकड़ों के आधार पर ही अंग्रेज छल साधित कानून बनाकर भारतीय जनता को अपने जाल में बुरी तरह फँसा लेते थे सैन्य व्यवस्था भी इसी आधार पर की जाती थी।
  7. जहाँ की आजादी तीव्रता से बढ़ती थी अंग्रेज यह अनुमान लगा लेते थे कि वे इलाके समृद्ध हैं अतः इसी आधार पर भू-राजस्व एवं अन्य करों का निर्धारण करते थे।

प्रश्न 3.
“व्हाइट” और “ब्लैक” टाउन शब्दों का क्या महत्त्व था?
उत्तर:
व्हाइट और ब्लैक टाउन शब्दों का महत्त्व –

  1. औपनिवेशिक शहरों में गोरों (Whites) अर्थात् अंग्रेजों और कालों (Blacks) अर्थात् भारतीयों की अलग-अलग बस्तियाँ होती थीं। उस समय के लेखन में भारतीयों की बस्तियों को “ब्लैक टाउन” और गोरों की बस्तियों को “व्हाइट टाउन” कहा जाता था।
  2. इन शब्दों का प्रयोग नस्ली भेद प्रकट करने के लिए किया जाता था। अंग्रेजों की राजनीतिक सत्ता की मजबूती के साथ ही यह नस्ली भेद भी बढ़ता गया।
  3. इन दोनों बस्तियों के मकानों में भी अंतर होता था। भारतीय एजेंटों और बिचौलियों ने बाजार के आस-पास ब्लैक टाउन में परम्परागत ढंग के दालान मकान बनवाये। सिविल लाइन्स में बँगले होते थे। सुरक्षा के लिए इनके आस-पास छावनियाँ भी बसाई जाती थी।
  4. व्हाइट्स टाउन साफ सुथरे होते थे जबकि ब्लैक टाउन गंदे होते थे। यहाँ बीमारी फैलने का डर होता था।

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प्रश्न 4.
प्रमुख भारतीय व्यापारियों ने औपनिवेशिक शहरों में खुद को किस तरह स्थापित किया?
उत्तर:
औपनिवेशिक शहरों में भारतीय व्यापारियों की दशा:
विशेष रूप से बम्बई के व्यापारियों ने अपनी आर्थिक स्थिति बहुत मजबूत कर ली थी। बम्बई में व्यापार की एक महत्त्वपूर्ण वस्तु अफीम थी। भारतीय व्यापारी और बिचौलियों ने इस व्यापार से बहुत लाभ कमाया। उन्होंने बम्बई की अर्थव्यवस्था को मालवा, राजस्थान और सिंध जैसे अफीम उत्पादक इलाकों के साथ जोड़ दिया। कालांतर में ये व्यापारी पूँजीपति बन गए। पूँजीपति वर्ग में पारसी, मारवाड़ी, कोंकणी, मुसलमान, गुजराती, बनिये, बोहरा, यहूदी आदि विभिन्न समुदायों के लोग थे।

अमेरिका के गृहयुद्ध के समय भारतीय व्यापारियों और बिचौलियों के लिए कपास का व्यापार मुनाफे का सौदा था। भारतीय व्यापारियों ने इसका खूब लाभ उठाया। 19 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध तक भारतीय व्यापारी कॉटन मिल जैसे नए उद्योगों में अपना पैसा लगाने लगे। निर्माण गतिविधियों में भी उनकी महत्त्वपूर्ण भूमिका रही।

प्रश्न 5.
औपनिवेशिक मद्रास में शहरी और ग्रामीण तत्त्व किस हद तक घुलमिल गये थे?
उत्तर:
औपनिवेशिक मदास में शहरी और ग्रामीण तत्त्वों का घुल-मिल जाना:

  1. मद्रास शहर अनेक गाँवों को मिलाकर विकसित किया गया। यहाँ विविध समुदायों के लिए व्यवसाय एवं रोजगार के अवसर थे। अनेक प्रकार के कार्यवाही कई समुदाय मद्रास आकर यहीं बस गए।
  2. प्रारंभ में कंपनी के अधीन नौकरी पाने वालों में स्थानीय ग्रामीण वेल्लालार जाति थे। इन्होंने ब्रिटिश शासन के कारण मिले अवसरों का सर्वाधिक लाभ उठाया।
  3. तेलुगु कोमाटी समुदाय एक शक्तिशाली ताकतवर व्यावसायिक समूह था। इसका शहर के अनाज व्यवसाय पर नियंत्रण था।
  4. पेरियार और वन्नियार गरीब तबके का अधिसंख्यक कामगार वर्ग था । ये सभी लोग मद्रास शहर में ही रच-बस गए। उपर्युक्त तथ्य दर्शाते हैं कि मद्रास एक अर्ध ग्रामीण शहर बन गया था।

निम्नलिखित पर एक लघु निबन्ध लिखिए (लगभग 250 से 300 शब्दों में)

प्रश्न 6.
अठारहवीं शताब्दी में शहरी केन्द्रों का रूपान्तरण किस तरह हुआ?
उत्तर:
अठारहवीं शताब्दी में शहरी केन्द्रों का रूपान्तरण –

  1. मुगल साम्राज्य का पतन होने के साथ ही पुराने नगरों का अस्तित्व समाप्त हो गया और क्षेत्रीय शक्तियों का विकास होने के कारण नये नगर बनने लगे। इनमें लखनऊ, हैदराबाद, सेरिंगपट्म, पूना, नागपुर, बड़ौदा तथा तंजौर आदि उल्लेखनीय हैं।
  2. व्यापारी, प्रशासक, शिल्पकार तथा अन्य व्यवसायी पुराने नगरों से यहाँ आने लगे। यहाँ उनको काम तथा संरक्षण उपलब्ध था। चूँकि राज्यों के बीच युद्ध होते रहते थे इसलिए भाड़े के सैनिकों के लिए भी काम था।
  3. मुगल साम्राज्य के अधिकारियों ने कस्बे और गंज (छोटे स्थायी बाजार) की स्थापना की। इन शहरी केन्द्रों में यूरोपीय कम्पनियों ने भी धाक जमा ली। पुर्तगालियों ने पणजी में, डचों ने मछलीपट्टनम्, अंग्रेजों ने मद्रास तथा फ्रांसीसियों ने पांडिचेरी में अपने व्यापार केन्द्र खोल लिए।
  4. 18 वीं शताब्दी में स्थल आधारित साम्राज्यों का स्थान जलमार्ग आधारित यूरोपीय साम्राज्यों ने ले लिया। भारत में पूँजीवाद और वाणिज्यवाद को बढ़ावा मिलने लगा।
  5. मध्यकालीन शहरों-सूरत, मछलीपट्टनम् तथा ढाका का पतन हो गया।
  6. प्लासी युद्ध के पश्चात् अंग्रेजी व्यापार में वृद्धि हुई और मद्रास, कलकत्ता तथा बम्बई जैसे शहर आर्थिक राजधानियों के रूप में स्थापित हुए।
  7. ये शहर औपनिवेशिक प्रशासन और सत्ता के केन्द्र बन गये।
  8. इन शहरों को नये तरीके से बसाया गया और भवनों तथा संस्थानों का निर्माण किया गया। रोजगार के विकास के साथ ही यहाँ लोगों का आगमन भी तेज हो गया।

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प्रश्न 7.
औपनिवेशिक शहर में सामने आने वाले नये तरह के सार्वजनिक स्थान कौन से थे? उनके उद्देश्य क्या थे?
उत्तर:
औपनिवेशिक शहर में सामने वाले नये तरह के सार्वजनिक स्थान और उनके उद्देश्य –

  1. 18 वीं शताब्दी तक मद्रास, कलकत्ता और बम्बई महत्त्वपूर्ण बन्दरगाह बन गये। यहाँ की बस्तियों में वस्तुओं के विशाल भंडार और कई कारखाने भी खुल गए थे।
  2. यूरोपीय कंपनियों की प्रतिस्पर्धा के कारण सुरक्षा के उद्देश्य से बस्तियों का दुर्गीकरण किया गया। भारतीयों की बस्तियाँ किलों से बाहर होती थीं। नस्ली भेदभाव के कारण गोरों के शहर को श्वेत शहर (White Town) और भारतीयों के शहर को ब्लैक शहर (Black Town) कहा जाने लगा।
  3. रेल परिवहन की सुविधा बढ़ने के साथ ही अन्य शहर भी बंदरगाह के शहरों से जुड़ गये। कलकत्ता के बाहरी शहरों में यूरोपियों ने अपनी जूट मिलें खोली ली।
  4. मद्रास की आबादी तृतीयक क्षेत्र या सेवा व्यवसाय (Tertiary Sector) में अधिक लगी हुई थी।
  5. भारत के दो औद्योगिक शहर-कानपुर और जमशेदपुर थे। कानपुर में चमड़े की वस्तुएँ, ऊनी और सूती कपड़े बनते थे जबकि जमशेदपुर में स्टील का उत्पादन होता था। अंग्रेजों के पक्षपातपूर्ण रवैये के कारण भारत कभी भी एक आधुनिक औद्योगिक देश नहीं बन पाया।

प्रश्न 8.
उन्नीसवीं सदी में नगर नियोजन को प्रभावित करने वाली चिंताएँ कौन-सी थी?
उत्तर:
19 वीं सदी में नगर नियोजन को प्रभावित करने वाली चिंताएँ –

  1. शासक वर्ग के लिए नस्ली भेद-भाव पर आधारित क्लब, रेसकोर्स और रंगमंच बनाए गए थे।
  2. अमीर भारतीय एजेंटों और बिचौलियों के विस्तृत मकान ब्लैक टाउन में थे। वे अंग्रेज स्वामियों को खुश करने के लिए रंगीन पार्टियों करते थे और समाज में हैसियत दिखाने के लिए मंदिर बनवाते थे।
  3. मजदूर वर्ग के लोग शहर के विभिन्न इलाकों में कच्ची झोंपड़ियाँ बनाकर रहते थे। ये अपने यूरोपीय और भारतीय स्वामियों के लिए खाना पकाने, पालकी ढोने, गाड़ी ढोने, चौकीदारी, भारवाहक तथा निर्माण कार्यों और गोदी मजदूर के रूप में कार्य करते थे।
  4. 1857 के विद्रोह से अंग्रेज आशंकित रहने लगे। अपनी सुरक्षा के लिए उन्होंने ‘सिविल लाइन्स’ के नाम से नए शहरी इलाके विकसित किये। इसमें केवल अंग्रेज रहते थे और यहाँ की बस्तियों को छावनियों के रूप में विकसित किया गया।
  5. ब्लैक टाउन में स्वच्छता का अभाव था और शोरगुल होता था। प्रारंभ में अंग्रेजों ने इस ओर ध्यान नहीं दिया परन्तु 1860-70 में प्लेग और हैजा फैलने के बाद अपने स्वास्थ्य की सलामती के लिए उन्होंने स्वच्छता कार्यों की ओर ध्यान देना आरम्भ किया था।
  6. किन स्थापत्य शैलियों के आधार पर इमारतें और भवन बनवाए जाएँ, यह भी एक चिंता का विषय था। पाश्चात्य स्थापत्य शैली, भारतीय स्थापत्य शैली, ग्रीक रोमन स्थापत्य शैली अथवा गॉथिक शैली विकल्प के रूप में थे।
  7. औपनिवेशिक शासन शहरों के रख-रखाव, सुधार और अन्य कार्यों को लागू करने के लिए पर्याप्त धन की जरूरत थी अत: एक लाटरी कमेटी का गठन किया गया।
  8. यातायात के साधनों की व्यवस्था भी एक समस्या थी।

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प्रश्न 9.
नए शहरों में सामाजिक संबंध किस हद तक बदल गए?
उत्तर:
नए शहरों के सामाजिक संबंधों में बदलाव –

  • नये शहरों का सामाजिक जीवन अति सम्पन्नता और अति-निर्धनता का मिश्रित रूप था।
  • यहाँ की जिन्दगी अति व्यस्त थी। यहाँ यातायात के साधन घोड़ा गाड़ी, ट्राम या बस थे काम करने और आवास का स्थान अलग-अलग बनवाया गया था।
  • नए नगरों में टाउन हाल, पार्क, रंगशाला और सिनेमा हॉल जैसे सार्वजनिक स्थल थे।
  • यहाँ कई सामाजिक समूह थे और समान के विभिन्न वर्गों के लोग काम करने के लिए यहाँ आते थे।
  • मद्रास, बम्बई और कलकत्ता के नक्शे पुराने भारतीय शहरों से भिन्न थे। इनमें बनाए गए भवनों पर औपनिवेशिक उद्भव की स्पष्ट छाप थी।
  • अंग्रेजों और यूरोपियों के लिए हिल स्टेशन आदर्श स्थान बन गये थे। यहाँ की इमारतें यूरोपीय स्थापत्य शैली की होती थी। रेल परिवहन शुरू होने के साथ ही हिल स्टेशनों में अनेक प्रकार के लोग पहुँचने लगे थे। भारतीयों ने भी वहाँ रहना शुरू कर दिया।
  • जिन हिल स्टेशनों में चाय और कॉफी के बागान लगाए गए थे, वहाँ बड़ी संख्या में मजदूर आने लगे। इस तरह ये स्थान हिल स्टेशन यूरोपीय लोगों के लिए पर्यटन स्थल ही नहीं बल्कि व्यवसायिक आय का माध्यम भी बन गए थे।
  • मध्यवर्गीय वर्ग-क्लर्कों, शिक्षकों, वकीलों, डाक्टरों, इंजीनियरों और लेखाकार की मांग बढ़ने लगी। यहाँ शिक्षितों की संख्या अधिक थी।
  • समय के अनुसार तेजी से बदलाव आ रहे थे औरतें भी नौकरानी, फैक्ट्री मजदूर, शिक्षिका, रंगकर्मी और फिल्म कलाकारों के रूप में कई कार्य संपन्न कर रही थी।
  • मेहनत वश मजदूर शहरों के आकर्षण से प्रभावित होकर यहाँ रह रहे थे लेकिन उनकी आमदनी इतनी नहीं थी कि वे अपनी जीविका चला सकें।
  • नगरों में नस्ली-भेद-भाव चरम पर था। मद्रास में व्हाइट टाउन और ब्लैक टाउन में क्रमशः यूरोपीय और भारतीय अलग-अलग रहते थे। कम्पनी के लोगों को भारतीयों से विवाह करने की अनुमति नहीं थी।
  • यूरोपीय ईसाई होने के कारण डच और पुर्तगाल के नागरिकों को भी अंग्रेजों के साथ रहने की छूट थी। यूरोपियों के कम संख्या में थे अतः प्रशासकीय कार्य इन लोगों को भी सौंपे गए थे। मद्रास शहर का विकास मुट्ठी भर गोरों की आवश्यकता और सुविधाओ के अनुसार किया जा रहा था।

मानचित्र कार्य

प्रश्न 10.
भारत के नक्शे पर मुख्य नदियों और पर्वत श्रृंखलाओं को पारदर्शी कागज लगाकर रेखांकित करें। बम्बई, कलकत्ता और मद्रास सहित इस अध्याय में उल्लिखित दस शहरों को चिन्हित कीजिए और उनमें से किन्हीं दो शहरों के बारे में संक्षेप में लिखिए कि उन्नीसवीं सदी के दौरान उनका महत्त्व किस तरह बदल गया। उनमें से एक औपनिवेशिक शहर तथा दूसरा उससे पहले का शहर होना चाहिए।
उत्तर:
Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 12 औपनिवेशिक शहर नगर, योजना , स्थापत्य img 1

19 वीं शताब्दी का एक औपनिवेशिक शहर:

1. बम्बई:
बम्बई भारत के पश्चिमी तट पर स्थित एक विशाल बन्दरगाह है। यह शहर सात द्वीपों को मिलाकर बना है। प्रारंभ में यह पुर्तगाल के अधीन था। बंदरगाह होने के कारण यह औपनिवेशिक भारत की व्यापारिक राजधानी थी। 19 वीं शताब्दी तक भारत का आधा निर्यात और आयात इसी बंदरगाह से होता था। इस व्यापार की महत्वपूर्ण वस्तु अफीम थी। यहाँ कई पूँजीपति का विकास हुआ। 19 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध में यह विश्व व्यापार से जुड़ गया। यहाँ पर बनवाई गई अनेक बड़ी इमारतें यूरोपीय शैली पर आधारित थीं।

19 वीं शताब्दी से पहले का एक प्राचीन शहर:

2. दिल्ली:
दिल्ली एक प्राचीन शहर है। यहाँ से महाभारत कालीन अवशेष प्राप्त हुए हैं। उस समय यह शहर इन्द्रप्रस्थ के रूप में जाना जाता था। 17 वीं शताब्दी में इसे शाहजहाँनाबाद कहा जाता था। इसको मुगल सम्राट शाहजहाँ ने बसाया था। यहाँ अनेक बड़ी इमारतें बनायी गईं जिनके अवशेष आज भी देखे जा सकते हैं। अंग्रेजों के शासन काल में नई दिल्ली की नींव रखी गई और 1911 ई. में इसे राजधानी के रूप में चुना गया। आज यह शहर भारत की राजधानी है। दिल्ली को राष्ट्रीय राजधानी के रूप में मान्यता प्राप्त है। यहाँ संसद सदस्य और राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री आदि के आवास और कार्यालय हैं। यहाँ सभी प्रदेशों और संघ राज्यों के निवासी और प्रतिनिधि रहते हैं।

परियोजना कार्य (कोई एक)

प्रश्न 11.
पता लगाइए कि आपके कस्बे या गाँव में स्थानीय प्रशासन कौन-सी सेवाएँ प्रदान करता है। क्या जलापूर्ति, आवास, यातायात और स्वास्थ्य एवं स्वच्छता आदि सेवायें भी उनके हिस्से में आती हैं? इन सेवाओं के लिए संसाधनों की व्यवस्था कैसे की जाती है? नीतियाँ कैसे बनाई जाती हैं? क्या शहरी मजदूरों या ग्रामीण इलाकों के खेतीहर मजदूरों के पास नीति निर्धारण में हस्तक्षेप का अधिकार होता है? क्या उनसे राय ली जाती है? अपने निष्कर्षों के आधार पर एक रिपोर्ट तैयार कीजिए।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

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प्रश्न 12.
अपने शहर या गाँव में पाँच तरह की इमारतों को चुनिए। प्रत्येक के बारे में पता लगाइये कि उन्हें कब बनाया गया, उनको बनाने का फैसला क्यों लिया गया। उनके लिए संसाधनों की व्यवस्था कैसे की गई, उनके निर्माण का जिम्मा किसने उठाया और उनको बनाने में कितना समय लगा। उन इमारतों के स्थापत्य या वास्तु शैली संबंधी आयामों का वर्णन करिए और औपनिवेशिक स्थापत्य से उनकी समानताओं या भिन्नताओं को चिन्हित कीजिए।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

Bihar Board Class 12 History औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य Additional Important Questions and Answers

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
18 वीं शताब्दी के नगरों में क्या परिवर्तन हुए?
उत्तर:
यूरोप, रोम और इटली की स्थापत्य शैली के भवन बनने लगे। बम्बई, मद्रास और कलकत्ता जैसे विशाल ग्राम्य-शहर विकसित हुए तथा परंपरागत शहरों का महत्त्व लगातार घटने लगा।

प्रश्न 2.
मदास, बम्बई और कलकत्ता में अंग्रेज कब बसे और बम्बई उनके अधिकार में कैसे आया?
उत्तर:
1639 में मद्रास तथा 1690 में कलकत्ता में। पुर्तगाली शासक ने अंग्रेज राजकुमार के साथ अपनी पुत्री का विवाह कराते समय बम्बई को दहेज में दिया।\

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प्रश्न 3.
भारत में जनगणना कब शुरू हुई?
उत्तर:

  1. अखिल भारतीय जनगणना का प्रथम प्रयास 1872 में किया गया।
  2. 1881 से दशकीय (प्रत्येक 10 साल बाद) जनगणना की एक नियमित व्यवस्था बन गई।

प्रश्न 4.
कस्बा और गंज में अंतर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:

  1. ग्रामीण इलाके के एक छोटे नगर को कस्बा कहा जाता है। यह सामान्यतः स्थानीय विशिष्ट व्यक्ति का केन्द्र होता है।
  2. एक छोटे स्थायी बाजार को गंज कहा जाता है।

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प्रश्न 5.
यूरोपीय व्यापारिक कम्पनियों ने अपने आधार कहाँ-कहाँ स्थापित किए? उनके क्या प्रभाव पड़े?
उत्तर:

  1. पुर्तगालियों ने 1510 में पणजी में, डचों ने 1605 में मछलीपट्टनम् में, अंग्रेजों ने मद्रास में 1639 में तथा फ्रांसीसियों ने 1973 में पांडिचेरी में अपने आधार स्थापित किए।
  2. इन आधारों में व्यापारिक गतिविधियाँ बढ़ी और इनके आसपास नगर विकसित होने लगे।

प्रश्न 6.
व्हाइट और ब्लैक टाउन में क्या अंतर था?
उत्तर:

  1. ये दोनों शब्द नस्ली-भेदभाव के प्रतीक थे। अंग्रेजों द्वारा उत्पन्न किया गया था। अंग्रेजों ने पुराने कस्बों के आसपास के खेतों और चरागाहों को साफ करवा कर ‘सिविल लाइन्स’ के नाम से आवासीय क्षेत्र बनवाए। इन क्षेत्रों को व्हाइट टाउन कहा गया।
  2. सिविल लाइन के अलावा अन्य क्षेत्रों को ब्लैक टाउन कहा गया। यहाँ भारतीयों के आवास थे परन्तु यहाँ रहन-सहन का स्तर व्हाइट टाउन से निम्न था।

प्रश्न 7.
1853 में रेलवे का आगमन होने के बाद आर्थिक गतिविधि के केन्द्र परम्परागत शहरों से दूर क्यों जाने लगे?
उत्तर:
विदेशी व्यापार बढ़ाने के लिए।

Bihar Board Class 12 History Solutions Chapter 12 औपनिवेशिक शहर : नगर, योजना , स्थापत्य

प्रश्न 8.
जनगणना के दो दोष बताइए।
उत्तर:

  1. जनगणना से आबादी के विषय में सामाजिक जानकारियाँ प्राप्त की जाती हैं, परन्तु आबादी को कई वर्गों में बाँटने के कारण ऐसी जानकारियाँ एकदम सही नहीं पाई जाती।
  2. लोगों द्वारा जनगणना के कर्मचारी को सही जानकारी का न दिया जाना।

प्रश्न 9.
मद्रास के नये ब्लैक टाउन की विशेषताएँ बताइये।
उत्तर:

  1. मद्रास का नया ब्लैक टाउन परम्परागत भारतीय शहरों जैसा ही था। वहाँ मन्दिर और बाजार के आसपास आवासीय मकान बनाये गये थे।
  2. मकान गलियों के किनारे स्थित थे। अलग-अलग गलियों में अलग-अलग जाति के लोग रहते थे। जैसे चिन्ताद्रीपेठ इलाका केवल बुनकरों के लिए था। वासरमेनपेठ में रंगसाज और धोबी रहते थे। रोयापुरम में ईसाई मल्लाह रहते थे जो कम्पनी के लिए काम करते थे।

प्रश्न 10.
औपनिवेशिक काल में यातायात के विकास का क्या प्रभाव पड़ा?
उत्तर:

  1. औपनिवेशिक काल में घोड़ा गाड़ी, ट्राम और बसों के रूप में यातायात का विकास हुआ। अब नगर के लोग केन्द्र से दूर जाकर भी बस सकते थे।
  2. समय के साथ काम करने और रहने की जगह दोनों एक-दूसरे से अलग होती गई। घर से कार्यालय या फैक्ट्री जाना आसान हो गया।

प्रश्न 11.
राइटर्स बिल्डिंग के बारे में आप क्या जानते हैं?
उत्तर:

  1. अंग्रेजों की ईस्ट इण्डिया कंपनी के मुख्य प्रशासकीय कार्यालय समुद्र तट से दूर बनाये गये। कलकत्ता में स्थित राइटर्स बिल्डिंग इसका उदाहरण था।
  2. यह अंग्रेजों का कार्यालय था। यहाँ राइटर्स का अर्थ क्लर्कों से था। यह ब्रिटिश शासन में नौकरशाही के बढ़ते कद का संकेत था।

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प्रश्न 12.
भारतीय नगरों में मजदूर वर्ग की क्या स्थिति थी?
उत्तर:

  1. भारतीय नगरों में मजदूर वर्ग के लोग अपने यूरोपीय और भारतीय स्वामियों के लिए खानसामा, पालकी वाहक, गाड़ीवान, चौकीदार, पोर्टर और निर्माण व गोदी मजदूर के रूप में विभिन्न सेवायें उपलब्ध कराते थे।
  2. वे शहर के विभिन्न इलाकों में कच्ची झोंपड़ियों में रहते थे।

प्रश्न 13.
छावनियों का क्या महत्त्व था?
उत्तर:

  1. छावनियाँ यूरोपीय लोगों के लिए एक सुरक्षित आश्रय स्थल था। इसके साथ भारतीय कस्बों की धनी और अव्यवस्थित बस्तियों के विपरीत व्यवस्थित शहरी जीवन का एक नमूना था।
  2. छावनियों को सुरक्षित स्थानों के रूप में विकसित किया गया। छावनियों में यूरोपीय कमान के अंतर्गत भारतीय सैनिक तैनात किये जाते थे। यहाँ चौड़ी सड़कें, बड़े बगीचे में बंगले, बैरक, परेड मैदान और चर्च आदि थे।

प्रश्न 14.
पहला हिल स्टेशन कब बना? हिल स्टेशन क्यों बनाये गये?
उत्तर:

  1. पहला हिल स्टेशन शिमला था जिसकी स्थापना गोरखा युद्ध (1815-16) के दौरान किया गया।
  2. हिल स्टेशन फौजियों को ठहरने, सरहद की चौकसी करने और दुश्मन के खिलाफ आक्रमण करने के लिए बनाये गये।

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प्रश्न 15.
बम्बई भारत का सरताज शहर कैसे बना?
उत्तर:

  1. 1861 ई. में यह कपास का मुख्य निर्यातक केन्द्र बन गया। इंग्लैण्ड में अमेरिकी गृह युद्ध के कारण वहाँ से कपास नहीं आती थी। इसलिए दक्कन की सारी कपास बम्बई बंदरगाह से भेजी जाती थी।
  2. 1869 में स्वेज नहर खुल गया जिससे विश्व अर्थव्यवस्था के साथ बम्बई के संबंध मजबूत हो गये। इससे बम्बई सरकार और भारतीय व्यापारियों को खूब लाभ हुआ और वह भारत का सरताज शहर बन गया।

प्रश्न 16.
वैलेंज्ली ने कलकत्ता मिनट्स (1803) में किन बातों की ओर ध्यान आकृष्ट किया?
उत्तर:

  1. यह सरकार की बुनियादी जिम्मेदारी है कि वह इस विशाल शहर (कलकत्ता) में सड़कों, नालियों और जलमार्गों में सुधार की समग्र व्यवस्था बनाये।
  2. मकानों तथा सार्वजनिक भवनों के निर्माण व प्रसार के विषय में स्थायी नियम बनाकर और हर प्रकार की गड़बड़ियों को नियंत्रित करने के लिए स्थायी नियम बनाये जिससे स्वास्थ्य, सुरक्षा और सुविधा मिल सके।

प्रश्न 17.
दुबाश लोग कौन थे?
उत्तर:

  1. ये लोग ब्लैक टाउन में रहते थे और स्थानीय भाषा और अंग्रेजी दोनों को बोलना जानते थे।
  2. वे एजेंट और व्यापारी के रूप में कार्य करते थे और भारतीय समाज और गाँवों के बीच मध्यस्थ की भूमिका निभाते थे। वे सम्पत्ति एकत्र करने के लिए सरकार में अपनी पहुँच का इस्तेमाल करते थे।

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प्रश्न 18.
कलकत्ता का निर्माण कैसे हुआ?
उत्तर:

  1. कलकत्ता को सुतानाती, कोलकाता और गोविन्दपुर नामक तीन गाँवों को मिलाकर बनाया।
  2. इन तीनों के सबसे दक्षिण में पड़ने वाले गोविन्दपुर गाँव की जमीन को साफ करने के लिए वहाँ के व्यापारियों और बुनकरों को हटाने का आदेश जारी कर दिया गया।

प्रश्न 19.
मद्रास (चेन्नई) प्रेसीडेंसी कैसे बनाई गई थी?
उत्तर:

  1. 1801 में लार्ड डलहौजी ने कर्नाटक के पिठू नवाब पर एक नई संधि लाद दी और उसे विवश किया कि वह पेंशन लेकर अपना राज्य कंपनी को सौंप दे।
  2. इस प्रकार मैसूर से मालाबार समेत जो क्षेत्र छीने गये थे, उनमें कर्नाटक को मिलाकर मद्रास प्रेसीडेंसी बनाई गई थी जो 1947 तक जारी रही।

प्रश्न 20.
मध्यकालीन दक्षिण भारत के शहरों की विशेषतायें बताइए।
उत्तर:

  1. दक्षिण भारत, मदुराई और कोचीपुरम् जैसे नगरों का मुख्य केन्द्र मंदिर होता था।
  2. ये नगर महत्त्वपूर्ण व्यापारिक केन्द्र थे।
  3. धार्मिक संस्थानों का सर्वोच्य अधिकारी और मुख्य संरक्षक प्रायः शासक होता था।
  4. धार्मिक त्यौहारों को प्रायः मेलों के रूप में मनाया जाता था।

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प्रश्न 21.
ग्रामीण इलाकों और कस्बों में क्या अंतर थे?
उत्तर:

  1. ग्रामीण अंचलों में लोग खेती, जंगलों से संग्रहण या पशुपालन द्वारा जीवन का निर्वाह करते थे। इसके विपरीत कस्बों में शिल्पकार, व्यापारी, प्रशासक तथा शासक आदि रहते थे।
  2. कस्बों और शहरों की किलेबंदी की जाती थी। यह किलेबंदी इन्हें ग्रामीण क्षेत्रों से अलग करती थी।

प्रश्न 22.
चाल से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:

  1. बम्बई में जगह की कमी और भीड़भाड़ को ध्यान में रखकर एक विशेष प्रकार की इमारतें बनवाई गई जिनको चाल कहा गया।
  2. ये बहुमंजिला इमारतें थीं। इनमें एक-एक कमरे वाली आवासीय इकाईयाँ बनाई जाती थीं। इमारत के सभी कमरों के सामने एक खुला बरामदा या गलियारा और बीच में दालान था।
  3. इस प्रकार की इमारतों में बहुत थोड़ी जगह में कई परिवारों के अनेक सदस्य रहते थे। इनके बीच सहयोग और भाईचारा था।

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प्रश्न 23.
बम्बई में व्हाइट ब्लाक में इमारतों की विशेषतायें बताइये।
उत्तर:

  1. यहाँ की इमारतें यूरोपीय शैली पर आधारित थीं। इनमें शाही प्रदर्शन दिखाई देता था। एक अनजान देश में जाना-पहचाना सा भूदृश्य रचने और उपनिवेश में भी घर जैसा महसूस करने की अंग्रेजों की चाह इस शैली से प्रतिबिम्बित होती थी।
  2. अंग्रेजों को प्रतीत होता था कि यूरोपीय शैली उनकी श्रेष्ठता, अधिकार और सत्ता की प्रतीक होगी।
  3. वे सोचते थे कि यूरोपीय ढंग की दिखने वाली इमारतों से औपनिवेशिक स्वामियों और भारतीय प्रजा के बीच फर्क और फासला साफ दिखने लगेगा।

प्रश्न 24.
नव गॉथिक शैली तथा इंडो सारसिनिक शैलियों के दो-दो भवनों का उदाहरण दीजिए।
उत्तर:

  1. नव गॉथिक शैली: यूनिवर्सिटी हाल, विक्टोरिया टर्मिनस।
  2. इंडो-सारसिनिक शैली: गेटवे आफ इंडिया, ताज महल होटल।

प्रश्न 25.
जनगणना में कौन सी कमियाँ थी?
उत्तर:

  1. जनगणना के आंकड़े किसी पूर्वाग्रह से प्रेरित हो सकते हैं।
  2. ये आंकड़े कई महत्त्वपूर्ण तथ्यों की जानकारी नहीं देते हैं। जिन तथ्यों की ये जानकारी देते हैं, हो सकता है कि वे भी सही न हों।

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प्रश्न 25.
19 वीं शताब्दी में बम्बई और कलकत्ता में उद्योगों की स्थापना के क्या कारण थे?
उत्तर:

  1. इन नगरों की जनसंख्या अधिक थी इसलिए यहाँ सस्ता श्रम उपलब्ध था।
  2. ये नगर रेलवे नेटवर्क द्वारा शेष भारत से जुड़े हुए थे। यहाँ देश के विभिन्न भागों से बड़ी मात्रा में निर्यात के लिए कच्चा माल आता था।

प्रश्न 26.
औपनिवेशिक काल में बम्बई, कलकत्ता तथा मद्रास में जनसंख्या वृद्धि के क्या कारण थे?
उत्तर:

  1. इन नगरों में रोजगार के अधिक अवसर थे।
  2. ये नगर प्रशासन और सत्ता के केन्द्र थे।
  3. इनमें नये भवनों तथा संस्थानों का विकास हुआ।

प्रश्न 27.
कलकत्ता की लॉटरी कमेटी (1817) क्या थी?
उत्तर:

  1. लॉटरी कमेटी लॉटरी बेचकर नगर नियोजन के लिए पैसा एकत्र करती थी।
  2. लार्ड वैलेज्ली के जाने के बाद कलकत्ता नगर के नियोजन का कार्य सरकार की सहायता से इसी कमेटी ने किया।

लघु उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
18 वीं शताब्दी की व्यापार व्यवस्था में क्या परिवर्तन हुए?
उत्तर:
18 वीं शताब्दी की व्यापार व्यवस्था में परिवर्तन –

  1. मुगल साम्राज्य के अधि कारियों ने कस्बे और गंज की स्थापना की। इन शहरी केंद्रों में यूरोपीय कंपनियों ने भी धाक जमा ली। इनमें पुर्तगाली, डच, अंग्रेजी और फ्रांसीसी मुख्य थे।
  2. यहाँ व्यापारिक केन्द्रों के साथ-साथ नगर भी विकसित किये गये।
  3. भारत में पूँजीवाद और वाणिज्यवाद को बढ़ावा मिलने लगा। मध्यकालीन शहरों यथा-लाहौर, दिल्ली तथा आगरा का महत्त्व कम होने लगा।
  4. प्लासी युद्ध के पश्चात् अंग्रेजी व्यापार में वृद्धि हुई और मद्रास, कलकत्ता और बम्बई जैसे शहर आर्थिक राजधानियों के रूप में स्थापित हुए।

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प्रश्न 2.
औपनिवेशिक काल की जनगणना में क्या दोष थे?
उत्तर:

  1. जनगणना के द्वारा समसामयिक सामाजिक जानकारियाँ प्राप्त की जाती हैं परन्तु अनेक लोग इस प्रक्रिया में मदद नहीं देते थे या जनगणना आयुक्तों को गलत जवाब देते थे।
  2. ऊँची जाति के लोग अपने घर की औरतों के बारे में जानकारी देने से हिचकते थे। उनके बारे में सार्वजनिक दृष्टि या सार्वजनिक जाँच को सही नहीं माना जाता था।
  3. शहरों के लोग अपनी पहचान वास्तविक से ऊँची हैसियत की देते थे। फेरी लगाने वाले या काम न रहने पर मजदूरी करने वाले लोग जनगणना कर्मचारी को यह बताते थे कि वे व्यापारी हैं।
  4. मृत्युदर और बीमारियों से संबंधित आंकड़ों को एकत्र करना भी असंभव था। क्योंकि लोग इसकी सूचना नहीं देते थे।
  5. इतिहासकारों को जनगणना जैसे स्रोतों का भारी एहतियात से इस्तेमाल करना पड़ता है और आंकड़ों की सावधानी से जॉच करनी पड़ती है।

प्रश्न 3.
नक्शों के गुण-दोषों की चर्चा कीजिए।
उत्तर:
नक्शे के गुण-दोष:

  1. सर्वेक्षण पद्धतियों और वैज्ञानिक औजारों के विकास तथा ब्रिटिश सरकार की आवश्यकताओं ने मानचित्रों की बड़ी सावधानी के साथ तैयार करने पर बल दिया।
  2. सर्वे ऑफ इंडिया (भारत सर्वेक्षण) द्वारा अनेक नक्शे बनाये गये। इसका गठन 1878 ई. में हुआ। उसक समय तैयार किये गये नक्शों से हमें पर्याप्त जानकारी मिलती है।
  3. नक्शों से अंग्रेज शासकों की सोच में निहित भेदभाव भी उजागर हो जाता है। उदाहरण के लिए-शहर में गरीबों की बड़ी-बड़ी बस्तियों को नक्शे पर चिन्हित नहीं किया गया क्योंकि शासकों के लिए ये महत्त्वहीन थे।
  4. इससे यह भी ज्ञात हुआ कि नक्शे पर मौजूद रिक्त स्थान अन्य विकास योजनाओं के लिए उपलब्ध हैं।

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प्रश्न 4.
19 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध में औपनिवेशिक शहरों के स्वरूप में क्या बदलाव आया?
उत्तर:
19 वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध में औपनिवेशिक शहरों के स्वरूप में बदलाव –

  1. 1857 के विद्रोह के पश्चात् अंग्रेज भारतीयों से आशंकित रहने लगे। उन्होंने वे अपनी बस्तियाँ अलग बनाने का निश्चय किया।
  2. पुराने कस्बों के आसपास मौजूद चरागाहों और खेतों को साफ कर दिया गया और सिविल लाइन्स नाम से नए शहरी इलाके विकसित किये गये। यहाँ केवल गोरों को बसाया गया।
  3. छावनियों को सुरक्षित स्थानों के रूप में विकसित किया गया। यहाँ यूरोपीय कमान के अंतर्गत भारतीय सैनिक तैनात किये गये। ये मुख्य शहर से जुड़े थे और यूरोपीयों के लिए पूर्णतः सुरक्षित स्थान थे।
  4. सिविल लाइन्स को स्वास्थ्यप्रद बनाया गया।

पश्न 5.
औपनिवेशिक भारत में उद्योगों के विकास की स्थिति को स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
भारत में औद्योगिक विकास की स्थिति –

  1. रेलवे नेटवर्क का विस्तार होने पर अनेक शहर बंदरगाहों से जुड़ गये।
  2. कई शहरों में कच्चा माल और सस्ते श्रमिकों का आवागमन आसान हो गया और फलस्वरूप वहाँ कारखाने लगाए जाने लगे।
  3. 1850 के दशक के बाद भारतीय व्यापारियों और उद्यमियों ने बम्बई में सूती कपड़ा मिलें लगाईं। कलकत्ता के बाहरी इलाकों में यूरोपियों के स्वामित्व वाली जूट मिलें खोली गईं। यह भारत में आधुनिक उद्योगों के विकास की शुरूआत थी।
  4. यद्यपि कलकत्ता, बम्बई और मद्रास आर्थिक दृष्टि से मजबूत हो चुके थे परन्तु उनकी अर्थव्यवस्था मुख्य रूप से फैक्टरी उत्पादन पर आधारित नहीं थी। यहाँ की अधिकांश आबादी तृतीयक व्यवसाय में लगी थी। कानपुर और जमशेदपुर ही औद्योगिक नगरों की गिनती में थे।

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प्रश्न 6.
औपनिवेशिक शासन में हिल स्टेशनों की स्थापना क्यों की गई?
उत्तर:
हिल स्टेशनों की स्थापना के कारण –

  1. ये हिल स्टेशन फौजियों को ठहराने, उनका ईलाज करवाने, सीमा की देख-रेख करने और शत्रु पर आक्रमण करने के लिए महत्त्वपूर्ण स्थान थे।
  2. हिल स्टेशनों की जलवायु इंग्लैण्ड की जलवायु जैसी ठंडी और मृदु थी।
  3. गर्म मौसम में बीमार होने के भय से वे इन हिल स्टेशनों में समय बिताना आवश्यक समझते थे।
  4. इन हिल स्टेशनों को सेनेटोरियम के रूप में भी विकसित किया गया। सिपाहियों को यहाँ विश्राम करने और इलाज करने के लिए भेजा जाता था।
  5. हिल स्टेशन ऐसे अंग्रेजों और यूरोपियनों के लिए भी आदर्श स्थान थे जो अपने घर जैसी मिलती-जुलती बस्तियाँ बसाना चाहते थे। उनकी इमारतें यूरोपीय शैली की होती थीं।

प्रश्न 7.
अंग्रेजों ने भारत में सफाई एवं स्वच्छता पर क्यों ध्यान दिया?
उत्तर:
अंग्रेजों द्वारा भारत में सफाई एवं स्वच्छता पर ध्यान देने के कारण –

  1. ब्लैक टाउन प्रायः गंदे रहने के कारण वहाँ प्लेग और हैजा जैसी फैली और हजारों लोगों की मृत्यु हो गई।
  2. ब्रिटिश अधिकारियों को भय था कि कहीं ये बीमारियाँ ब्लैक टाउन से व्हाइट टाउन में न फैल जाएँ।

प्रश्न 8.
औपनिवेशिक शहरों में कामगारों या श्रमिकों की स्थिति का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
औपनिवेशिक शहरों में कामगारों की स्थिति –

  1. ग्रामीण क्षेत्रों में गरीब और बेरोजगार लोग काम की खोज में शहरों की ओर कूच कर रहे थे।
  2. कुछ लोगों को शहरं में नए अवसरों का स्रोत दिखाई दे रहा था जबकि कुछ अन्य को एक भिन्न जीवन शैली का आकर्षण खींच रहा था।
  3. शहर में खर्च की लागत को कम करने के लिए अधिकांश पुरुष प्रवासी अपना परिवार गाँव में छोड़कर आते थे।
  4. शहर की जिंदगी मजदूरों के लिए संघर्षपूर्ण थी। नौकरी अस्थाई थी, खाना महंगा था और आवास का खर्च उठाना मुश्किल था। इन कठिनाइयों के बावजूद कामगारों ने वहाँ प्रायः अपनी एक अलग जीवंत शहरी संस्कृति रच ली थी।
  5. वे धार्मिक त्यौहारों, तमाशों और स्वांग आदि में उत्साहपूर्वक हिस्सा लेते थे जिनमें प्रायः उनके भारतीय और यूरोपीय मालिकों का मजाक उड़ाया जाता था।

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प्रश्न 9.
नए शहरों में औरतों के सामाजिक बदलाव का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
नए शहरों के महिला समाज में बदलाव –

  1. शहरों में औरतों को नये अवसर प्राप्त हुए। पत्र-पत्रिकाओं, आत्मकथाओं और पुस्तकों के माध्यम से मध्यवर्गीय औरतें खुद को अभिव्यक्त करने का प्रयास कर रही थीं।
  2. अब औरतें परम्परा से हटकर कार्य कर रही थीं। रूढ़िवादियों को यह भय सताने लगा कि इससे पुरुषों का अस्तित्व खतरे में पड़ सकता है।
  3. यहाँ तक कि सुधारक भी औरतों की शिक्षा के समर्थक होने के बावजूद उन्हें उच्च शिक्षित नहीं देखना चाहते थे। वे औरतों को माँ और पत्नी की परम्परागत भूमिका में देखना चाहते थे और उनका घर से बाहर निकलना उनके लिए गंवारा नहीं था।
  4. आगे चलकर सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं की उपस्थिति बढ़ने लगी। वे फैक्ट्री मजदूर, नौकरानी, शिक्षिका, रंगकर्मी और फिल्म कलाकार के रूप में शहर के नए व्यवसायों में दाखिल होने लगी।

प्रश्न 10.
गारेर मठ क्या था? इसका क्या महत्त्व था?
उत्तर:
गारेर मठ:

  1. कलकत्ता में नवनिर्मित फोर्ट विलियम के आसपास एक विशाल जगह छोड़ दी गई जिसे स्थानीय लोग मैदान या गारेर मठ कहने लगे थे।
  2. खाली मैदान रखने का उद्देश्य यह था कि अगर शत्रु की सेना किले की ओर बढ़े तो उस पर किले से बिना किसी बाधा के गोलीबारी की जा सके।
  3. जब कलकत्ता में अंग्रेजों की स्थिति मजबूत हो गयी तो वे फोर्ट से बाहर मैदान के किनारे पर आवासीय इमारतें बनाने लगे।
  4. फोर्ट के आस-पास की विशाल खुली जगह (जो अभी भी मौजूद है) यहाँ की एक पहचान बन गई। यह कलकत्ता में नगर नियोजन की दृष्टि से प्रथम उल्लेखनीय काम था।

प्रश्न 11.
मद्रास में कौन-कौन से समुदाय आकर बस गये?
उत्तर:
मदास में बसने वाले समुदाय:
मद्रास में विविध समुदाय बसे थे जो निम्नलिखित हैं:

  1. दुबाश: ये ऐसे भारतीय थे जो स्थानीय भाषा और अंग्रेजी दोनों बोलना जानते थे। वे एजेंट और व्यापारी के रूप में काम करते थे और भारतीय समाज व गोरों के बीच मध्यस्थ की भूमिका निभाते थे।
  2. वेल्लालार: यह एक स्थानीय ग्रामीण जाति थी। इसने ब्रिटिश शासन के मौकों का लाभ उठाया।
  3. तेलुगु कोमाटी समुदाय: यह एक ताकतवर व्यावसायिक समूह था। इसका शहर की अनाज व्यवस्था पर नियंत्रण था।
  4. पेरियार और वन्नियार: यह गरीब कामगार वर्ग था। ये मुस्लिम आबादी के मुख्य केन्द्र थे।

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प्रश्न 12.
मद्रास में व्हाइट टाउन की प्रमुख विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
मद्रास में व्हाइट टाउन की प्रमुख विशेषताएँ –

  1. मद्रास में व्हाइट टाउन सेंट जार्ज किले के आस-पास केन्द्रित था। वहाँ अधिक यूरोपीय रहते थे।
  2. दीवारों और बुओं से इसे एक खास किस्म की घेरेबंदी का रूप दे दिया गया था।
  3. किले के भीतर निवास करने का निर्णय रंग और धर्म के आधार पर किया जाता था। कंपनी के लोगों को भारतीयों के साथ विवाह करने की अनुमति नहीं थी।
  4. यूरोपीय ईसाई होने के कारण डच और पुर्तगालियों को वहाँ रहने की छूट थी। प्रशासकीय और न्यायिक व्यवस्था की संरचना भी गोरों के पक्ष में थी।
  5. संख्या की दृष्टि से कम होते हुए भी यूरोपीय लोग शासक थे और मद्रास का विकास शहर में रहने वाले नाम-मात्र की जरूरतों और सुविधाओं के अनुसार किया जा रहा था।

प्रश्न 13.
भवन निर्माण की नव-गॉथिक शैली की क्या विशिष्टताएँ थी?
उत्तर:
नव-गॉथिक शैली की विशेषताएँ:

  1. इसमें ऊँची उठी हुई छतें, नोकदार मेहराबें और बारीक साज-सज्जा होती थी।
  2. इस शैली का जन्म इमारतों में विशेषरूप से गिरिजाघरों से हुआ था। ये गिरिजाघर मध्यकाल में उत्तरी यूरोप में बनाए गए थे।
  3. नव-गॉथिक शैली को इंग्लैण्ड में 19वीं सदी के मध्य में दोबारा अपनाया गया।
  4. औपनिवेशिक सरकार ने बम्बई में बुनियादी ढाँचे का निर्माण करवाते समय इसी शैली को चुना।
  5. इस शैली में निर्मित इमारतें बम्बई का सचिवालय, बम्बई विश्वविद्यालय और उच्च न्यायालय हैं।

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प्रश्न 14.
अंग्रेज उपनिवेश बनाने का खर्च भारत से उगाहते थे उदाहरण सहित समझाइये।
उत्तर:
उपनिवेश बनाने का खर्च:
ब्रिटिश कम्पनी का भारत में शासन करने का उद्देश्य यहाँ की संपदा और संसाधनों के शोषण करने का था। वह आरम्भ से ही इस नीति पर आश्रित थी कि भारतीय उन्हें इस देश को जीतने का खर्च स्वयं दें। उदाहरण के लिए कम्पनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स ने 1683 में मद्रास के अधिकारियों को लिखा-‘हमारी इच्छा है कि आप धीरे-धीरे नगर (मद्रास) को किलाबंद करें और किले को इतना मजबूत बनाएँ कि वह किसी भारतीय राजा या भारत में डच शक्ति के आक्रमण के सामने अडिग रहे। हम आप से यह भी चाहते हैं कि आप अपना काम इस प्रकार जारी रखें कि नगर निवासी ही सारी मरम्मत और किलाबंदी का खर्च उठायें।

प्रश्न 15.
औपनिवेशिक काल में लॉटरी कमेटी का क्या महत्त्व था?
उत्तर:
औपनिवेशिक काल में लॉटरी कमेटी –

  1. कलकत्ता में नगर नियोजन के कार्य को बढ़ावा देने के लिए सरकार की लॉटरी कमेटी की सहायता ली गई।
  2. लॉटरी कमेटी का यह नाम इसलिए पड़ा क्योंकि नगर सुधार के लिए पैसे की व्यवस्था जनता के बीच लॉटरी बेचकर की जाती थी।
  3. वस्तुतः शहर के विकास के लिए धन की व्यवस्था करना नागरिकों की जिम्मेदारी मानी जाती थी न कि सरकार की। इसलिए लॉटरी कमेटी की स्थापना की गई।
  4. लॉटरी कमेटी की प्रमुख गतिविधियों में शहर के हिन्दुस्तानी आबादी वाले हिस्से में सड़क निर्माण और नदी किनारे ‘अवैध कब्जे’ हटाने जैसे कार्य शामिल थे।

प्रश्न 16.
16 वीं तथा 17 वीं शताब्दियों में मुगलों द्वारा बसाये गए शहरों की महत्त्वपूर्ण विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
16 वीं तथा 17 वीं शताब्दियों में मुगलों द्वारा बसाये गए शहरों की महत्त्वपूर्ण विशेषताएँ –

  1. 16 वीं तथा 17 वीं शताब्दियों में मुगलों द्वारा बसाये गए शहरों में घनी जनसंख्या थी।
  2. यहाँ के विशाल भवन और पुष्पों के बाग शाही समृद्धि के द्योतक थे।
  3. आगरा, दिल्ली और लाहौर शाही प्रशासन तथा सत्ता के महत्त्वपूर्ण केन्द्र थे। साम्राज्य के भिन्न-भिन्न क्षेत्रों में रहने वाले मनसबदारों और जागीरदारों का इन सत्ता केन्द्रों में आवास निर्माण करना उनकी प्रतिष्ठा का मानक था।
  4. इन नगरों के शिल्पकार कुलीनवर्ग के परिवारों के लिए विशेष प्रकार के हस्तशिल्प का उत्पादन करते थे। शहर के बाजारों में ग्रामीण अंचलों से निवासियों और सेना के लिए अनाज लाया जाता था।
  5. राजकोष भी शाही राजधानी में ही स्थित था इसलिए राज्य का राजस्व नियमित रूप से राजधानी में ही आता रहता था।
  6. सम्राट एक किलेबंद महल में रहता था और नगर एक दीवार से घिरा था। इसमें अलग-अलग द्वारों से आवागमन पर नियंत्रण रखा जाता था।

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प्रश्न 17.
रेलवे के आरम्भ से शहरीकरण की प्रक्रिया किस प्रकार तेज हुई?
उत्तर:
रेलवे और शहरीकरण की प्रक्रिया –

  1. अंग्रेजों के लिए इस देश से कच्चा माल ले जाना सुगम हो गया क्योंकि रेलमार्ग उत्पादन केन्द्रों को मुख्य बन्दरगाहों से जोड़ते थे।
  2. रेलमार्गों के विकास के कारण कम्पनी के आयात और निर्यात व्यापार को बढ़ावा मिला।
  3. रेलमार्गों के कारण ही अंग्रेजी प्रशासन में दृढ़ता आई और अंग्रेजों के लिए भारत पर शासन करना सरल हो गया। अब सैनिकों को शीघ्र तथा सुरक्षापूर्वक एक स्थान से दूसरे स्थान पर भेजा जा सकता था।
  4. अंग्रेजों के लिए उत्तरी-पश्चिमी भारत पर अधिकार दृढ़ करना सरल हो गया।
  5. रेलों के आरम्भ होने से आधुनिक उद्योग स्थापित करने में सुविधा रही।

प्रश्न 18.
उत्तर-पूर्वी राज्यों को हिल स्टेशनों की खानें क्यों कहा जाता है?
उत्तर:

  1. उत्तर: पूर्वी राज्यों में अरुणाचल प्रदेश, असम, मणिपुर, मेघालय, त्रिपुरा तथा मिजोरम आते हैं, जो पहाड़ियों से भरे पड़े हैं।
  2. ये अधिकांश राज्य बहुत सुन्दर प्राकृतिक दृश्यों से घिरे हैं। यहाँ कई छोटी-छोटी नदियाँ, झरने और सुन्दर वन हैं।
  3. यहाँ कई प्रकार के जंगली पशु-पक्षी मिलते हैं।
  4. इन दृश्यों में देशी और विदेशी दोनों प्रकार के पर्यटकों को आकर्षित करने की क्षमता है।
  5. जम्मू-कश्मीर राज्य भी अपने रमणीक स्वास्थ्यवर्धक स्थलों और घाटियों के लिए प्रसिद्ध है।

प्रश्न 19.
“ब्रिटिश सरकार ने अपनी जाति श्रेष्ठता जताने के लिए सोच समझकर मद्रास शहर का विकास किया।” उचित तर्क देकर इस कथन की पुष्टि कीजिए।
उत्तर:

  1. मद्रास के किले में रहने का निर्णय रंग और धर्म के आधार पर लिया जाता था।
  2. कंपनी के लोगों को भारतीयों के साथ विवाह करने की अनुमति नहीं थी। यूरोपीय ईसाई होने के कारण डचों और पुर्तगालियों को वहाँ रहने की छूट थी।
  3. फोर्ट सेंट जार्ज, व्हाइट टाउन का केन्द्र बन गया। वहाँ अधिकतर यूरोपीय रहते थे। दीवारों और बुजों ने इसे एक विशेष प्रकार की घेरेबंदी प्रदान की।
  4. मद्रास का विकास वहाँ रहने वाले मुट्ठी भर गोरों की आवश्यकताओं और सुविधाओं को ध्यान में रखकर किया गया था।
  5. ब्लैक टाउन का विकास किले के बाहर हुआ था। इस आबादी को भी सीधी पहाड़ियों में बसाया गया था जो कि औपनिवेशिक शहरों की मुख्य विशेषता थी।
  6. प्रशासकीय और न्यायिक व्यवस्था भी गोरों के पक्ष में थी। संख्या की दृष्टि से कम होते हुए भी यूरोपीय लोग शासक थे।

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प्रश्न 20.
बम्बई के सार्वजनिक भवनों के निर्माण में अंग्रेजों द्वारा प्रयोग में लाई गई किन्हीं दो वास्तुकला शैलियों का वर्णन कीजिए। प्रत्येक का एक उदाहरण दीजिए।
उत्तर:
बम्बई के सार्वजनिक भवनों के निर्माण में अंग्रेजों द्वारा प्रयोग में लाई गई दो मुख्य शैलियाँ निम्नलिखित हैं –

  1. नव शास्त्रीय शैली (New Classic Style)
  2. गॉथिक शैली (Gothic Style)

1. नव शास्त्रीय शैली:
इस शैली में बड़े-बड़े स्तम्भों के पीछे रेखागणितीय संरचनायों का निर्माण किया जाता था। इस शैली का उद्भव मूल रूप से प्राचीन रोम की भवन निर्माण शैली से हुआ था। भारत में ब्रिटिश साम्राज्य के लिए उसे विशेष रूप से अनुकूल माना जाता था। 1833 ई. में बम्बई का टाउन हॉल इसी शैली के अनुसार बनाया गया था। 1860 के दशक में बनाई गयी अनेक व्यावसायिक इमारतों के समूह को एल्फिस्टन सर्कल कहा जाता था। बाद में इसका नाम बदलकर हॉर्निमान सर्कल रख दिया गया था।

2. गॉथिक शैली:
गॉथिक शैली का जन्म विशेष रूप से मध्यकालीन गिरजाघर से हुआ था। इस शैली को इंग्लैंड में 19 वीं शताब्दी के मध्य में दोबारा अपनाया था। इस शैली की इमारतों में ऊँची उठी हुई छतें, नोकदार मेहराबें और बारीक साज सज्जा दिखाई पड़ती है। सचिवालय, बम्बई विश्वविद्यालय और उच्च न्यायालय जैसी कई शानदार इमारतें इसी शैली में बनाई गईं।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
कलकत्ता के विकास का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
कलकत्ता (कोलकाता) का वर्णन:

  • कलकत्ता शहर तीन गाँवों सूतानाती, कोलकाता और गोविंदपुर को मिला कर बनाया गया था।
  • अंग्रेजों ने अनेक क्षेत्रों के पुराने बुनकरों और कारीगरों को हटने का आदेश दिया। शहर के मध्य नये बनाये गये फोर्ट विलियम के आस-पास के विशाल मैदान को खाली जगह के रूप में छोड़ दिया गया।
  • लार्ड वैलेज्ली ने 18वीं शताब्दी के अन्तिम वर्षों में अपने लिए गवर्नमेंट हाउस के नाम एक विशाल महल बनवाया जो अंग्रेजी सत्ता का प्रतीक माना जाने लगा।
  • वैलेन्ली कलकत्ता के आस-पास के जंगलों, गंदे तालाबों, जल निकासी की खस्ता हालात और बदबू फैलाने वाले गंदे पानी के ठहराव को देखकर बहुत चिंतित हो गया था। इसलिए स्वच्छता की दृष्टि शहर के बीचों-बीच में खुले स्थान छोड़े गये।
  • अनेक बाजारों, घाटों, कब्रिस्तानों और चमड़े साफ करने की इकाइयों को हटा दिया गया।
  • शहर को साफ करने के लिए 1817 में ‘लाटरी कमेटी’ का गठन किया गया। इस कमेटी ने शहर में स्वास्थ्य और सफाई के लिए एक नया नक्शा बनवाया।
  • सड़क निर्माण और अवैध बस्तियों को हटाने का कार्य शुरू किया गया।
  • भयंकर बीमारियों के दिनों में सरकार ने बड़ी मात्रा में स्वास्थ्य सुविधायें प्रदान करके कलकत्तावासियों की सहायता की।
  • जिन बस्तियों में सूर्य की रोशनी और साँस लेने के लिए हवा का प्रबंध नहीं था। वहाँ गंदे बस्तियों को उखाड़ फेंकने का कार्य किया गया।
  • तीनों औपनिवेशिक शहरों में नियोजन कार्य के अंतर्गत विशाल और भव्य इमारतें बनाई गईं।
  • राइटर्स नाम बिल्डिंग अंग्रेजों द्वारा कलकत्ता में बनाई गई। मूल रूप से उसे ईस्ट इंडिया कंपनी के नौकरों के लिए बनाया गया था ताकि जब वे भारत में आएँ तो उन्हें इसमें ठहराया जा सके। बाद में इसका उपयोग प्रशासनिक कार्यालय के रूप में किया जाने लगा।
  • कोलकाता महानगर विकास प्राधिकरण (Calcutta Mahanagar Development Authority) के 1600 करोड़ रुपये की लागत वाले कोलकाता वृहत् नगर कार्यक्रम पर काम चल रहा है। इन योजनाओं में 1267.35 करोड़ रुपये का निवेश होने का अनुमान है। इनमें से 18 परियोजनायें पूर्ण हो चुकी हैं।

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प्रश्न 2.
बम्बई या मुम्बई नगर के विकास का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
बम्बई या मुम्बई नगर का विकास:
वर्तमान मुम्बई का नाम मुंबादेवी के नाम से लिया गया है। यह नगर सात द्वीपों को मिलाकर विकसित हुआ है। ऐसा कहा जाता है कि मुंबई में सबसे पहले व्यापारी तथा कृषक, चौदहवीं शताब्दी के मध्य में आकर बसे। ऐलीफेंटा की गुफाएँ तथा बालेश्वर मंदिर के भवन का एक भाग इसी काल में बनाए गए थे।

भारत में पुर्तगाली बस्तियों के राज्यपाल फ्रांसिस अल्मेड़ा (Francis Almeda) ने 1534 ई. में गुजरात के शासक बहादुरशाह से मुंबई के मुख्य द्वीप छीन लिए थे। उसने बेंसिन (Bassein) के स्थान पर एक दुर्ग बनाया। बांद्रा में सेंट एंड्रयू चर्च भी इसी काल में बनाया गया था। 1961 ई. में इंग्लैण्ड के सम्राट चार्ल्स द्वितीय को मुंबई द्वीप पुर्तगाल की राजकुमारी के साथ विवाह में दहेज स्वरूप मिला।

चार्ल्स द्वितीय ने इसको ईस्ट इंडिया कंपनी को दे दिया था। ईस्ट इंडिया कंपनी ने जार्ज ओक्सेंडन को मुंबई नगर का प्रथम राज्यपाल (Governor) नियुक्त किया। मुंबई के दूसरे गवर्नर गेरॉल्ड गियर (Gerald Aungier) ने इस द्वीप को एक व्यापारिक केंद्र के रूप में विकसित किया। उसने निपुण श्रमिकों तथा व्यापारियों को इस ब्रिटिश बस्ती में बसने के लिए कई रियायतें प्रदान की। इन अवसरों का लाभ, गुजराती, पारसी, बोहरा, यहूदी तथा सूरत तथा डियू (Dew) जैसे भारतीय बनिया वर्ग ने लिया। मुंबई की जनसंख्या 1661 में 10,000 से बढ़कर 1675 ई. में 60,000 हो गई।

अंग्रेजों ने 1817 ई. में मराठों पर विजय पाने के पश्चात् मुंबई में बड़े पैमाने पर भूमि का सुधार करके उद्योग स्थापित किए। 1784 से लेकर 1845 तक का काल मुंबई के विकास का स्वर्ण काल था जब इन साठ वर्षों में सात द्वीपों को जोड़कर इसको एक महानगर बना दिया गया। इस काल में एक नियमित नागरिक प्रशासन स्थापित किया गया। 1853 ई. में थाणे और मुंबई के बीच 36 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन का उद्घाटन किया गया। यह भारत में सबसे पहली रेलवे लाइन थी। इसके चार वर्ष पश्चात् मुंबई में पहली कपड़ा मिल की स्थापना की गई। इन कपड़ा मिलों के स्थापित होने से बहुसंख्या में मराठी श्रमिक मुंबई की (slums) में बस गए। अब नगर ने एक निश्चित आकार ले लिया था।

1857 ई. में भारतीयों ने अंग्रेजों के विरुद्ध विद्रोह कर दिया परन्तु उनका निर्दयता से दमन कर दिया गया। चार्ल्स फोरजेट (Charles Forjett) ने बहुसंख्यक भारतीयों को यह झूठा आरोप लगाकर गिरफ्तार कर लिया कि उन्होंने दिवाली के अवसर पर मुंबई को बम से उड़ाने का षड्यंत्र बनाया था। कुछ निर्दोष लोगों को तोप से उड़ा दिया गया।

1861 ई. में अमेरिका में गृह युद्ध छिड़ जाने तथा 1869 में स्वेज नहर के खुल जाने से मुंबई से कपास आदि के निर्यात से मुंबई मुख्य व्यापारिक केन्द्र बन गया। The Great Indian Peninsular Railway के बनने से भारत में यात्रा करना आसान हो गया। नगर में व्यापार तथा संचार के साधनों का जाल फैल जाने से मगर समृद्ध होता गया। सरकार ने इस नगर में फ्लोरा फाऊंटेन, विक्टोरिया टर्मिनस स्टेशन (अब छत्रपति शिवाजी) जैसे भवन और हैंगिंग गार्डन तथा झीलें बनवाई।

1872 ई. में मुंबई नगरपालिका की स्थापना की गई। 1890 ई० में प्लेग फैला और उसने कई लोगों की जाने ले ली। नगर में एक ओर सरकार की सत्ता का प्रदर्शन है परंतु दूसरी ओर साधारण लोगों की दुर्दशा आज भी दिखाई देती है।

श्रमिक वर्ग के लोगों को आवासीय मकानों की समस्या का सामना करना पड़ा है। मिलों से काम करने वाले श्रमिकों के परिवार गाँवों में और वे महानगर में अपनी आजीविका कमाते आरंभ में मिल मालिकों ने अपने कारखानों के निकट बस्तियाँ स्थापित करके मजदूरों के रहने का प्रबंध किया। सेना के बैरकों की भांति प्रत्येक भवन में तीन मंजिली इमारतें होती थीं। प्रत्येक मंजिल में एक कमरा प्रति मजदूर रहने के लिए दिया जाता था तथा उनका एक साझा शौचालय होता था।

कई बार कई चालों का समूह एक खुले आंगन के इर्द-गिर्द बना होता था। इन चालों के समूह को बाड़ी (Wadi) कहते थे। नगर में मिलों की संख्या बढ़ जाने और मजदूरों के परिवार भी यहाँ आने के कारण चालों में रहने वाले लोगों की संख्या बहुत बढ़ गई। इसके साथ-साथ मिलों के इर्द-गिर्द गंदी बस्तियाँ भी अस्तित्व में आ गई। 1864 ई० में मुंबई के गवर्नर वार्टल फ्रेयर (Bartel Frere) ने मुंबई दुर्ग के बड़े-बड़े कमरों को गिरवा दिया। अब खंडहर सेंट जार्ज अस्पताल के पास इन कमरों के खण्डहर दिखाई पड़ते हैं। इन सबको तोड़कर बड़े-बड़े भवन बनाये गये जो नगर का केन्द्रीय भाग हैं। 20 वीं शताब्दी के आरम्भ से प्राकृतिक आपदाओं से लोगों को बचाने के लिए विशेष उपाय किये गए।

वस्तुनिष्ठ प्रश्न एवं उनके उत्तर

प्रश्न 1.
निम्नलिखित में कौन महानगर नहीं है?
(अ) मद्रास
(ब) कलकत्ता
(स) बम्बई
(द) इलाहाबाद
उत्तर:
(द) इलाहाबाद

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प्रश्न 2.
मद्रास, कलकत्ता तथा बम्बई तीनों शहरों की एक सामान्य विशेषता क्या थी?
(अ) तीनों, शहर ब्रिटिश राज की राजधानियां थी
(ब) तीनों शहरों के लोग केवल अंग्रेजी भाषा-भाषी थे
(स) तीनों शहर मूलतः मत्स्य संग्रहण तथा बुनकरों के गाँव थे
(द) तीनों शहर विदेशी टकराव केन्द्र रहे हैं
उत्तर:
(स) तीनों शहर मूलतः मत्स्य संग्रहण तथा बुनकरों के गाँव थे

प्रश्न 3.
शाहजहाँ नाबाद को किसने बसाया था?
(अ) अकबर ने
(ब) जहाँगीर ने
(स) शाहजहाँ ने
(द) औरंगजेब ने
उत्तर:
(स) शाहजहाँ ने

प्रश्न 4.
1857 के विद्रोह के पूर्व दिल्ली के कोतवाल कौन थे?
(अ) गंगाधर नेहरू
(ब) मोतीलाल नेहरू
(स) अरुण नेहरू
(द) जवाहर लाल नेहरू
उत्तर:
(अ) गंगाधर नेहरू

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प्रश्न 5.
ब्रिटिश काल में पहला हिल स्टेशन किसे बनाया गया था?
(अ) शिमला
(ब) दार्जिलिंग
(स) नैनीताल
(द) मनाली
उत्तर:
(अ) शिमला

प्रश्न 6.
निम्नलिखित में कौन औपनिवेशिक काल का नहीं है?
(अ) इंडिया गेट
(ब) अजमेरी गेट
(स) तुर्कमान गेट
(द) दिल्ली गेट
उत्तर:
(अ) इंडिया गेट

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प्रश्न 7.
शाहजहाँनाबाद कहाँ था?
(अ) कलकत्ता
(ब) दिल्ली
(स) मुम्बई
(द) मद्रास (चेन्नई)
उत्तर:
(ब) दिल्ली

प्रश्न 8.
निम्नलिखित में दिल्ली का कोतवाल कौन था?
(अ) गंगाधर नेहरू
(ब) मोतीलाल नेहरू
(स) जवाहरलाल नेहरू
(द) इंदिरा गाँधी
उत्तर:
(अ) गंगाधर नेहरू

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प्रश्न 9.
भारत में जनगणना कब नहीं हुई?
(अ) 1972
(ब) 1981
(स) 1991
(द) 1993
उत्तर:
(द) 1993

प्रश्न 10.
भारत में रेलवे की शुरुआत कब हुई?
(अ) 1853
(ब) 1852
(स) 1851
(द) 1850
उत्तर:
(अ) 1853

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प्रश्न 11.
निम्नलिखित में कौन-सा फोर्ट (किला) ब्रिटिश काल का नहीं है?
(अ) फोर्ट सेंट जार्ज (मद्रास)
(ब) फोर्ट विलियम (कलकत्ता)
(स) फोर्ट (बम्बई)
(द) रेड फोर्ट (दिल्ली)
उत्तर:
(द) रेड फोर्ट (दिल्ली)

प्रश्न 12.
पहला हिल स्टेशन शिमला कब स्थापित हुआ?
(अ) 1815-16
(ब) 1818
(स) 1835
(द) 1850
उत्तर:
(अ) 1815-16

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प्रश्न 13.
बम्बई की इमारतों में कौन-सी शैली नहीं थी?
(अ) नवशास्त्रीय शैली
(ब) नव-गॉथिक शैली
(स) इंडो-सारसिनिक शैली
(द) इंडो-ग्रीक शैली
उत्तर:
(द) इंडो-ग्रीक शैली

प्रश्न 14.
निम्नलिखित में कौन मिश्रित स्थापत्य शैली थी?
(अ) नवशास्त्रीय शैली
(ब) नव-गॉथिक शैली
(स) इंडो-सारसिनिक शैली
(द) अमरीकी शैली
उत्तर:
(स) इंडो-सारसिनिक शैली

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 5 कृषि, खाद्यान सुरक्षा एवं गुणवत्ता

Bihar Board 9th Social Science Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 9th Social Science Economics Objective Answers Chapter 5 कृषि, खाद्यान सुरक्षा एवं गुणवत्ता

प्रश्न 1.
बिहार के प्रमुख फसलें कौन हैं ?
(a) चावल
(b) गेहूँ
(c) मक्का
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(d) इनमें से सभी

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प्रश्न 2.
बिहार में कृषि के पिछड़ेपन के प्रमुख कारण हैं
(a) मिट्टी का कटाव
(b) बाढ़, अकाल तथा सूखे से विनाश
(c) मानसून पर आधारित
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(d) इनमें से सभी

प्रश्न 3.
बाढ से राज्य में बर्बादी होती है
(a) फसली की
(b) मनुष्य एवं मवेशीकी
(c) आवास की
(d) इस सभी को
उत्तर-
(d) इस सभी को

प्रश्न 4.
अकाल से राज्य में बर्बादी होती है
(a) खाद्यान्न फसल की
(b) मनुष्य एवं मवेशी की
(c) उद्योगों की
(d) इनमें से किसी की नहीं
उत्तर-
(a) खाद्यान्न फसल की

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प्रश्न 5.
शीतकालीन कृषि किसे कहा जाता है ?
(a) भदई
(b) खरीफ या अगहनी
(c) रबी
(d) गरमा.
उत्तर-
(b) खरीफ या अगहनी

प्रश्न 6.
सन् 1943 में भारत के किस प्रांत में भयानक अकाल पड़ा?
(a) बिहार
(b) राजस्थान
(c) बंगाल
(d) उड़ीसा
उत्तर-
(c) बंगाल

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प्रश्न 7.
विगत वर्षों के अंतर्गत भारत की राष्ट्रीय आय में कृषि का योगदान
(a) बढ़ा है
(b) घटा है
(c) स्थिर है
(d) बढ़ता-घटता है
उत्तर-
(b) घटा है

प्रश्न 8.
निर्धनों में भी निर्धन लोगों के लिए कौन-सा कार्ड उपयोगी है ?
(a) बी. पी. एल. कार्ड
(b) अत्योदय कार्ड
(c) ए. पी. एल. कार्ड
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(b) अत्योदय कार्ड

प्रश्न 9.
निम्नलिखित में कौन खाद्यान्न के स्रोत हैं ?
(a) गहन खेती नीति
(b) आयात नीति
(c) भंडारण नीति
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(d) इनमें से कोई नहीं

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प्रश्न 10.
गैर सरकारी संगठन के रूप में बिहार में कौन-सा डेयरी प्रोजेक्ट कार्य कर रहा है ?
(a) पटना डेयरी
(b) मदर डेयरी
(c) अमूल डेयरी
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) पटना डेयरी

प्रश्न 11.
कृषि बेरोजगार का क्या है ?
(a) मुख्य साधन है
(b) मुख्य साधन नहीं है
(c)(a) और (b) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) मुख्य साधन है

प्रश्न 12.
डॉ. एम. एस. स्वामीनाथन कौन हैं ?
(a) कृषि वैज्ञानिक
(b) डॉक्टर
(c) इंजीनियर
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(a) कृषि वैज्ञानिक

प्रश्न 13.
कृषि भारत एवं बिहार का क्या है ?
(a) इंजन
(b) साधन
(c) उपयोग
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(a) इंजन

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प्रश्न 14.
राष्ट्रीय किसान आयोग के अध्यक्ष निम्न में से कौन है ?
(a) महेन्द्र सिंह टिकेत
(b) डॉ. एम. एस. स्वामीनाथन
(c) जसवंत सिंह
(d) मुलायम सिंह यादव
उत्तर-
(b) डॉ. एम. एस. स्वामीनाथन

प्रश्न 15.
अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना किस वर्ष किया गया था?
(a) 27 दिसंबर, 1945
(b) 26 सितंबर, 1944
(c) 27 नवंबर, 1943
(d) 23 दिसंबर, 1945
उत्तर-
(a) 27 दिसंबर, 1945

प्रश्न 16.
रबी फसलों के अंतर्गत कौन-कौन से फसलें आती है ?
(a) गेहूँ
(b) जौ
(c) चना
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(d) इनमें से सभी

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प्रश्न 17.
भारत के प्रमुख फसलें निम्न में कौन-कौन हैं ?
(a) चावल
(b) गेहूँ
(c) मूंगफली
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(d) इनमें से सभी

प्रश्न 18.
“जय-जवान, जय-किसान” का नारा भारत के किस प्रधानमंत्री ने दिया?
(a) श्रीमती इंदिरा गांधी
(b) पंडित जवाहरलाल नेहरू
(c) लाल बहादुर शास्त्री
(d) मोरारजी देसाई
उत्तर-
(c) लाल बहादुर शास्त्री

प्रश्न 19.
देश में दूसरी ‘हरित क्रांति’ की आवश्यकता किसने बतायी?
(a) मनमोहन सिंह
(b) अटल बिहारी वाजपेयी
(c) डॉ. ए. पी. जे. अब्दुल कलाम
(d) पी. वी. नरसिम्हा राव
उत्तर-
(c) डॉ. ए. पी. जे. अब्दुल कलाम

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प्रश्न 20.
खाद्य सुरक्षा का अभिप्राय है
(a) खाद्यान्न की उपलब्धता
(b) खाद्यान्न तक लोगों की पहुँच
(c) खाद्यान्न क्रय करने की क्षमता
(d) उपर्युक्त सभी
उत्तर-
(d) उपर्युक्त सभी

प्रश्न 21.
हमारे देश में खाद्य-असुरक्षित व्यक्तियों की संख्या सबसे अधिक है
(a) उड़ीसा में
(b) बिहार में
(c) उत्तर प्रदेश में
(d) इन तीनों में
उत्तर-
(c) उत्तर प्रदेश में

प्रश्न 22.
सरकार ने मध्याह्न भोजन योजना लागू की है
(a) प्राथमिक विद्यालयों में
(b) माध्यमिक विद्यालयों में
(c) उच्च विद्यालयों में
(d) इन तीनों में
उत्तर-
(a) प्राथमिक विद्यालयों में

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प्रश्न 23.
सार्वजनिक वितरण प्रणाली का उद्देश्य है
(a) खाद्यान्न के मूल्यों पर नियंत्रण
(b) उचित मूल्य पर खाद्यान्न का वितरण
(c) उपर्युक्त (a) एवं (b) दोनों
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) उपर्युक्त (a) एवं (b) दोनों

प्रश्न 24.
बिहार में गैर-सरकारी संगठन के रूप में कौन-सी डेयरी .. कार्य कर रही है ?
(a) मदर डेयरी
(b) अमूल डेयरी
(c) पटना डेयरी
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(c) पटना डेयरी

प्रश्न 25.
भारत में आर्थिक सुधार कार्यक्रम की शुरूआत कब हुई ?
(a) 1991
(b) 1989
(c) 1995
(d) 2001
उत्तर-
(a) 1991

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प्रश्न 26.
मनुष्य के तीन मूलभूत आवश्यकताएँ कौन-कौन हैं ?
(a) भोजन
(b) वस्त्र
(c) आवास
(d) इनमें से सभी
उत्तर-
(d) इनमें से सभी

प्रश्न 27.
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन के लिए निम्न में कौन-कौन से राज्यों को चयनित किया गया है?
(a) बिहार
(b) छत्तीसगढ़
(c) हरियाणा
(d) उपर्युक्त में सभी
उत्तर-
(d) उपर्युक्त में सभी

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प्रश्न 28.
भारत में हरित क्रांति किस देश से प्रभावित होकर लागू किया
गया?
(a) अमेरिका
(b) इंगलैंड
(c) मेक्सिको
(d) फ्रांस
उत्तर-
(c) मेक्सिको

प्रश्न 29.
बिहार के कुल घरेलू उत्पाद का कितना प्रतिशत कृषि से प्राप्त होता
(c) कृषि
(a) 30 प्रतिशत
(b) 39 प्रतिशत
(c)49 प्रतिशत
(d) 60 प्रतिशत
उत्तर-
(b) 39 प्रतिशत

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प्रश्न 30.
बिहारवासियों के जीवन-निर्वाह का मुख्य साधन है
(a) उद्योग
(b) व्यापार
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(b) व्यापार

प्रश्न 31.
राज्य में सिंचाई के सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण साधन है
(a) कुएँ एवं नलकूप
(b) नहरें
(c) तालाब
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(a) कुएँ एवं नलकूप

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प्रश्न 32.
बिहार की सबसे प्राचीन नहर-व्यवस्था है
(a) कोसी नहर
(b) गंडक नहर
(c) ढाका नहर
(d) सोन नहर
उत्तर-
(d) सोन नहर

प्रश्न 33.
बिहार के किस क्षेत्र में बाढ़ का प्रकोप अधिक होता है ?
(a) उत्तर बिहार में
(b) मध्य बिहार में
(c) दक्षिण बिहार में
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(a) उत्तर बिहार में

प्रश्न 34.
किस नदी की ‘उत्तरी बिहार का शोक’ कहा जाता है ?
(a) सोना को
(b) गंडक को
(c) कोसी को
(d) बागमती को
उत्तर-
(c) कोसी को

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प्रश्न 35.
अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का मुख्यालय कहाँ है ?
(a) वाशिंगटन
(b) पेरिस
(c) स्विट्जरलैंड
(d) नयी दिल्ली
उत्तर-
(a) वाशिंगटन

प्रश्न 36.
बिहार में 2011-12 में विकास दर कितनी है ?
(a) 13.13 प्रतिशत
(b) 12.10 प्रतिशत
(c) 14.15 प्रतिशत
(d) 12 प्रतिशत
उत्तर-
(a) 13.13 प्रतिशत

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 5 कृषि, खाद्यान सुरक्षा एवं गुणवत्ता

प्रश्न 37.
बिहार में 11वीं योजना में प्रतिव्यक्ति आय ( 2004-05 स्थिर मूल पर) कितनी है?
(a) 15,268 रुपये
(b) 16,277 रुपये
(c) 14,244 रुपये
(d) 10,777 रुपये
उत्तर-
(a) 15,268 रुपये

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छोटे भाई को पत्र

चिरंजीवी विकास,

मोतिहारी
12.4.2012

आशीर्वाद ।

तुम्हारा पत्र मिला । पढ़कर प्रसन्नता हुई और सारी बातों की जानकारी भी । तुमने अपनी कक्षा में प्रथम स्थान प्राप्त किया है, हम सब के लिए गर्व की बात है। अब तो तुम्हें और भी अधिक मेहनत करनी चाहिए, जिससे भविष्य में अधिक अंक प्राप्त कर सको । तुम्हारी भाभी तुम्हें बहुत याद करती हैं। वह तुम्हारे लिए एक सुन्दर स्वेटर बुन रही हैं । पूरा हो जाने पर पार्सल द्वारा भेजेंगी। शेष कुशल है । पूज्य पिताजी और माताजी को मेरा प्रणाम ।
पता ……………………
……………………

तुम्हारा हितैषी
सरोज कुमार

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मित्र को पत्र

प्रिय मित्र संजीव,

पटना
8.4.2012

नमस्ते ।

बहुत दिनों से तुम्हारा कोई समाचार प्राप्त नहीं हो सका । क्या, बात है ? हमसे नाराज हो क्या ? अगर मुझसे कोई भूल हो गई हो तो क्षमा करना और शीघ्र ही पत्र का उत्तर देना । माताजी तुम्हें बहुत याद करती हैं । मैं गर्मी की छुट्टी में बरौनी आ रहा हूँ । शेष कुशल है । अपने पिताजी और माताजी को मेरा प्रणाम कहना, राजू और सीमा को स्नेह ।

पता :

तुम्हारा मित्र
चुन्नू

बड़ी बहन को पत्र

आदणीय बहन जी,

सादर प्रणाम ।

छपरा
9.2.2012

मैं कुशल से हूँ और आपकी कुशलता के लिए सदैव ईश्वर से प्रार्थना करती हूँ । बहुत दिनों से आपका कोई समाचार नहीं मिला । क्या आप यहाँ से जाकर, हमें भूल गईं । हमलोगों को तो हर समय आपकी हो याद आती है । माता जी तो आपको याद करके कभी-कभी रोने लगती हैं । सच दीदी, जब से आप गई हैं, सारा घर सूना-सूना लगता है । गोपाल तो हर समय आपको खोजता रहता है ।

अब राखी को त्योहार आ रहा है | क्या अच्छा होता कि आप यहाँ होती। हम सब मिलकर भैया को राखी बाँधती । दीदी, राखी के अवसर पर आने की कोशिश कीजिएगा । माँ आपको बुलाने भैया को भेजेंगी । शेष कुशल है । जीजा जी प्रणाम बोलिएगा ।

पता :

उत्तर की प्रतीक्षा में
आपकी छोटी बहन
सोनिया

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बीमारी की छुट्टी के लिए प्रधानाध्यापक को प्रार्थना-पत्र

सेवा में.

श्रीमान् प्रधानाध्यापक महोदय,
गाँधी संस्थान,
आरा

आदरणीय महोदय,

सेवा में सविनय नम्र निवेदन है कि मैं कल रात से बुखार से पीड़ित हूँ। इसलिए मैं आज विद्यालय में उपस्थित नहीं हो सकूँगा ।
अतः आपसे प्रार्थना है कि मुझे तीन दिनों की छुट्टी प्रदान करने की कृपा करें।

दिनांक : 4.3.2012

आपका आज्ञाकारी छात्र
सुभाष कुमार
कक्षा-8

विवाह के कारण छुट्टी के लिए प्रार्थना-पत्र

सेवा में,
प्रधानाचार्य,
शिशु विद्यालाय, पूर्णिया

आदरणीय महोदय,

सविनय नम्र निवेदन है कि मेरी बहन का शुभ विवाह 20 दिसम्बर को होने जा रहा है । इसलिए मैं एक सप्ताह विद्यालाय नहीं आ सकूँगी ।
अतः आपसे सादर अनुरोध है कि मुझे 28 दिसम्बर तक की छुट्टी देने की कृपा करें।

दिनांक : 8.1.2012

आपकी आज्ञाकारिणी शिष्या
सुनयना

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पिता का पत्र पुत्र के नाम

प्रिय महानन्द,

पटना
10 मार्च, 2012

आशीर्वाद ।

यहाँ सभी आनन्द और प्रसन्न हैं ! आशा है कि तुम भी विद्याध्ययन में संलग्न होगे । पिछले पत्र में तुमने बुखार हो जाने की बात लिखी थी । छात्रों के लिए यह एक बुरी बीमारी है, जो कि संयम के अभाव में होती है। समय पर अपने सभी कार्यों को करनेवाले छात्र सदा स्वस्थ रहते हैं । तुम्हारे स्वस्थ रहने पर ही अच्छी पढ़ाई हो सकेगी, क्योंकि स स्थ शरीर में ही स्वस्थ मस्तिष्क का निवास होता है । अतः समय की पाबंदी रखो और सुबह उठकर व्यायाम करो । इससे तुम्हारा शरीर स्वस्थ होगा और मन भी प्रसन्न रहेगा । तुम्हारा स्वेटर व सामान डाक से भेज रहा हूँ। मिलने की सूचना देना । विशेष शुभ ।

पता :

तुम्हारा पिता
रामदेव मिश्र

महानन्द कुमार
शिशु ज्ञान मंदिर,
मधुबनी

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पिता को पत्र

पूज्यवर पिताजी,

बेगूसराय
5.4.2012

सादर चरण-स्पर्श ।

मैं यहाँ कुशलपूर्वक हूँ और आशा करता हूँ कि आपलोग भी सकुशल होंगे । आज मेरी वार्षिक का परीक्षाफल प्राप्त हुआ है । यह जानकर आपको खुशी होगी कि मैंने कक्षा में सर्वप्रथम स्थान प्राप्त किया है । पिताजी, यह आपके चरणों का प्रताप और माताजी के आशीर्वाद का फल है।

हमारे सभी अध्यापक बड़े स्नेह से पढ़ाते हैं। आगे परीक्षा में भी मुझे ऐसी ही आशा है । चाचा कचाची दोनों मेरा बड़ा ध्यान रखते हैं । माता जी की याद मुझे कभी-कभी बेचैन कर देती है । उनको मेरा प्रणाम, और लता को मेरा प्यार कहिएगा ।

पता :

आपका आज्ञाकारी पुत्र
रोहन कुमार

निर्धन-छात्रकोष से सहायता हेतु प्रधानाध्यापक
को आवेदन-पत्र

सेवा में,
श्रीमान् प्रधानाध्यापक महोदय,
राजकीय मध्य विद्यालय, पटना

मान्यवर,
सेवा मे नम्र निवेदन है कि मैं बहुत गरीब छात्र हूँ। मेरे पिताज़ी मजदूरी करके किसी तरह परिवार का पालन करते हैं । हमलोगों के पास पैतृक सम्पत्ति नहीं है । धनाभाव के कारण पिताजी मेरे लिए किताबें नहीं खरीद सकते हैं। मेरी पढ़ने की उत्कट इच्छा है । इसके लिए आप-जैसे कृपालु महानुभव की सहायता की अपेक्षा करता हूँ।

अतः श्रीमान् से प्रार्थना है कि मूझे निर्धन-छात्रकोष से किताबें खरीदने . के लिए उचित रकम प्रदान कर कृतार्थ करें। इस कार्य के लिए मैं सदा आपका आभारी बना रहूँगा ।

दिनांक :
24.1.2012

आपका आज्ञाकारी छात्र
विपिन ठाकुर

आर्थिक दण्ड माफ करने के लिए आवेदन-पत्र

श्रीमान् प्राचार्य महोदय,
उच्च विद्यालय, सीतामढ़ी

महाशय,

सेवा में निवेदन है कि कल दिनांक 8.4.2012 को भूल से वर्ग के शीशे का एक ग्लास मुझसे टूट गया । मैं पानी पीने ग्लास लेकर नल के पास गया । ___ हाथ से गिर जाने के कारण ग्लास टूट गया । वर्गशिक्षक महोदय ने इस गलती के लिए मुझ पर आठ रुपये का आर्थिक दण्ड लगाया है । मैं एक गरीब छात्र हूँ। मेरे पिताजी दण्ड की रकम देने में असमर्थ हैं।

अतः श्रीमान् से प्रार्थना है कि उपर्युक्त दण्ड माफ करने की कृपा की . जाय । मैं इस प्रकार की गलती फिर कभी नहीं करने का वचन देता हूँ।

दिनांक :9-4-2012

आपका आज्ञाकारी छात्र
आलोक कुमार
वर्ग : दशम

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दहेज-प्रथा के विरुद्ध जनमत तैयार करने के लिए संपादक को पत्र

सेवा में,
संपादक महोदय,
दैनिक जागरण,
पटना।

विषय-दहेज : एक कुप्रथा

मान्यवर,

आपके लोकप्रिय समाचार-पत्र ‘दैनिक जागरण’ के माध्यम से मैं ‘दहेज-प्रथा’ का वर्णन कर रहा हूँ। आप इसे अपने समाचार-पत्र में प्रकाशित करने की कृपा करें।

दहेज की कुप्रथा ने आज भारतीय समाज को बुरी तरह कुचल कर रख . दिया है। विशेषकर जिन घरों में एक-से अधिक कन्याएँ होती हैं, वहाँ दहेज का भूत गीध की तरह सदा मँडराता रहता है । इस समस्या ने नारी-जीवन को तहस-नहस करके रख दिया है।

दुर्भाग्य से आजकल दहेज की जबरदस्ती माँग की जाती है । दूल्हों के भाव लगते हैं । इस बुराई की सीमा यहाँ तक बढ़ गई है कि जो जितना शिक्षित हैं, समझदार हैं, उसका भाव उतना ही तेज है । डॉक्टर, इंजीनियर का भाव पंद्रह-बीस लाख रुपये, आई० ए० एस० का पचास-साठ लाख, प्रोफेसर का पाँच-दस लाख, ऐसे अशिक्षित व्यापारी, जो खुद कौड़ी के तीन बिकते हैं, उनका भी भाव कई बार लाखों तक जा पहुँचता है। ऐसे में कन्या का पिता कहाँ मरे?

इस प्रथा के दुष्परिणाम विभिन्न रूपों में दिखाई देते हैं । इसे रोकने के उपाय स्वयं समाज के हाथ में हैं। हमें सबसे अधिक आशा है युवक-युवतियों से, जो दहेज के दैत्य से कड़ा मुकाबला कर सकते हैं ।

भवदीय,
अमरेन्द्र रावत मेन बाजार,
दरभंगा।
दिनांक : 21-3-2012

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 4 बेकारी

Bihar Board 9th Social Science Objective Questions and Answers

BSEB Bihar Board 9th Social Science Economics Objective Answers Chapter 4 बेकारी

प्रश्न 1.
भारत में लोगों का मुख्य पेशा निम्न में क्या है ?
(a) कृषि
(b) व्यापार
(c) उद्योग
(d) सभी
उत्तर-
(a) कृषि

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 2.
भारत की कृषि निम्न में से किस पर निर्भर है ?
(a) मानसून
(b) सूखा
(c)अकाल
(d)बाढ़
उत्तर-
(a) मानसून

प्रश्न 3.
भारत में बेरोजगारी का प्रमुख कारण है-.
(a) निम्न प्रतिव्यक्ति आय
(b) जनसंख्या में तीव्र वृद्धि
(c) कृषि पर कम जनभार
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(b) जनसंख्या में तीव्र वृद्धि

प्रश्न 4.
कृषि के क्षेत्र में किस प्रकार की बेरोजगारी अधिक उम्र है ?
(a) शिक्षित बेरोजगारी
(b) औद्योगिक बेरोजगारी
(c) अदृश्य बेरोजगारी
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(c) अदृश्य बेरोजगारी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 5.
देश की प्रमुख आर्थिक समस्या क्या है ?
(a) गरीबी तथा बेरोजगारी
(b) क्षेत्रीय समानता
(c) खाद्यान्न की प्रचुरता
(d) उच्च शिक्षा ।
उत्तर-
(a) गरीबी तथा बेरोजगारी

प्रश्न 6.
भारत में ग्रामीण क्षेत्र में क्या पायी जाती है ?
(a) अदृश्य बेरोजगारी
(b) चक्रीय बेरोजगारी
(c) औद्योगिक बेरोजगारी
(d) शिक्षित बेरोजगारी
उत्तर-
(a) अदृश्य बेरोजगारी

प्रश्न 7.
बेरोजगारी वह स्थिति है जब निम्न स्थिति होती है
(a) इच्छा एवं योग्यता होते हुए काम का नहीं मिलना
(b) पूर्णतः इच्छा से काम नहीं करना
(c) आलस्य से काम नहीं करना
(d) अशिक्षित एवं अपंग होना
उत्तर-
(a) इच्छा एवं योग्यता होते हुए काम का नहीं मिलना

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 8.
बेकारी वह स्थिति है जब :
(a) पूर्णतः इच्छा से कम नहीं करते
(b) हम आलस्य से काम नहीं करते
(c) हमें इच्छा एवं योग्यता होते हुए भी काम नहीं मिलता
(d) हम अशिक्षित एवं अपंग होते हैं
उत्तर-
(c) हमें इच्छा एवं योग्यता होते हुए भी काम नहीं मिलता

प्रश्न 9.
बिहार में पाई जानेवाली बेरोजगारी है ?
(a) संघर्षात्मक
(b) चक्रीय
(c) अदृश्य
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) अदृश्य

प्रश्न 10.
बिहार के ग्रामीण क्षेत्र में पाई जाती है।
(a) औद्योगिक बेकारी
(b) चक्रीय बेकारी
(c) अदृश्य एवं मौसमी बेकारी
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(c) अदृश्य एवं मौसमी बेकारी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 11.
बिहार में अशिक्षितों की संख्या करीब निम्न में कितना प्रतिशत है ?
(a) 53 प्रतिशत
(b) 40 प्रतिशत
(c) 65 प्रतिशत
(d) 47 प्रतिशत
उत्तर-
(a) 53 प्रतिशत

प्रश्न 12.
देश की प्रमुख आर्थिक समस्या है
(a) उच्च शिक्षा
(b) खाद्यान्न की प्रचुरता
(c) क्षेत्रीय समानता
(d) गरीबी तथा बेकारी
उत्तर-
(d) गरीबी तथा बेकारी

प्रश्न 13.
भारत के ग्रामीण क्षेत्र में पाई जाती है
(a) शिक्षित बेकारी
(b) औद्योगिक बेकारी
(c) अदृश्य बेकारी
(d) चक्रीय बेकारी
उत्तर-
(c) अदृश्य बेकारी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 14.
मौसमी बेरोजगारी क्या है ?
(a) यह वह स्थिति है जिसमें लोग किसी खास मौसम या समय में ही रोजी प्राप्त कर पाते हैं
(b) यह वह स्थिति है जिसमें लोग सभी मौसम या समय में ही रोजी प्राप्त कर पाते हैं
(c) यह वह स्थिति होती है जिसमें लोग सिर्फ गरमी के मौसम में ही रोजी प्राप्त करते हैं
(d) यह वह स्थिति होती है जिसमें लोग सिर्फ जाड़े के मौसम में ही रोजी प्राप्त करते हैं
उत्तर-
(a) यह वह स्थिति है जिसमें लोग किसी खास मौसम या समय में ही रोजी प्राप्त कर पाते हैं

प्रश्न 15.
अदृश्य बेरोजगारी को निम्न में और भी क्या कहा जाता है ?
(a) छिपी हुई बेरोजगारी
(b) अर्द्ध-बेरोजगारी
(c) प्रच्छन्न बेरोजगारी
(d) उपर्युक्त सभी
उत्तर-
(d) उपर्युक्त सभी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 16.
भारत में शिक्षित बेरोजगारी का प्रधान कारण है.
(a) कुटीर उद्योगों का पतन
(b) उद्योगीकरण की मद गति
(c) दोषपूर्ण शिक्षा-प्रणाली
(d) जनसंख्या में वृद्धि
उत्तर-
(c) दोषपूर्ण शिक्षा-प्रणाली

प्रश्न 17.
अदृश्य या छिपी हुई बेरोजगारी की समस्या का समाधान किया जा सकता है
(a) कृषि विकास द्वारा
(b) ग्रामीण उद्योगों द्वारा
(c) (a) एवं (b) दोनों द्वारा
(d) इनमें किसी से नहीं
उत्तर-
(c) (a) एवं (b) दोनों द्वारा

प्रश्न 18.
स्वर्णजयंती ग्राम स्वरोजगार योजना प्रारंभ हुई है
(a) अप्रैल, 1989 से
(b) अप्रैल, 1999 में
(c) सितंबर, 2001 में
(d) सितंबर, 2005 में
उत्तर-
(b) अप्रैल, 1999 में

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 19.
संपूर्ण ग्रामीण रोजगार योजना लागू हुई है
(a) सितंबर, 2001 में
(b) सितंबर 2003 में
(c) अप्रैल 2004 में
(d) अप्रैल 2005 में
उत्तर-
(a) सितंबर, 2001 में

प्रश्न 20.
बिहार के ग्रामीण क्षेत्रों में पाई जाती है
(a) मौसमी बेरोजगारी
(b) अदृश्य बेरोजगारी
(c) (a) एवं (b) दोनों
(d) इनमें कोई नहीं
उत्तर-
(c) (a) एवं (b) दोनों

प्रश्न 21.
बिहार में ग्रामीण बेरोजगारी की समस्या के समाधान के लिए आवश्यक है
(a) कृषि का विकास
(b) ग्राम्य उद्योगों का विकास
(c) जनसंख्या पर नियंत्रण
(d) इनमें तीनों ही
उत्तर-
(d) इनमें तीनों ही

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 22.
“लाभदायकता काम के अभाव की स्थिति को कहते हैं।” बेकारी की यह परिभाषा निम्न में किन अर्थशास्त्रियों द्वारा दिया गया है ?
(a) पीगू
(b) अमर्त्य सेन
(c) मार्शल
(d) इनमें से कोई नहीं
उत्तर-
(b) अमर्त्य सेन

प्रश्न 23.
रोजगार के तीन पहलू-(i) आय पहलू (ii) उत्पादन पहलू (iii) पहचान पहलू निम्न में से किन अर्थशास्त्रियों द्वारा होते हैं ?
(a) मार्शल
(b) पीगू
(c) अमर्त्य सेन
(d) बेंजामिंस हिगिंस
उत्तर-
(c) अमर्त्य सेन

प्रश्न 24.
भारत में बेरोजगारी के कितने प्रकार या स्वरूप हैं ?
(a) 5
(b)6
(c) 10
(d) 9
उत्तर-
(c) 10

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 25.
चक्रीय बेरोजगारी क्या है ?
(a) मंदी के दिनों में माँग घट जाने से जो बेकारी फैलती है
(b) मंदी के दिनों में माँग बढ़ जाने से जो बेकारी फैलती है
(c) मंदी के दिनों में माँग घटने तथा बढ़ने से जो बेकारी फैलती है
(d) उपर्युक्त में सभी
उत्तर-
(a) मंदी के दिनों में माँग घट जाने से जो बेकारी फैलती है

प्रश्न 26.
ऐच्छिक बेरोजगारी के प्रमुख उदाहरण हैं
(a) हड़ताल करने वाले श्रमिक
(b) काम नहीं करने वाले श्रमिक
(c) इच्छा के अनुसार काम नहीं करने वाले श्रमिक
(d) योग्यता के अनुसार काम करने वाले श्रमिक
उत्तर-
(b) काम नहीं करने वाले श्रमिक

प्रश्न 27.
घर्षणात्मक बेरोजगारी को और क्या कहा जाता है ?
(a) अस्थिर बेरोजगारी
(b) अदृश्य बेरोजगारी
(c) प्रच्छन्न बेरोजगारी
(d) छिपी बेरोजगारी
उत्तर-
(a) अस्थिर बेरोजगारी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 28.
बिहार में झारखंड राज्य को कब विभाजित किया गया ?
(a) 15 नवंबर, 2000 में
(b).14 नवंबर, 2001 में
(c) 14 नवंबर, 2002 में
(d) 15 नवंबर, 2003 में
उत्तर-
(a) 15 नवंबर, 2000 में

प्रश्न 29.
बेरोजगारी से पड़ने वाले प्रभाव निम्न में से कौन-कौन हैं ?
(a) मानव-शक्ति का बरबाद होना
(b) निम्न जीवन स्तर
(c) प्रतिव्यक्ति आय की कमी
(d) उपर्युक्त सभी
उत्तर-
(d) उपर्युक्त सभी

प्रश्न 30.
बिहार के निम्न में से कौन-कौन प्रमुख कुटीर उद्योग है ?
(a) चमड़ा उद्योग
(b) साबुन उद्योग
(c) बीड़ी उद्योग
(d) उपर्युक्त सभी
उत्तर-
(d) उपर्युक्त सभी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 31.
शिक्षित बेरोजगारी किसे कहते हैं ?
(a) जब शिक्षित व्यक्ति को अपनी योग्यता व इच्छा के अनुसार काम नहीं मिलता है
(b) जब अशिक्षित व्यक्ति को उसकी योग्यता के अनुसार काम नहीं मिलता है
(c) जब शिक्षित व्यक्ति को अपनी योग्यता व पसंद के अनुसार काम मिलता है
(d) उपर्युक्त सभी
उत्तर-
(a) जब शिक्षित व्यक्ति को अपनी योग्यता व इच्छा के अनुसार काम नहीं मिलता है

प्रश्न 32.
औद्योगिक बेरोजगारी किस क्षेत्र में पायी जाती है ?
(a) शहरी क्षेत्रों में
(b) ग्रामीण क्षेत्रों में
(c) (a) एवं
(b) दोनों में
उत्तर-
(a) शहरी क्षेत्रों में

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प्रश्न 33.
तकनीकी बेरोजगारी निम्न में कहाँ-कहाँ देखी जाती हैं ?
(a) कृषि तथा उद्योग
(b) व्यापार एवं उद्योग
(c) कृषि तथा अंतर्राष्ट्रीय व्यापार
(d) इनमें सभी
उत्तर-
(a) कृषि तथा उद्योग

प्रश्न 34.
खुली बेरोजगारी को और क्या कहा जाता है ?
(a) संरचनात्मक बेरोजगारी
(b) प्रच्छन्न बेरोजगारी
(c) छिपी बेरोजगारी
(d) आदृश्य बेरोजगारी
उत्तर-
(a) संरचनात्मक बेरोजगारी

प्रश्न 35.
ग्रामीण बेरोजगारी का प्रकार है
(a) ऐच्छिक बेरोजगारी
(b) शिक्षित बेरोजगारी
(c) औद्योगिक बेरोजगारी
(d) छुपी हुई बेरोजगारी
उत्तर-
(d) छुपी हुई बेरोजगारी

Bihar Board 9th Economics Objective Answers Chapter 3 गरीबी

प्रश्न 36.
शहरी बेरोजगारी का प्रकार है
(a) अनैच्छिक बेरोजगारी
(b) शिक्षित बेरोजगारी
(c) ऐच्छिक बेरोजगारी
(d) मौसमी बेरोजगारी
उत्तर-
(b) शिक्षित बेरोजगारी

प्रश्न 37.
बेरोजगारी के परिणामस्वरूप
(a) शिक्षा में वृद्धि होती है
(b) उत्पादन में वृद्धि होती है
(c) आय में वृद्धि होती है
(d) निर्धनता में वृद्धि होती है
उत्तर-
(d) निर्धनता में वृद्धि होती है

प्रश्न 38.
ग्यारहवीं पंचवर्षीय योजना के प्रारंभ में भारत में बेरोजगारों की संख्या थी
(a) 30.0 मिलियन
(b) 35.5 मिलियन
(c) 36.7 मिलियन
(d) 40.0 मिलियन
उत्तर-
(c) 36.7 मिलियन

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प्रश्न 39.
“असली भारत गाँवों में बसता है” यह कथन किसने दी?
(a) गाँधीजी
(b) सुभाषचन्द्र बोस
(c) जवाहरलाल नेहरू
(d) डॉ. राजेन्द्र प्रसाद
उत्तर-
(a) गाँधीजी

प्रश्न 40.
हथकरघा और हस्तशिल्प क्षेत्र में भारत को कृषि क्षेत्र के बाद कौन-सा स्थान प्राप्त है ?
(a) दूसरा
(b) तीसरा
(c) चौथा
(d) पांचवां
उत्तर-
(a) दूसरा

प्रश्न 41.
राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम का नया परिवर्तित नाम क्या है ?
(a) मनरेगा
(b) नरेगा
(c) अंत्योदय योजना
(d) इंदिरा आवास योजना
उत्तर-
(a) मनरेगा

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प्रश्न 42.
नरेगा का नाम बदलकर महात्मा गाँधी के नाम पर करने की घोषणा कब की गयी थी?
(a) 2 अक्टूबर, 2009
(b) 2 अक्टूबर, 2008
(c) 2 अक्टूबर, 2010
(d)4 अक्टूबर, 2009
उत्तर-
(a) 2 अक्टूबर, 2009

प्रश्न 43.
संपूर्ण ग्रामीण रोजगार योजना को किस वर्ष लागू किया गया ?
(a) 25 दिसंबर, 2001
(b) 24 दिसंबर, 2001
(c) 23 दिसंबर, 2000
(d) 25 दिसंबर, 2002
उत्तर-
(a) 25 दिसंबर, 2001

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प्रश्न 44.
प्रधानमंत्री रोजगार योजना किस वर्ष आरंभ किया था ?
(a) 2 अक्टूबर, 1993
(b) 2 अक्टूबर, 1994
(c) 25 दिसंबर, 2001
(d) 23 सितंबर, 1993
उत्तर-
(a) 2 अक्टूबर, 1993